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लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए बनेगी टनल, मुख्य द्वार को किया जाएगा बंद

Larji Power House: लारजी पॉवर हाउस में प्रवेश के लिए एक टनल बनाई जाएगी. टनल बनाने का क्या कारण है ये जानने के लिए पढ़ें पूरी खबर...

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By ETV Bharat Himachal Pradesh Team

Published : Jan 7, 2024, 4:56 PM IST

Larji Power House
लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए बनेगी टनल

मंडी: थलौट स्थित लारजी पॉवर हाउस में प्रवेश के लिए एक टनल बनाई जाएगी और यह टनल पावर हाउस के मौजूदा प्रवेश द्वार से काफी ज्यादा उंचाई से बनाने का निर्णय लिया गया है, ताकि भविष्य में यदि कभी ब्यास नदी का जलस्तर बढ़े और पानी अपना विकराल रूप दिखाकर तांडव करे, तो भी पावर हाउस को किसी प्रकार का कोई नुकसान न पहुंच सके. इस दिशा में बिजली बोर्ड के जनरेशन विंग ने कार्य करना शुरू कर दिया है.

Larji Power House
लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए बनेगी टनल

बता दें कि बीते साल 9 और 10 जुलाई की भारी बारिश से ब्यास नदी का पानी लारजी पावर हाउस में घुस गया था. इस कारण 126 मेगावॉट की यह जलविद्युत परियोजना पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी और अभी तक दोबारा बहाल नहीं हो पाई है. बिजली उत्पादन ठप होने के कारण अभी तक बोर्ड को 415 करोड़ से ज्यादा का नुकसान हो चुका है जबकि बहाली के लिए 185 करोड़ की धनराशि खर्च करनी पड़ रही है. कुल मिलाकर अभी तक 600 करोड़ का नुकसान आंका गया है.

Larji Power House
मुख्य द्वार को किया जाएगा बंद

बिजली बोर्ड के जनरेशन विंग के चीफ इंजीनियर संजय कौशल ने बताया कि भविष्य में पावर हाउस को दोबारा ऐसा नुकसान न हो, इसके लिए लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए एक टनल बनाने की योजना बनाई गई है. अभी जो मुख्य द्वार है उसे हाईड्रोलिक तकनीक के साथ बंद कर दिया जाएगा और उससे अधिक उंचाई पर प्रवेश के लिए एक टनल बनाई जाएगी. प्राकृतिक आपदा का खतरा होने पर इस हाईड्रोलिक द्वार को बंद कर दिया जाया करेगा और टनल के माध्यम से अंदर आना-जाना रहेगा. पावर हाउस के दोबारा शुरू हो जाने के तुरंत बाद टनल बनाने के कार्य को शुरू कर दिया जाएगा.

Larji Power House
बता दें कि बीते साल 9 और 10 जुलाई की भारी बारिश से ब्यास नदी का पानी लारजी पावर हाउस में घुस गया था.

संजय कौशल ने बताया कि 126 मेगावॉट के इस पारव हाउस में 42-42 मेगावॉट के तीन यूनिट हैं. एक यूनिट को बाकी दो यूनिटों से कलपुर्जे निकालकर 15 जनवरी तक बिजली उत्पादन शुरू करने का लक्ष्य रखा गया है. 42 मेगावॉट की एक यूनिट शुरू हो जाने से रोजाना 8 लाख यूनिट बिजली का उत्पादन शुरू हो जाएगा. जबकि बाकी दो यूनिटों को अप्रैल और मई महीने तक शुरू करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके लिए नए पुर्जे मंगवाए जा रहे हैं. तीनों यूनिट जब शुरू हो जाएंगी तो फिर 22 लाख यूनिट से ज्यादा का बिजली उत्पादन रोजाना हो पाएगा.

Larji Power House
पानी घुसने से 126 मेगावॉट की यह जलविद्युत परियोजना पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी

ये भी पढ़ें- पहले महिला का फोन चुराया, अब प्राइवेट फोटो और वीडियो वायरल करने की धमकी, 10 लाख रुपये की मांग

मंडी: थलौट स्थित लारजी पॉवर हाउस में प्रवेश के लिए एक टनल बनाई जाएगी और यह टनल पावर हाउस के मौजूदा प्रवेश द्वार से काफी ज्यादा उंचाई से बनाने का निर्णय लिया गया है, ताकि भविष्य में यदि कभी ब्यास नदी का जलस्तर बढ़े और पानी अपना विकराल रूप दिखाकर तांडव करे, तो भी पावर हाउस को किसी प्रकार का कोई नुकसान न पहुंच सके. इस दिशा में बिजली बोर्ड के जनरेशन विंग ने कार्य करना शुरू कर दिया है.

Larji Power House
लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए बनेगी टनल

बता दें कि बीते साल 9 और 10 जुलाई की भारी बारिश से ब्यास नदी का पानी लारजी पावर हाउस में घुस गया था. इस कारण 126 मेगावॉट की यह जलविद्युत परियोजना पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी और अभी तक दोबारा बहाल नहीं हो पाई है. बिजली उत्पादन ठप होने के कारण अभी तक बोर्ड को 415 करोड़ से ज्यादा का नुकसान हो चुका है जबकि बहाली के लिए 185 करोड़ की धनराशि खर्च करनी पड़ रही है. कुल मिलाकर अभी तक 600 करोड़ का नुकसान आंका गया है.

Larji Power House
मुख्य द्वार को किया जाएगा बंद

बिजली बोर्ड के जनरेशन विंग के चीफ इंजीनियर संजय कौशल ने बताया कि भविष्य में पावर हाउस को दोबारा ऐसा नुकसान न हो, इसके लिए लारजी पावर हाउस में प्रवेश के लिए एक टनल बनाने की योजना बनाई गई है. अभी जो मुख्य द्वार है उसे हाईड्रोलिक तकनीक के साथ बंद कर दिया जाएगा और उससे अधिक उंचाई पर प्रवेश के लिए एक टनल बनाई जाएगी. प्राकृतिक आपदा का खतरा होने पर इस हाईड्रोलिक द्वार को बंद कर दिया जाया करेगा और टनल के माध्यम से अंदर आना-जाना रहेगा. पावर हाउस के दोबारा शुरू हो जाने के तुरंत बाद टनल बनाने के कार्य को शुरू कर दिया जाएगा.

Larji Power House
बता दें कि बीते साल 9 और 10 जुलाई की भारी बारिश से ब्यास नदी का पानी लारजी पावर हाउस में घुस गया था.

संजय कौशल ने बताया कि 126 मेगावॉट के इस पारव हाउस में 42-42 मेगावॉट के तीन यूनिट हैं. एक यूनिट को बाकी दो यूनिटों से कलपुर्जे निकालकर 15 जनवरी तक बिजली उत्पादन शुरू करने का लक्ष्य रखा गया है. 42 मेगावॉट की एक यूनिट शुरू हो जाने से रोजाना 8 लाख यूनिट बिजली का उत्पादन शुरू हो जाएगा. जबकि बाकी दो यूनिटों को अप्रैल और मई महीने तक शुरू करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके लिए नए पुर्जे मंगवाए जा रहे हैं. तीनों यूनिट जब शुरू हो जाएंगी तो फिर 22 लाख यूनिट से ज्यादा का बिजली उत्पादन रोजाना हो पाएगा.

Larji Power House
पानी घुसने से 126 मेगावॉट की यह जलविद्युत परियोजना पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई थी

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