जयपुर. प्रदेश की खींवसर विधानसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव को लेकर भाजपा और आरएलपी में गठबंधन हुआ तो यह समझ लेना कि पार्टी में पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की नहीं चलती. यह कहना है आरएलपी संयोजक और नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल का.
बेनीवाल के अनुसार वे बांग्ला नंबर 13 तो खाली करवा कर रहेंगे इसके लिए उन्हें धरना देना पड़े. जयपुर में मीडिया से मुखातिब हुए हनुमान बेनीवाल ने यह बात कही. बेनीवाल ने कहा कि वसुंधरा राजे कभी नहीं चाहेगी कि भाजपा और राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी का गठबंधन हो लोकसभा चुनाव में भी वसुंधरा राजे यह गठबंधन नहीं चाहती थी फिर भी पार्टी ने वसुंधरा राजे को दरकिनार कर गठबंधन किया और उसका फायदा बीजेपी को मिला और उपचुनाव में भी ऐसा ही होगा.
पढ़ेंः केंद्र की नई शिक्षा नीति पर मंत्री डोटासरा ने रखा राजस्थान का पक्ष...बोर्ड ने की सराहना
पूर्व मुख्यमंत्री के नाते वसुंधरा राजे को मिले 13 नंबर के सरकारी बंगले को लेकर भी बेनीवाल ने निशाना साधा. बेनीवाल ने कहा कि जब हाईकोर्ट ने निर्देश दे दिए हैं कि पूर्व मुख्यमंत्रियों को इस प्रकार की सुविधाएं ना दी जाए तो फिर आखिर गहलोत साहब वसुंधरा राजे की मदद कर रहे हैं. बेनीवाल गहलोत और वसुंधरा को पर्दे के पीछे एक बताया और कहा कि वह तेरा नंबर बंगला खाली करवा कर ही रहेंगे फिर चाहे इसके लिए उन्हें धरना ही क्यों ना देना पड़े.
पढ़ेंः जब दिल्ली में RLP-BJP का गठबंधन है तो राजस्थान में क्यों नहीं रहेगा कायम : बेनीवाल
बहरहाल हनुमान बेनीवाल की भाजपा में पूर्व सीएम वसुंधरा राजे से पुरानी अदावत है और ये सियासी दुश्मनी भाजपा और आरएलपी के गठबंधन के बाद आज भी खत्म नहीं हुई. यहि कारण है कि भाजपा के सहयोगी दल के नेता होने के बाद भी बेनीवाल ने वसुंधरा राजे के खिलाफ जहर उगलने बन्द नहीं किया. हालांकि बेनीवाल का ये मौजूदा बयान इस बात का संकेत है कि खींवसर सीट पर भाजपा के गठबंधन को लेकर वो पूरी तरह आश्वस्त है.