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चीन में एप्पल पर प्रतिबंध का असर, कार्यालयों में iPhone पर बढ़ी सख्ती

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Dec 17, 2023, 4:14 PM IST

Updated : Dec 17, 2023, 7:41 PM IST

Impact of Apple ban in China : चीन और अमेरिका के बीच बाजार पर कब्जे को लेकर नया संघर्ष शुरू हो गया है. चीन की ओर से एप्पल सहित अन्य विदेशी इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्ट्स को बैन किये जाने का असर दिखने लगा है. कार्यालयों में विदेशी इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्ट्स को लाने और उपयोग पर प्रतिबंध का सख्ती से पालन कराया जा रहा है. पढ़ें पूरी खबर..Apple Products, China Bans Apple in Country, China Government Advice On Apple Products.

Apple Products
आईफोन

हैदराबाद : चीन और अमेरिका के बीच विवाद किसी से छुपा नहीं है. ताजा मामला चीन सरकार की ओर से अपने कर्मचारियों के लिए जारी नये गाइडलाइन को लेकर है, जिसमें सरकार की ओर से देश के सभी कर्मचारियों को अपने वर्क प्लेस पर एप्पल या किसी अन्य विदेशी ब्रांड को नहीं ले जाने को कहा है. इसका असर चीन के वहां के कार्यालयों में दिखने लगा है. चीन सरकार की ओर से अघोषित गाइड लाइन का कार्यालयों में सख्ती से पालन कराया जा रहा है. प्रतिबंध को ध्यान में रखते हुए विदेशी इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्ट्स को कार्यालयों में न ले जाने और उपयोग नहीं करने को सख्ती से लागू कराया जा रहा है. बता दें कि ब्लूमबर्ग न्यूज व कई अन्य न्यूज एजेंसियों ने चीन एप्पल व अन्य विदेशी प्रोडक्ट्स के संबंध में गाइडलाइन से संबंधित खबरें शेयर की है.

ब्लूमबर्ग न्यूज की खबर में बताया गया है कि दिसंबर 2023 में शेडोंग, झेजियांग, लियाओनिंग और सेंट्रल हेबेई जैसे शहरों में दुनिया की सबसे बड़ी आईफोन कंपनियां हैं. इन शहरों के अलावा कई छोटे-मंझोले शहरों में छोटी कंपनियों और एजेंसियों ने मौखिक आदेश में आईफोन व अन्य विदेश प्रोडक्ट्स उपयोग करने से मना किया है. बता दें कि इससे पहले इसी साल सितंबर माह में रॉयटर्स ने रिपोर्ट दी थी कि चीन सरकार के कम से कम तीन मंत्रालयों व सरकारी एजेंसियों के कर्मचारियों को वर्क प्लेस पर आईफोन का उपयोग नहीं करने को कहा गया था.

दूसरी ओर अलजजीरा में चीन सरकार के प्रतिनिधियों से हवाले से प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार गैर चीनी कंपनियों के मोबाइल फोन व अन्य टेक्नोलॉजी प्रोडक्ट्स की खरीद बिक्री पर प्रतिबंध लगाये जाने के आदेश को गलत बताया गया है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता माओ निंग ने नियमित प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि चीन सरकार की ओर से ऐसे नियम, कानून या किसी भी प्रकार के पॉलिसी डॉक्यूमेंट नहीं जारी किए हैं, जिसमें एप्पल या कोई अन्य विदेशी ब्रांड फोन की उपयोग या खरीद पर रोक लगाते हैं.

बता दें कि चीन काफी लंबे समय से आत्मनिर्भरता पर बल देने के साथ-साथ अपने ब्रांड्स, टेक्नोलॉजी, प्रोडक्ट्स को बढ़ावा देने की नीति पर लगातार हर स्तर पर काम कर रहा है. चाहे निवेश की बात हो या इस दिशा में शोध का काम. यही नहीं दुनिया भर के बाजारों पर तकनीक, कीमत सहित मानकों पर काम कर विश्व के बड़े से बड़े ब्रांड और मार्केट किंग्स को चुनौती दे रहा है. आज के समय चीन ग्लोबल मार्केट पर कब्जा के लिए स्वयं के तैयार सॉफ्टवेयर, सेमीकंडक्टर चिप सहित अन्य क्षेत्र में भारी निवेश कर रहा है. वहीं एप्पल के संबंध में मीडिया रिपोर्ट्स के बाद उसके शेयरों पर असर देखा गया है.

