मंडी/सुंदरनगर: 84 किलोमीटर लंबे बनने वाले किरतपुर-नेरचौक फोरलेन के तहत गडामोडा से स्वारघाट के कैंची मोड तक और सुंदरनगर के भवाणा से लेकर नागचला तक ठप पड़े फोरलेन निर्माण को जल्द गति मिलनी वाली है. एनएच प्राधिकरण ने इसके लिए कंपनी को 250 करोड़ का टेंडर अलॉट कर दिया है.
बता दें कि जल्द ही लुधियाणा की सीगल इंडिया लिमिटेड कंपनी दोनों स्थानों पर ठप पड़े फोरलेन निर्माण को गति देने के लिए कार्य शुरू करेगी. गौरतलब है कि इस रूट पर बनने वाली 5,070 मीटर लंबी 5 टनलों, जिनमें से ज्यादातर का निर्माण कार्य आधा से ज्यादा हो गया है और 17 बड़े पुल, 28 छोटे पुलों के साथ 248 कलवर्ट (पुलियां) व एक स्थान पर ओवर फ्लाई का निर्माण भी प्रस्तावित है. इन कार्यों को आगे बढ़ाने के लिए अभी तक टेंडर नहीं हुआ है.
किरतपुर-नागचला फोरलेन का निर्माण कार्य 14 नवंबर, 2013 को शुरु हुआ था. उस समय निर्धारित शर्त के अनुसार ये कार्य नवंबर 2016 में पूरा हो जाना चाहिए था. कार्य गति न पकड़ने के कारण राष्ट्रीय उच्च मार्ग प्राधिकरण ने इसका निर्माण की समय सीमा बढ़ा कर फरवरी 2018 कर दिया, लेकिन फोरलेन का टैंडर लेने वाली कंपनी ने बीच में ही निर्माण कार्य छोड़ दिया. जिसके बाद करीब दो साल से निर्माण कार्य पूरी तरह से ठप पड़ा हुआ है.
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राष्ट्रीय उच्च मार्ग प्राधिकरण की वेबसाइट पर उपलब्ध रिपोर्ट के अनुसार किरतपुर-नागचला फोरलेन का निर्माण अब तक 72 प्रतिशत पूरा हो गया है. अब महज 28 प्रतिशत ही निर्माण कार्य बचा हुआ है. ऐसे में उम्मीद है कि बाकी बचे निर्माण कार्य को पूरा करवाने के लिए भी जल्द कदम उठाये जाएंगे.
मंडी के सांसद रामस्वरूप शर्मा का कहना है कि वे फोरलेन के निर्माण कार्य को गति देने के लिए लगातार केंद्र सरकार के समक्ष मामला उठा रहें है और इसके अब सार्थक परिणाम भी आना शुरू हो गए हैं. वहीं, सुंदरनगर के एसडीएम राहुल चौहान ने राष्ट्रीय उच्च मार्ग प्राधिकरण द्वारा 250 करोड़ का टैंडर अलॉट करने की पुष्टि करते हुए बताया कि एक-दो दिन पहले ही उन्हें प्राधिकरण से इस बारे सूचना मिली है.
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