शिमलाः प्रदेश में कोरोना संक्रमण अभी थमा नहीं है. आए दिन अभी भी मामलों में बढ़ोतरी हो रही है. वहीं, मौत का आंकड़ा भी बढ़ता जा रहा है. ऐसे में स्वास्थ्य विभाग कोरोना से लड़ने के लिए कितना तैयार है इसको लेकर ईटीवी भारत ने स्वास्थ्य निदेशालय के अधिकारी और आईजीएमसी शिमला के एमएस से बात की.
स्टोर में मेडिकल सुविधा का पूरा सामान उपलब्ध
जानकारी के लिए स्वास्थ्य निदेशालय में जाकर कोरोना का काम देख रहे उप निदेशक व नोडल अधिकारी डॉ. रमेश चंद से बात कि तो उन्होंने बताया कि पिछले साल जब कोरोना संक्रमण शुरू हुआ था तब स्वास्थ्य विभाग ने बफर स्टॉक स्टोर रूम बनाया था जिससे प्रदेश में सभी कोविड सेन्टर को सामान भेजा जाता है. उन्होंने कहा कि स्टोर में मेडिकल सुविधा का पूरा सामान उपलब्ध है, जिसमें पीपीई किट, मास्क, सैनिटाइजर व अन्य उपकरण उपलब्ध है, जिनको 6 मेडिकल कॉलेज व कोविड केंद्र में भेजा जाता है. उनका कहना था कि कोरोना की जंग में सभी सामान उपलब्ध है जो कोरोना से लड़ने में काम आते हैं.
330 बेड पर ऑक्सीजन की सुविधा उपलब्ध
वहीं, इसी मामले में मामले में आईजीएमसी शिमला के एमएस डॉ. जनक राज ने बताया कि अस्पताल में जब से कोरोना शुरू हुआ है तब से सभी तैयारियां की जा रही हैं. उन्होंने कहा कि 330 बेड हैं सभी पर बेड पर ऑक्सीजन की सुविधा उपलब्ध है और 32 वेंटिलेटर आइसोलेशन वार्ड में लगाए गए हैं. उन्होंने कहा कि जरूरत पड़ने पर वेंटिलेटर की संख्या बढ़ाई जा सकती है.
24 घंटे ड्यूटी दे रहे स्टाफ
उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन की भी कोई कमी नहीं है और अब सिलेंडर भी मंगाए जा रहे हैं, जिसका फायदा यह है कि जिन बेड के साथ ऑक्सीजन नहीं लगी है. वहां पर ऑक्सीजन सिलेंडरों के जरिए पहुंचाई जाएगी. साथ ही उन्होंने कहा कि स्टाफ भी 24 घंटे ड्यूटी दे रहे हैं. उन्होंने कहा कि मौत के मामले बढ़ रहे हैं, लेकिन मृत्यु दर 1.2 ही है जो कम ही है. उन्होंने कहा कि लोग बचाव रखें जिससे संक्रमण से बचे रहें.
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