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हैदराबाद : चीन और अमेरिका के बीच विवाद किसी से छुपा नहीं है. ताजा मामला चीन सरकार की ओर से अपने कर्मचारियों के लिए जारी नये गाइडलाइन को लेकर है, जिसमें सरकार की ओर से देश के सभी कर्मचारियों को अपने वर्क प्लेस पर एप्पल या किसी अन्य विदेशी ब्रांड को नहीं ले जाने को कहा है. इसका असर चीन के वहां के कार्यालयों में दिखने लगा है. चीन सरकार की ओर से अघोषित गाइड लाइन का कार्यालयों में सख्ती से पालन कराया जा रहा है. प्रतिबंध को ध्यान में रखते हुए विदेशी इलेक्ट्रॉनिक्स प्रोडक्ट्स को कार्यालयों में न ले जाने और उपयोग नहीं करने को सख्ती से लागू कराया जा रहा है. बता दें कि ब्लूमबर्ग न्यूज व कई अन्य न्यूज एजेंसियों ने चीन एप्पल व अन्य विदेशी प्रोडक्ट्स के संबंध में गाइडलाइन से संबंधित खबरें शेयर की है.

ब्लूमबर्ग न्यूज की खबर में बताया गया है कि दिसंबर 2023 में शेडोंग, झेजियांग, लियाओनिंग और सेंट्रल हेबेई जैसे शहरों में दुनिया की सबसे बड़ी आईफोन कंपनियां हैं. इन शहरों के अलावा कई छोटे-मंझोले शहरों में छोटी कंपनियों और एजेंसियों ने मौखिक आदेश में आईफोन व अन्य विदेश प्रोडक्ट्स उपयोग करने से मना किया है. बता दें कि इससे पहले इसी साल सितंबर माह में रॉयटर्स ने रिपोर्ट दी थी कि चीन सरकार के कम से कम तीन मंत्रालयों व सरकारी एजेंसियों के कर्मचारियों को वर्क प्लेस पर आईफोन का उपयोग नहीं करने को कहा गया था.

दूसरी ओर अलजजीरा में चीन सरकार के प्रतिनिधियों से हवाले से प्रकाशित रिपोर्ट के अनुसार गैर चीनी कंपनियों के मोबाइल फोन व अन्य टेक्नोलॉजी प्रोडक्ट्स की खरीद बिक्री पर प्रतिबंध लगाये जाने के आदेश को गलत बताया गया है. चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता माओ निंग ने नियमित प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि चीन सरकार की ओर से ऐसे नियम, कानून या किसी भी प्रकार के पॉलिसी डॉक्यूमेंट नहीं जारी किए हैं, जिसमें एप्पल या कोई अन्य विदेशी ब्रांड फोन की उपयोग या खरीद पर रोक लगाते हैं.

बता दें कि चीन काफी लंबे समय से आत्मनिर्भरता पर बल देने के साथ-साथ अपने ब्रांड्स, टेक्नोलॉजी, प्रोडक्ट्स को बढ़ावा देने की नीति पर लगातार हर स्तर पर काम कर रहा है. चाहे निवेश की बात हो या इस दिशा में शोध का काम. यही नहीं दुनिया भर के बाजारों पर तकनीक, कीमत सहित मानकों पर काम कर विश्व के बड़े से बड़े ब्रांड और मार्केट किंग्स को चुनौती दे रहा है. आज के समय चीन ग्लोबल मार्केट पर कब्जा के लिए स्वयं के तैयार सॉफ्टवेयर, सेमीकंडक्टर चिप सहित अन्य क्षेत्र में भारी निवेश कर रहा है. वहीं एप्पल के संबंध में मीडिया रिपोर्ट्स के बाद उसके शेयरों पर असर देखा गया है.

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Last Updated : Dec 17, 2023, 7:41 PM IST
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