शिमला: हिमाचल हाईकोर्ट में ऊना जिले के बंगाणा स्थित सदाशिव महादेव मंदिर धेउंसर के अधिग्रहण के मामले पर सुनवाई 1 सितम्बर तक टल गई है. हाईकोर्ट ने मंदिर के अधिग्रहण पर रोक लगाई है. मुख्य न्यायाधीश लिंगप्पा नारायण स्वामी व न्यायाधीश अनूप चिटकारा की खंडपीठ के समक्ष सदाशिव मंदिर चैरिटेबल ट्रस्ट की याचिका पर सुनवाई हुई.
इस याचिका में याचिकाकर्ता ने चिंतपूर्णी विधानसभा क्षेत्र के विधायक बलबीर सिंह को भी निजी तौर पर प्रतिवादी बनाया है. प्रार्थी ट्रस्ट का आरोप है कि सरकार ने इस मंदिर का अधिग्रहण राजनीतिक दबाव में आकर किया है. यह मंदिर ट्रस्ट का निजी मंदिर है और यह ट्रस्ट श्रद्धलुओं की अपेक्षाओं के अनुसार काम कर रहा है. सरकार के पास ऐसी कोई पुख्ता जानकारी नहीं है जिसके आधार पर इस मंदिर का अधिग्रहण किया गया.
प्रार्थी ने आरोप लगाया है कि भारत देश अन्य धर्मों के लिए धर्मनिरपेक्ष नहीं है और केवल हिंदू धर्म के लिए धर्मनिरपेक्ष है. केवल हिन्दू मंदिरों का अधिग्रहण कर सरकार यह बताना चाहती है कि हिन्दू मंदिरों का रखरखाव व मैनजमेंट खराब है और बाकी धर्मों के संस्थानों के सही है. सरकार की यह सोच असंवैधानिक है. मंदिरों के कार्यक्रमों में राजनीतिक हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए. इस मामले पर अगली सुनवाई 1 सितम्बर को होगी.
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