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संतकबीर नगर: इस गांव के लोगों को पक्के आवास का इंतजार, झोपड़ियों में काट रहे जिंदगी

यूपी में संतकबीर नगर के सेमरियावां विकासखंड में ग्रामीणों को सरकार द्वारा चलाए जा रही आवास योजना के बाद भी आवास नसीब नहीं हुए. ग्रामीणों ने इसके लिए प्रधान से कई बार कहा, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई.

संतकबीर नगर मेंं ग्रामीणों को आवास का इंतजार.
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Published : Aug 19, 2019, 9:08 PM IST

Updated : Sep 10, 2020, 12:22 PM IST

संतकबीर नगर: जिले के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत में सरकारी योजनाओं का लाभ ग्रामीणों को नहीं मिल रहा है. सरकार द्वारा चलाए जा रहे आवास योजना के बाद भी इस ग्राम पंचायत के कई परिवार अब भी झोपड़ी में रहने को मजबूर है. उन्हें आज भी पक्के मकान का इंतजार है. ग्रामीणों का कहना है कि इसके लिए कई बार प्रधान से कहा गया, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई.

जानकारी देते मुख्य विकास अधिकारी बब्बन उपाध्याय.

पढ़ें- जौनपुर: प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मिले घरों का शुरू हुआ भगवाकरण

  • प्रधानमंत्री आवास योजना और मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत सैकड़ों लोगों को आवास उपलब्ध कराए गए.
  • लेकिन जनपद के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत में हालात इसके उलट है.
  • यहां कई ऐसे परिवार है, जिनको आवास नसीब नहीं हुए हैं.
  • गांव के लोग वर्षों से झोपड़ी में रहने को मजबूर है.
  • कई घर ऐसे भी है, जहां अब तक शौचालय नहीं बन सका है.

जनपद के प्रत्येक ऐसे ग्रामीण को जिनके पास पक्का मकान नहीं है, उन्हें शासन द्वारा योजना के तहत मकान दिलवाया जा रहा है. 2011 में बनाई गई सूची और पिछले साल दिए गए आवेदनों की पूरी प्रक्रिया को एक साथ करके बचे हुए लोगों को जल्द ही आवास मुहैया कराया जाएगा.
बब्बन उपाध्याय, मुख्य विकास अधिकारी

संतकबीर नगर: जिले के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत में सरकारी योजनाओं का लाभ ग्रामीणों को नहीं मिल रहा है. सरकार द्वारा चलाए जा रहे आवास योजना के बाद भी इस ग्राम पंचायत के कई परिवार अब भी झोपड़ी में रहने को मजबूर है. उन्हें आज भी पक्के मकान का इंतजार है. ग्रामीणों का कहना है कि इसके लिए कई बार प्रधान से कहा गया, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई.

जानकारी देते मुख्य विकास अधिकारी बब्बन उपाध्याय.

पढ़ें- जौनपुर: प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत मिले घरों का शुरू हुआ भगवाकरण

  • प्रधानमंत्री आवास योजना और मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत सैकड़ों लोगों को आवास उपलब्ध कराए गए.
  • लेकिन जनपद के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत में हालात इसके उलट है.
  • यहां कई ऐसे परिवार है, जिनको आवास नसीब नहीं हुए हैं.
  • गांव के लोग वर्षों से झोपड़ी में रहने को मजबूर है.
  • कई घर ऐसे भी है, जहां अब तक शौचालय नहीं बन सका है.

जनपद के प्रत्येक ऐसे ग्रामीण को जिनके पास पक्का मकान नहीं है, उन्हें शासन द्वारा योजना के तहत मकान दिलवाया जा रहा है. 2011 में बनाई गई सूची और पिछले साल दिए गए आवेदनों की पूरी प्रक्रिया को एक साथ करके बचे हुए लोगों को जल्द ही आवास मुहैया कराया जाएगा.
बब्बन उपाध्याय, मुख्य विकास अधिकारी

Intro:तस्वीरों में दिखने वाले ये ग्रामीण संत कबीर नगर जिले के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत के हैं।जिन्हें आज भी अपने पक्के मकान का इंतजार है।सरकार के द्वारा चलाए जा रहे आवास योजना के बाद भी इस ग्राम पंचायत के दर्जनों लोग झोपड़ी में रहने को मजबूर है।


Body:प्रधानमंत्री आवास योजना और मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत भले ही बड़ी संख्या में छतविहीन लोगों को पक्के मकान दिए गए हो,लेकिन अभी भी संत कबीर नगर जिले के कुछ ग्राम पंचायतों के लोग पक्के मकान की आस लगाए बैठे हैं।दरअसल यह पूरा मामला जनपद के सेमरियावां विकासखंड के बड़ेला ग्राम पंचायत से जुड़ा है जहां दर्जनों ऐसे परिवार झोपड़ी में रहने को मजबूर हैं जिन्हें अब तक कोई भी आवास नहीं मिला है।चाहे गर्मी का मौसम हो या बरसात का इन लोगों के लिए जीना दुश्वार हो गया है।इस गांव की गरीब जनता वर्षों से हर सरकार में आवास पाने की उम्मीद में टकटकी लगाए जीवन काट रहीं हैं। लेकिन उन्हें अब तक पक्का मकान नसीब नहीं हो सका है।प्रदेश और देश में भाजपा की सरकार होने से लोगों को आवास की आस जगी है।जैसे ही कोई जिम्मेदार गांव में पहुंचता है तो ग्रामीण एक ही गुहार लगाते हैं कि साहब हमें आवास कब मिलेगा?खासकर जब गर्मी का मौसम आता है तो आग लगने का डर ग्रामीणों को सताता रहता है।मजदूरी करके दो वक्त की रोटी कमाने वाले यह लोग सरकार से पक्का मकान की आस लगाए बैठे हैं। वहीं दूसरी तरफ कहीं ऐसे घर है जहां अब तक शौचालय नहीं बन सका है जहां के पुरुष और महिलाएं आज भी बाहर शौचालय जाने को मजबूर हैं।


Conclusion:वहीं इस पूरे मामले पर जिले के मुख्य विकास अधिकारी बब्बन उपाध्याय ने कहा कि जनपद के प्रत्येक ऐसे ग्रामीण को जिनके पास पक्का मकान नहीं है उन्हें शासन द्वारा योजना के तहत मकान दिलवाया जा रहा है।2011 में बनाई गई सूची और पिछले साल दिए गए आवेदनों की पूरी प्रक्रिया को एक साथ करके बचे हुए लोगों को जल्द ही आवास मुहैया कराया जाएगा, हालांकि शासन और अधिकारियों के अपने-अपने दावे हैं लेकिन फुस मकान में रह रहे ग्रामीण आज भी मदद की आस में टकटकी लगाए बैठे हैं।

बाईट-1
देव् प्रसाद-ग्रामीण

बाईट-2
सरिता-ग्रामीण

बाईट-3
श्रवण-ग्रामीण

काउंटर बाईट
बब्बन उपाध्याय
मुख्य विकास अधिकारी
Last Updated : Sep 10, 2020, 12:22 PM IST
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