ETV Bharat / state

सोलन: CRI कसौली में तैयार एंटी कोविड सीरम का पहला ट्रायल पास, अब जानवरों पर होगा परीक्षण

सीआरआई कसौली ने फरवरी माह में कोविड-19 एंटी सीरम के तीन बैच तैयार हुए थे. यह बैच ट्रायल के लिए तैयार किए गए थे. इन ट्रायल बैच को फीलिंग कर लाइव वायरस की न्यूट्रलाइजेशन के लिए फरवरी माह में एनआईवी पुणे भेजा गया था, जहां पर सीरम का पहला चरण सफल रहा है. अब जानवरों पर इसका ट्रायल होगा.

cri Kasauli
फोटो
author img

By

Published : May 5, 2021, 9:20 AM IST

सोलन: कोरोना से जल्द छुटकारा दिलवाने के लिए सीआरआई कसौली के वैज्ञानिक भी दिन-रात अनुसंधान कर हैं. सीआरआई कसौली में कोरोना वायरस को खत्म करने के लिए बनाई गई कोविड एंटी सीरम का पहला ट्रायल सफल रहा है. अब जल्द इस सीरम का दूसरा चरण शुरू होगा. दूसरे चरण में जानवरों पर इसका प्रयोग किया जाएगा. सभी प्रकार की प्रक्रिया से गुजरने के बाद ही इस सीरम को बाजार में उतारा जाएगा.

फरवरी माह में कोविड-19 एंटी सीरम के तीन बैच तैयार हुए थे. यह बैच ट्रायल के लिए तैयार किए गए थे. इन ट्रायल बैच को फीलिंग कर लाइव वायरस की न्यूट्रलाइजेशन के लिए फरवरी माह में एनआईवी पुणे भेजा गया था, जहां पर सीरम का पहला चरण सफल रहा है. अब जानवरों पर इसका ट्रायल होगा.

प्री-क्लीनिकल एनिमल टेस्टिंग जिसे टॉक्सीक्लोजिकल स्टडीज भी कहते है. इसमें जानवरों को हाई डोज देकर टेस्टिंग की जाएगी. दोनों की सफलता के बाद सीआरआई कसौली डीसीजीआई को अप्रोच करेगा. इन सभी प्रक्रियाओं से गुजरने के बाद क्लीनिकल ट्रायल के लिए बैच आइसीएमआर को दिया जाएगा. इस प्रोडक्ट को आइसीएमआर-सीआरआई कोविड एंटी सीरम नाम दिया गया है. यदि यह दवा अपने सारे चरण पार कर लेती है तो कोरोना महामारी से पीड़ित दुनिया के लिए एक बहुत राहत की खबर होगी

कोरोना के गंभीर रोगियों को लगेगा सीरम

कोविड एंटी सीरम कोरोना के उन रोगियों को लगेगा जो अस्पताल में गंभीर हालत में भर्ती होंगे. यह कोरोना वैक्सीन की तरह हर किसी मरीज को नहीं दिया जाएगा. कोविड एंटी सीरम बनाने के लिए सीआरआई व इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आइसीएमआर) के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वॉयरोलॉजी (एनआइवी) पुणे के बीच समझौता ज्ञापन (एमओयू) हुआ है.

एंटी सीरम वायरस को सीधे करता है खत्म

संस्थान के एंटी सीरा सेक्शन में घोड़ों से खून लेकर एंटी सीरम को विकसित किया जाता है. एंटी सीरम एक रक्त सीरम है, जिसमें एक वायरस के खिलाफ एंटीबॉडी होते हैं, जो संक्रमण को रोकने या इलाज करने के लिए इंजेक्ट किया जाते हैं. सांप व कुत्तों के काटने पर वैक्सीन लगाने से पहले एंटी स्नेक वेनम सीरम व एंटी रेबीज सीरम के टीके लगाए जाते हैं. एंटी सीरम सीधे शरीर में जाकर रेबीज के वायरस को खत्म करना शुरू कर देती है. इसमें ज्यादा समय नहीं लगता, जबकि वैक्सीन शरीर में जाकर पहले एंटीबॉडी तैयार करती है.

