देहरादूनः रानीखेत के कांग्रेस विधायक करण महार के विधायक हॉस्टल स्थित आवास में आग लगने से महत्वपूर्ण दस्तावेज समेत अन्य कीमती सामान जलकर खाक हो गया. हालांकि इस दौरान विधायक अपने आवास में मौजूद नहीं थे. सोमवार को हुई इस घटना के बाद विधायक ने आक्रोश जताते हुए विधायक हॉस्टल की सुरक्षा पर सवालिया निशान लगाए हैं. उन्होंने कहा कि सरकार को विधायकों की कोई परवाह नहीं है.
रानीखेत विधायक करण महार ने आग लगने की घटना को सुरक्षा में भारी चूक बताया है. उन्होंने कहा कि कौन विधायक हॉस्टल में आ रहा है और कौन जा रहा है इसका लेखा-जोखा हॉस्टल में दर्ज नहीं किया जाता है.
शाम ढलते ही संदिग्ध लोग परिसर में दिखाई देते हैं. पार्किंग में विधायकों के वाहन खड़े होने की बजाय बाहर के वाहन खड़े रहते हैं. उन्होंने कहा कि 5 माह पूर्व केदारनाथ विधायक मनोज रावत के आवास में भी आग लगी थी और आज मेरे आवास में आग लगी है.
कुछ दिन पूर्व फाइव प्वाइंट्स लगाए गए थे, जिससे अलार्म बजता है, उसके बावजूद आग लगने की वजह से सभी जरूरी दस्तावेज ओर सामान जलकर खाक हो गया.
उन्होंने कहा कि वे 8 मार्च को यहां से गए थे. 9 और 10 मार्च को उनकी गैरमौजूदगी में यहां आग लगने का अनुमान है.
11 मार्च को वापस आने पर पूरे घर का सामान जल गया. उन्होंने कहा कि विधायक हॉस्टल में कार्यरत कर्मी अगर सतर्क रहते तो आग नहीं लगती. बीते वर्ष भी कांग्रेसी विधायकों की नाराजगी के बाद विधानसभा अध्यक्ष विधायक हॉस्टल में निरीक्षण करने आए थे और उन्होंने राज्य संपत्ति विभाग को व्यवस्था दुरुस्त करने के निर्देश दिए थे.