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स्कैब से चिंतित बागवान,  विभाग से समाधान की बजाय मिल रही सांत्वना

शिमला जिला के सेब बाहुल्य क्षेत्रों में सेब के बाग बीमारियों से ग्रस्त हो रहे हैं. उद्यान विभाग को सेब के हर रोग की दवाइयां देने का दावा कर रहा है, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही नजर आ रही है. इस बारे में जब ईटीवी भारत की संवाददाता ने पड़ताल की. संवाददाता ने अपनी पड़ताल में पाया कि उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जो भी बागवान दवाइयां लेने के लिए आ रहे थे, उन्हें खाली हाथ वापस जाना पड़ रहा था.

स्कैब से चिंतित बागवानों विभाग कार्यालय से नहीं मिल रही दवाइंया.
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Published : Jul 2, 2019, 6:59 PM IST

रामपुर: सेब में तेजी से फैल रही बीमारियों को लेकर बागवान काफी चिंतित हैं. आए दिन शिमला जिला के सेब बाहुल्य क्षेत्रों में सेब के बाग बीमारियों से ग्रस्त हो रहे हैं. उद्यान विभाग को सेब के हर रोग की दवाइयां देने का दावा कर रहा है, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही नजर आ रही है. इस बारे में जब ईटीवी भारत की संवाददाता ने उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जाकर पड़ताल की, तो वहां पर दवाइयों का स्टोर खाली मिला.

ईटीवी संवाददाता ने अपनी पड़ताल में पाया कि उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जो भी बागवान दवाइयां लेने के लिए आ रहे थे, उन्हें खाली हाथ वापिस जाना पड़ रहा था. दवाइयां लेने पहुंचे क्षेत्र के बागवानों का कहना है कि बगीचों में कोई ना कोई बीमारियां लग रही हैं. सेब के पत्तों के पीला पड़ने, स्कैब, वूलन कीट जैसी बीमारियों से बागवान चिंतित हैं और अपने बगीचे में स्प्रे करने करना चाहते हैं, लेकिन जब वह उद्यान विभाग के कार्यालय रामपुर में पहुंच रहे हैं तो उन्हें यहां से खाली हाथ वापिस जाना पड़ रहा है.

बागवानों को कार्यालय में सेब के रोगों की कोई भी दवाइयां नहीं मिल रही है. बागवानों का कहना है कि उन्हें बाजार से महंगे दामों पर दवाइयां लेनी पड़ रही है. कार्यालय में सिर्फ कीटनाशक, फफूंद नाशक दवाइंया ही मिल रही है.

ईटीवी संवाददाता ने इस बारे में एसएमएस रामपुर उद्यान विभाग अधिकारी केएल कटोच से बातचीत की. केएल कटोच ने सेब की दवाइयों की कमी को खारिज करते हुए कहा कि रामपुर के सभी सेंटरों में बागवानों के लिए दवाइयां भेजी गई है. दवाइयों की कमी होने पर कुछ दिनों में उसे भी पूरा किया जाता है.

रामपुर: सेब में तेजी से फैल रही बीमारियों को लेकर बागवान काफी चिंतित हैं. आए दिन शिमला जिला के सेब बाहुल्य क्षेत्रों में सेब के बाग बीमारियों से ग्रस्त हो रहे हैं. उद्यान विभाग को सेब के हर रोग की दवाइयां देने का दावा कर रहा है, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही नजर आ रही है. इस बारे में जब ईटीवी भारत की संवाददाता ने उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जाकर पड़ताल की, तो वहां पर दवाइयों का स्टोर खाली मिला.

ईटीवी संवाददाता ने अपनी पड़ताल में पाया कि उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जो भी बागवान दवाइयां लेने के लिए आ रहे थे, उन्हें खाली हाथ वापिस जाना पड़ रहा था. दवाइयां लेने पहुंचे क्षेत्र के बागवानों का कहना है कि बगीचों में कोई ना कोई बीमारियां लग रही हैं. सेब के पत्तों के पीला पड़ने, स्कैब, वूलन कीट जैसी बीमारियों से बागवान चिंतित हैं और अपने बगीचे में स्प्रे करने करना चाहते हैं, लेकिन जब वह उद्यान विभाग के कार्यालय रामपुर में पहुंच रहे हैं तो उन्हें यहां से खाली हाथ वापिस जाना पड़ रहा है.

बागवानों को कार्यालय में सेब के रोगों की कोई भी दवाइयां नहीं मिल रही है. बागवानों का कहना है कि उन्हें बाजार से महंगे दामों पर दवाइयां लेनी पड़ रही है. कार्यालय में सिर्फ कीटनाशक, फफूंद नाशक दवाइंया ही मिल रही है.

ईटीवी संवाददाता ने इस बारे में एसएमएस रामपुर उद्यान विभाग अधिकारी केएल कटोच से बातचीत की. केएल कटोच ने सेब की दवाइयों की कमी को खारिज करते हुए कहा कि रामपुर के सभी सेंटरों में बागवानों के लिए दवाइयां भेजी गई है. दवाइयों की कमी होने पर कुछ दिनों में उसे भी पूरा किया जाता है.

Intro:रामपुर बुशहर,2जुलाई मीनाक्षी


Body:सेब में तेजी से फैल रही बीमारियों को लेकर बागवान काफी चिंतित है आए दिन शिमला जिला के हर सेब बाहुल्य क्षेत्र में कोई ना कोई सेब के बाग बीमारी से ग्रस्त हो रहे है ।
वहीं उद्यान विभाग को सेव के हर रोग की दवाइयां देने का दावा कर रही है लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और ही नजर आ रहा है इस बारे में जब ईटीवी भारत ने उद्यान विभाग रामपुर के मुख्य कार्यालय में जाकर देखा तो वहां पर दवाइयों का स्टोर खाली पड़ा था इतना ही नहीं यहां पर जो भी बागवान दवाइयां लेने के लिए आ रहे थे उन्हें खाली हाथ वापस जाना पड़ रहा था।
वही दवाइयां लेने पहुंचे क्षेत्र के बागबानो का कहना है कि
आए दिन उनके बगीचों में कोई ना कोई बीमारियां लग रही है जिनमें स्केब, वूलन कीट , सेब के पत्तों का पीला पड़ना आदि कई बीमारियां लग रही है जिससे चिंतित होकर भगवान अपने बगीचे में स्प्रे करने करना चाहते हैं । लेकिन जब वह उद्यान विभाग के कार्यालय रामपुर में पहुंच रहे हैं तो उन्हें यहां से खाली हाथ वापस जाना पड़ रहा है। भगवानों को कार्यालय में सेब के रोगों की कोई भी दवाइयां नहीं मिल रही है ।बागवानों का कहना है कि उन्हें बाजार से महंगे दामों पर दवाइयां लेनी पड़ रही है।

बागवानों का यह भी कहना है कि कार्यालय में सिर्फ कीटनाशक, फफूंद नाशक दवाईया ही मिल रही है । लेकिन उन्हे आए दिन जो बीमारियां सेब के बगीचों में पनप रही है उन्हे उसकी दवा नहीं मिल रही है ।

बाक्स
वही इस बार में s.m.s. रामपुर उद्यान विभाग अधिकारी केएल कटोच ने सेब की दवाइयों की कमी को खारिज करते हुए बताया कि रामपुर के सभी सेंटरों में बागवानों के लिए दवाइयां भेजी गई है कभी कुछ दवाइयों की कमी हो जाती है लेकिन कुछ दिनों में उसे भी पूरा किया जाता है ।


बाईट : बागवान
बाईट : एसएमएस रामपुर केएल कटोच ।


Conclusion:
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