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संसद में गतिरोध के बीच राज्यसभा सभापति ने बुलाई बैठक, कांग्रेस बोली- जेपीसी की मांग पर कोई समझौता नहीं

संसद में गतिरोध के बीच राज्यसभा के सभापति ने सदन के नेताओं की बैठक बुलाई है. इस पर कांग्रेस ने कहा है कि जेपीसी की मांग पर कोई समझौता नहीं किया जाएगा. वहीं, कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने बुधवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिख कर राजनाथ सिंह के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है.

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Published : Mar 23, 2023, 7:26 AM IST

नई दिल्ली: राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने गतिरोध को दूर करने के लिए विचार-विमर्श के लिए गुरुवार को सुबह 10 बजे सदन के नेताओं की एक और बैठक बुलाई है. उधर, कांग्रेस ने कहा है कि जेपीसी की मांग पर कोई समझौता नहीं होगा. कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने बुधवार को कहा कि अगर सरकार संसद चलने देने के लिए गंभीर है, तो पार्टी नेता राहुल गांधी को बीजेपी के आरोपों का जवाब देना चाहिए. राहुल गांधी से माफी की मांग के बीच कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने बुधवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखा. पत्र में केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के खिलाफ पार्टी के पूर्व प्रमुख के बारे में उनकी कथित अपमानजनक टिप्पणी पर कार्रवाई की मांग की.

टैगोर ने पत्र में लिखा है कि 13 मार्च को जब संसद सत्र में बुलाया गया था और सदस्य सदन में इकट्ठे हुए थे, राजनाथ सिंह ने लोकसभा को संबोधित किया. बिना किसी अग्रिम सूचना के राहुल गांधी के खिलाफ अपमानजनक बयान दिया. उन्होंने कहा कि राजनाथ सिंह ने स्पष्ट रूप से लोकसभा नियमों के नियम 352 (ii) और नियम 353 का उल्लंघन किया है. उनके खिलाफ प्राथमिकता के आधार पर कार्रवाई होनी चाहिए.

कांग्रेस नेता ने यह भी कहा कि राजनाथ सिंह ने अपमानजनक और अशोभनीय बयान देते हुए किसी स्रोत का जिक्र नहीं किया. उन्होंने राहुल गांधी के बारे में जानकारी कहा से हासिल की और ना ही उन्होंने राहुल गांधी के खिलाफ अपने दावों का समर्थन करने के लिए कोई दस्तावेजी या इसी तरह के सबूत पेश किए हैं. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के इस तरह के चरित्र हनन की न केवल अनुमति दी जा रही है, बल्कि प्रोत्साहित भी किया जा रहा है क्योंकि राहुल गांधी को खुद का बचाव करने या अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों का खंडन करने का कोई अवसर नहीं दिया गया है.

ये भी पढ़ें- Rahul Gandhi: राहुल के खिलाफ मानहानि मामले में गुरुवार को सूरत की अदालत सुनाएगी फैसला

इस संबंध में कांग्रेस के लोकसभा सांसद अधीर रंजन चौधरी ने भी 13 मार्च को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से राहुल गांधी के खिलाफ केंद्रीय मंत्रियों राजनाथ सिंह और प्रह्लाद जोशी के बयान को हटाने का अनुरोध किया था. राहुल गांधी ने विधानसभा अध्यक्ष को पत्र लिखकर भारतीय जनता पार्टी द्वारा उन पर लगाए गए आरोपों का जवाब देने के लिए सदन में बोलने की अनुमति मांगी है.

कांग्रेस ने बुधवार को कहा कि संसद में गतिरोध खत्म करने का एक तरीका यह है कि राहुल गांधी को भाजपा के आरोपों का जवाब देने दिया जाए. पार्टी ने कहा कि हिंडनबर्ग-अडानी पंक्ति पर जेपीसी के लिए कई विपक्षी दलों की मांग पर कोई समझौता नहीं होगा. जयराम रमेश ने कहा कि अगर राहुल गांधी को लोकसभा में बोलने की अनुमति दी जाती है और मंत्रियों द्वारा उनके खिलाफ 'आधारहीन आरोपों' का खंडन किया जाता है तो बातचीत हो सकती है.

