शिमला: हिमाचल मानसून सत्र के दौरान सत्ता और विपक्ष के बीच आपदा को लेकर आरोप-प्रत्यारोप देखने को मिल रहा है. इसी कड़ी में आपदा के बाद केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी के हिमाचल दौरे को लेकर लोक निर्माण विभाग मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने बिना नाम लिए विपक्ष पर निशाना साधा. उन्होंने कहा नितिन गडकरी को हिमाचल लाने के लिए किसी को खींचने की जरूरत नहीं थी. नितिन गडकरी अपनी गुडविल से आए थे और राज्य सरकार ने उनको बुलाया था.
विक्रमादित्य सिंह ने कहा हिमाचल प्रदेश में आपदा से हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए कुछ समय पहले केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी कुल्लू और मनाली दौरे पर आए थे. गडकरी ने आपदा से एनएच और फोरलेन को हुए नुकसान का जायजा लिया और करीब 400 करोड़ रुपए देने की घोषणा की थी. नितिन गडकरी के इस दौरे का विपक्ष क्रेडिट ले रहा है. नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर तो कह रहे हैं कि वह नितिन गडकरी को दिल्ली से लेकर अपने साथ लाए थे. विक्रमादित्य सिंह ने सदन में बिना किसी का नाम लिए कहा कि नितिन गडकरी को हिमाचल लाने के लिए किसी को खींचने की जरूरत नहीं थी. वह अपनी गुडविल से आए थे और हिमाचल सरकार ने उनको बुलाया था.
सरकार ने बंद सड़कों को खोलने का काम किया: विक्रमादित्य सिंह ने कहा इस आपदा में मिलकर दलगत राजनीति से ऊपर उठकर काम करने की जरूरत है. सभी सदस्यों ने जो सुझाव दिए हैं, उनको वे अपने विभाग के माध्यम से अमलीजामा पहनाएंगे. हिमाचल आपदा का जिक्र करते हुए विक्रमादित्य सिंह ने कहा प्रदेश में किसी समय 1,320 सड़कें एक समय बंद पड़ी थी. सरकार ने इनको खोलने के लिए मजबूती के साथ काम किया है. जहां पुल और जहां डंगे लगने थे, वहां काम किया जा रहा है. आपदा में प्रदेश में 19 पुल बह गए. 90 पुल क्षतिग्रस्त हुए हैं. सरकार इनको बहाली का काम कर रही है. लोक निर्माण विभाग ने बीते दो माह में 15 वैली 27 झूला पुल लगाए हैं. इसके अलावा 15 नए वैली ब्रिज 18 करोड़ के खरीदे जा रहे हैं. ताकि आगे जरूरत के समय इनका इस्तेमाल किया जा सके.
पंजाब-राजस्थान की तकनीक अपनाकर की गई कटिंग: विक्रमादित्य सिंह ने कहा केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने अपने हिमाचल दौरे के दौरान कहा था कि फोरलेन और एनएच बनाते समय यहां की स्ट्राटा (पहाड़ी संरचना) का ध्यान नहीं रखा गया. राजस्थान और पंजाब की तरह तकनीक को यहां इस्तेमाल किया गया. इससे यहां भारी नुकसान हुआ है. इसके विपरीत 1970-80-90 की सड़कों को कोई नुकसान नहीं हुआ. इसके विपरीत एनएच की सड़कें कई जगह टूट गई हैं. विक्रमादित्य सिंह ने कहा 31 अक्टूबर 2023 तक सभी बस वाले रोड हिमाचल में ओपन भारी वाहन के लिए खोल दिए जाएंगे. उन्होंने कहा कि इन सड़कों में डंगे, रिटेनिंग वाल लगाई जानी है. कई जगह ज्यादा रिटेनिंग वाल लगाने के लिए रि-अलाइनमेंट की जाएगी.
सरकार ने 100 करोड़ रुपए दिए: विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि सरकार ने प्रदेश में बंद सड़कों को खोलने के लिए विभिन्न डिविजन को 100 करोड़ रुपए दिए हैं. तकरीबन 30 करोड़ रुपए नई मशीनों को खरीदने के लिए सरकार ने मंजूर किए हैं.
केंद्र सरकार का आभार भी जताया: विक्रमादित्य सिंह ने कहा ओडीआर (अदर डिस्ट्रीक रोड) और एमडीआर (मेजर डिस्ट्रीक रोड) के लिए केंद्र से फंड मिला है, इसके लिए उन्होंने केंद्र सरकार का आभार है. उन्होंने कहा जहां पैसा नहीं मिला है. हम उसकी आवाज को उठाएंगे. यह किसी व्यक्ति विशेष के लिए नहीं है. हिमाचल के लोगों के हित्त के लिए है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार से 51 करोड़ एनएचएआई के अल्टरनेटिव रोड्स के लिए मांगे है. इसके अलावा 112 करोड़ विभिन्न लिंक रोड के लिए मांगे हैं, लेकिन अभी तक नहीं मिले.