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स्विच दिल्ली अभियान की शुरुआत, प्रदूषण दूर करना है उद्देश्य

परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने दिल्ली सरकार के ‘स्विच दिल्ली’ अभियान के पहले सप्ताह की शुरूआत की. पहले सप्ताह में इलेक्ट्रिक बाइक और ई-स्कूटर सहित दोपहिया सेगमेंट तक पहुंच बनाने पर ध्यान केंद्रित किया जाएगा, ताकि इसे बढ़ावा दिया जा सके.

Switch Delhi campaign started
स्विच दिल्ली अभियान की शुरुआत
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Published : Feb 7, 2021, 10:35 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली निवासियों को जागरूक करने और राष्ट्रीय राजधानी में इलेक्ट्रिक दोपाहिया वाहनों को खरीदने के प्रति प्रोत्साहित करने के लिए दिल्ली सरकार के ‘स्विच दिल्ली’ अभियान का पहला सप्ताह रविवार से शुरू हो गया. परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने स्विच दिल्ली अभियान के पहले सप्ताह में कहा कि दिल्ली की ईवी नीति विशेष रूप से दो पहिया वाहनों की खरीद को प्रोत्साहित करने पर ध्यान केंद्रित करती है, जिसमें दिल्ली में सभी वाहनों के 2-3 पहिया वाहन शामिल हैं और अधिकतम प्रदूषण का कारण बनते हैं.

वाहनों से 28 फीसदी 2.5 प्रदूषक उत्सर्जित
ऊर्जा और संसाधन संस्थान (टेरी) के एक अध्ययन से पता चलता है कि वाहन प्रदूषण दिल्ली में पीएम 2.5 के उत्सर्जन का 28 प्रतिशत है और दो पहिया वाहन इस प्रदूषण का 7 प्रतिशत हिस्सा उत्सर्जन करते हैं. दिल्ली के संदर्भ को ध्यान में रखते हुए ईवी पाॅलिसी दोपहिया वाहन वाले सेगमेंट पर विशेष ध्यान केंद्रित करती है. दिल्ली में दो-तिहाई वाहन दुपहिया वाहन हैं और इसलिए इस सेगमेंट को ‘स्विच दिल्ली’ अभियान की सफलता के लिए जल्दी अपनाने के लिए इसे बढ़ावा देने की आवश्यकता है.

पर्यावरण के लिए अनुकूल इलेक्ट्रिक वाहन
परिवहन मंत्री गहलोत ने कहा, ‘एक औसत इलेक्ट्रिक टू व्हीलर एक औसत पेट्रोल दो पहिया वाहनों की तुलना में 1.98 टन कार्बन उत्सर्जन की अपने जीवनकाल में बचत करता है. इसे सीधे शब्दों में कहें, तो हमें 1.98 टन सीओ-2 को सीक्वेंटर करने के लिए लगभग 11 पेड़ों की जरूरत पड़ती है. हम इलेक्ट्रिक वाहनों की तरफ स्विच करके अपने पर्यावरण को बचा सकते हैं और हमारी आने वाली पीढ़ियां इसके लिए एहसान मानेगी.

इलेक्ट्रिक वाहन को प्रोत्साहन देने के लिए वित्तीय सहायता की सुविधा
दिल्ली की ईवी पॉलिसी दोपहिया वाहनों की खरीद पर विभिन्न वित्तीय और गैर-वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान करती है. प्रति किलोवाट बैटरी क्षमता वाले वाहन खरीदने पर पंजीकृत मालिक को प्रति वाहन 5 हजार रुपये प्रदान किया जाएगा और अधिकतम 30 हजार रुपये प्रति वाहन प्राप्त कर सकता है. उन वाहनों के लिए जो खरीद प्रोत्साहन के लिए पात्र हैं, उन्हें दिल्ली में पंजीकृत पुराने ICI दोपहिया वाहनों को स्क्रैपिंग और डी-रजिस्ट्रेशन के लिए 5 हजार रुपए तक का प्रोत्साहन भी मिलेगा. पॉलिसी की अवधि के दौरान ही सभी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों के लिए रोड टैक्स और पंजीकरण शुल्क भी माफ किया जाएगा.

पेट्रोल के मुकाबले इलेक्ट्रिक वाहन किफायती
कैलाश गहलोत ने कहा, ‘10 वर्षों की अवधि में एक इलेक्ट्रिक टू व्हीलर के स्वामित्व की कुल लागत दिल्ली में पेट्रोल स्कूटर का लगभग 50 प्रतिशत है और आरएमआई इंडिया के विश्लेषण के अनुसार दिल्ली में एक पेट्रोल बाइक का लगभग 54 प्रतिशत है. इलेक्ट्रिक दो पहिया वाहन पेट्रोल स्कूटर की तुलना में प्रति किलोमीटर ड्राइव करने के लिए 2.05 रुपये तक सस्ते हैं और पेट्रोल बाइक की तुलना में 1.82 रुपए प्रति किलोमीटर ड्राइव करने के लिए सस्ता है. इलेक्ट्रिक 2 व्हीलर्स अधिकतम 6 महीने में पेट्रोल स्कूटर और बाइक के साथ लागत समानता हासिल करेंगे.