केंद्रीय अनुसंधान संस्थान कसौली के डारेक्टर डॉ. अजय तहालन का कहना है कि कोविड एंटी सीरम के भेजे गए ट्रायल सैम्पल में प्रथम चरण का सैंपल पास हुआ है. अब दूसरा चरण शुरू होगा. इस चरण में जानवरों ट्रायल किया जाएगा.

ये भी पढ़ें: बिलासपुर में अब कोविड मरीजों को अस्पताल पहुंचाएगी 8 टैक्सियां, जल्द शुरू होगी सुविधा

सोलन: कोरोना से जल्द छुटकारा दिलवाने के लिए सीआरआई कसौली के वैज्ञानिक भी दिन-रात अनुसंधान कर हैं. सीआरआई कसौली में कोरोना वायरस को खत्म करने के लिए बनाई गई कोविड एंटी सीरम का पहला ट्रायल सफल रहा है. अब जल्द इस सीरम का दूसरा चरण शुरू होगा. दूसरे चरण में जानवरों पर इसका प्रयोग किया जाएगा. सभी प्रकार की प्रक्रिया से गुजरने के बाद ही इस सीरम को बाजार में उतारा जाएगा.

फरवरी माह में कोविड-19 एंटी सीरम के तीन बैच तैयार हुए थे. यह बैच ट्रायल के लिए तैयार किए गए थे. इन ट्रायल बैच को फीलिंग कर लाइव वायरस की न्यूट्रलाइजेशन के लिए फरवरी माह में एनआईवी पुणे भेजा गया था, जहां पर सीरम का पहला चरण सफल रहा है. अब जानवरों पर इसका ट्रायल होगा.

प्री-क्लीनिकल एनिमल टेस्टिंग जिसे टॉक्सीक्लोजिकल स्टडीज भी कहते है. इसमें जानवरों को हाई डोज देकर टेस्टिंग की जाएगी. दोनों की सफलता के बाद सीआरआई कसौली डीसीजीआई को अप्रोच करेगा. इन सभी प्रक्रियाओं से गुजरने के बाद क्लीनिकल ट्रायल के लिए बैच आइसीएमआर को दिया जाएगा. इस प्रोडक्ट को आइसीएमआर-सीआरआई कोविड एंटी सीरम नाम दिया गया है. यदि यह दवा अपने सारे चरण पार कर लेती है तो कोरोना महामारी से पीड़ित दुनिया के लिए एक बहुत राहत की खबर होगी

कोरोना के गंभीर रोगियों को लगेगा सीरम

कोविड एंटी सीरम कोरोना के उन रोगियों को लगेगा जो अस्पताल में गंभीर हालत में भर्ती होंगे. यह कोरोना वैक्सीन की तरह हर किसी मरीज को नहीं दिया जाएगा. कोविड एंटी सीरम बनाने के लिए सीआरआई व इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (आइसीएमआर) के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वॉयरोलॉजी (एनआइवी) पुणे के बीच समझौता ज्ञापन (एमओयू) हुआ है.

एंटी सीरम वायरस को सीधे करता है खत्म

संस्थान के एंटी सीरा सेक्शन में घोड़ों से खून लेकर एंटी सीरम को विकसित किया जाता है. एंटी सीरम एक रक्त सीरम है, जिसमें एक वायरस के खिलाफ एंटीबॉडी होते हैं, जो संक्रमण को रोकने या इलाज करने के लिए इंजेक्ट किया जाते हैं. सांप व कुत्तों के काटने पर वैक्सीन लगाने से पहले एंटी स्नेक वेनम सीरम व एंटी रेबीज सीरम के टीके लगाए जाते हैं. एंटी सीरम सीधे शरीर में जाकर रेबीज के वायरस को खत्म करना शुरू कर देती है. इसमें ज्यादा समय नहीं लगता, जबकि वैक्सीन शरीर में जाकर पहले एंटीबॉडी तैयार करती है.

केंद्रीय अनुसंधान संस्थान कसौली के डारेक्टर डॉ. अजय तहालन का कहना है कि कोविड एंटी सीरम के भेजे गए ट्रायल सैम्पल में प्रथम चरण का सैंपल पास हुआ है. अब दूसरा चरण शुरू होगा. इस चरण में जानवरों ट्रायल किया जाएगा.

ये भी पढ़ें: बिलासपुर में अब कोविड मरीजों को अस्पताल पहुंचाएगी 8 टैक्सियां, जल्द शुरू होगी सुविधा

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.