नई दिल्ली: दिल्ली निवासियों को जागरूक करने और राष्ट्रीय राजधानी में इलेक्ट्रिक दोपाहिया वाहनों को खरीदने के प्रति प्रोत्साहित करने के लिए दिल्ली सरकार के ‘स्विच दिल्ली’ अभियान का पहला सप्ताह रविवार से शुरू हो गया. परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने स्विच दिल्ली अभियान के पहले सप्ताह में कहा कि दिल्ली की ईवी नीति विशेष रूप से दो पहिया वाहनों की खरीद को प्रोत्साहित करने पर ध्यान केंद्रित करती है, जिसमें दिल्ली में सभी वाहनों के 2-3 पहिया वाहन शामिल हैं और अधिकतम प्रदूषण का कारण बनते हैं.

वाहनों से 28 फीसदी 2.5 प्रदूषक उत्सर्जित
ऊर्जा और संसाधन संस्थान (टेरी) के एक अध्ययन से पता चलता है कि वाहन प्रदूषण दिल्ली में पीएम 2.5 के उत्सर्जन का 28 प्रतिशत है और दो पहिया वाहन इस प्रदूषण का 7 प्रतिशत हिस्सा उत्सर्जन करते हैं. दिल्ली के संदर्भ को ध्यान में रखते हुए ईवी पाॅलिसी दोपहिया वाहन वाले सेगमेंट पर विशेष ध्यान केंद्रित करती है. दिल्ली में दो-तिहाई वाहन दुपहिया वाहन हैं और इसलिए इस सेगमेंट को ‘स्विच दिल्ली’ अभियान की सफलता के लिए जल्दी अपनाने के लिए इसे बढ़ावा देने की आवश्यकता है.

पर्यावरण के लिए अनुकूल इलेक्ट्रिक वाहन
परिवहन मंत्री गहलोत ने कहा, ‘एक औसत इलेक्ट्रिक टू व्हीलर एक औसत पेट्रोल दो पहिया वाहनों की तुलना में 1.98 टन कार्बन उत्सर्जन की अपने जीवनकाल में बचत करता है. इसे सीधे शब्दों में कहें, तो हमें 1.98 टन सीओ-2 को सीक्वेंटर करने के लिए लगभग 11 पेड़ों की जरूरत पड़ती है. हम इलेक्ट्रिक वाहनों की तरफ स्विच करके अपने पर्यावरण को बचा सकते हैं और हमारी आने वाली पीढ़ियां इसके लिए एहसान मानेगी.

इलेक्ट्रिक वाहन को प्रोत्साहन देने के लिए वित्तीय सहायता की सुविधा
दिल्ली की ईवी पॉलिसी दोपहिया वाहनों की खरीद पर विभिन्न वित्तीय और गैर-वित्तीय प्रोत्साहन प्रदान करती है. प्रति किलोवाट बैटरी क्षमता वाले वाहन खरीदने पर पंजीकृत मालिक को प्रति वाहन 5 हजार रुपये प्रदान किया जाएगा और अधिकतम 30 हजार रुपये प्रति वाहन प्राप्त कर सकता है. उन वाहनों के लिए जो खरीद प्रोत्साहन के लिए पात्र हैं, उन्हें दिल्ली में पंजीकृत पुराने ICI दोपहिया वाहनों को स्क्रैपिंग और डी-रजिस्ट्रेशन के लिए 5 हजार रुपए तक का प्रोत्साहन भी मिलेगा. पॉलिसी की अवधि के दौरान ही सभी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों के लिए रोड टैक्स और पंजीकरण शुल्क भी माफ किया जाएगा.

पेट्रोल के मुकाबले इलेक्ट्रिक वाहन किफायती
कैलाश गहलोत ने कहा, ‘10 वर्षों की अवधि में एक इलेक्ट्रिक टू व्हीलर के स्वामित्व की कुल लागत दिल्ली में पेट्रोल स्कूटर का लगभग 50 प्रतिशत है और आरएमआई इंडिया के विश्लेषण के अनुसार दिल्ली में एक पेट्रोल बाइक का लगभग 54 प्रतिशत है. इलेक्ट्रिक दो पहिया वाहन पेट्रोल स्कूटर की तुलना में प्रति किलोमीटर ड्राइव करने के लिए 2.05 रुपये तक सस्ते हैं और पेट्रोल बाइक की तुलना में 1.82 रुपए प्रति किलोमीटर ड्राइव करने के लिए सस्ता है. इलेक्ट्रिक 2 व्हीलर्स अधिकतम 6 महीने में पेट्रोल स्कूटर और बाइक के साथ लागत समानता हासिल करेंगे.

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