ये भी पढ़ें- BJP says Rahul apologize: आज की राजनीति के 'मीर जाफर' हैं राहुल, माफी मांगनी होगी : भाजपा

हालांकि, उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी जेपीसी की अपनी मांग से पीछे नहीं हटेगी. जयराम रमेश ने कहा कि जेपीसी की मांग से ध्यान भटकाने के लिए भाजपा ने राहुल गांधी पर झूठे आरोप लगाए. उन्होंने कहा कि उनकी रणनीति 3 डी है- तोड़ना, बदनाम करना और भटकाना है. उन्होंने राहुल गांधी की टिप्पणियों को तोड़-मरोड़ कर पेश किया, उन्हें बदनाम किया और अब अडानी मुद्दे से ध्यान हटाना चाहते हैं.

बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा ने मंगलवार को राहुल गांधी की तुलना मीर जाफर से करने की मांग की थी, जिन्होंने प्लासी की लड़ाई में सिराज-उद-दौला को धोखा दिया और ईस्ट इंडिया कंपनी की मदद की. पात्रा ने कहा कि गांधी को टी में की गई अपनी टिप्पणी के लिए माफी मांगनी होगी.

(एएनआई)

नई दिल्ली: राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने गतिरोध को दूर करने के लिए विचार-विमर्श के लिए गुरुवार को सुबह 10 बजे सदन के नेताओं की एक और बैठक बुलाई है. उधर, कांग्रेस ने कहा है कि जेपीसी की मांग पर कोई समझौता नहीं होगा. कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने बुधवार को कहा कि अगर सरकार संसद चलने देने के लिए गंभीर है, तो पार्टी नेता राहुल गांधी को बीजेपी के आरोपों का जवाब देना चाहिए. राहुल गांधी से माफी की मांग के बीच कांग्रेस सांसद मणिकम टैगोर ने बुधवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखा. पत्र में केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के खिलाफ पार्टी के पूर्व प्रमुख के बारे में उनकी कथित अपमानजनक टिप्पणी पर कार्रवाई की मांग की.

टैगोर ने पत्र में लिखा है कि 13 मार्च को जब संसद सत्र में बुलाया गया था और सदस्य सदन में इकट्ठे हुए थे, राजनाथ सिंह ने लोकसभा को संबोधित किया. बिना किसी अग्रिम सूचना के राहुल गांधी के खिलाफ अपमानजनक बयान दिया. उन्होंने कहा कि राजनाथ सिंह ने स्पष्ट रूप से लोकसभा नियमों के नियम 352 (ii) और नियम 353 का उल्लंघन किया है. उनके खिलाफ प्राथमिकता के आधार पर कार्रवाई होनी चाहिए.

कांग्रेस नेता ने यह भी कहा कि राजनाथ सिंह ने अपमानजनक और अशोभनीय बयान देते हुए किसी स्रोत का जिक्र नहीं किया. उन्होंने राहुल गांधी के बारे में जानकारी कहा से हासिल की और ना ही उन्होंने राहुल गांधी के खिलाफ अपने दावों का समर्थन करने के लिए कोई दस्तावेजी या इसी तरह के सबूत पेश किए हैं. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी के इस तरह के चरित्र हनन की न केवल अनुमति दी जा रही है, बल्कि प्रोत्साहित भी किया जा रहा है क्योंकि राहुल गांधी को खुद का बचाव करने या अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों का खंडन करने का कोई अवसर नहीं दिया गया है.

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इस संबंध में कांग्रेस के लोकसभा सांसद अधीर रंजन चौधरी ने भी 13 मार्च को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से राहुल गांधी के खिलाफ केंद्रीय मंत्रियों राजनाथ सिंह और प्रह्लाद जोशी के बयान को हटाने का अनुरोध किया था. राहुल गांधी ने विधानसभा अध्यक्ष को पत्र लिखकर भारतीय जनता पार्टी द्वारा उन पर लगाए गए आरोपों का जवाब देने के लिए सदन में बोलने की अनुमति मांगी है.

कांग्रेस ने बुधवार को कहा कि संसद में गतिरोध खत्म करने का एक तरीका यह है कि राहुल गांधी को भाजपा के आरोपों का जवाब देने दिया जाए. पार्टी ने कहा कि हिंडनबर्ग-अडानी पंक्ति पर जेपीसी के लिए कई विपक्षी दलों की मांग पर कोई समझौता नहीं होगा. जयराम रमेश ने कहा कि अगर राहुल गांधी को लोकसभा में बोलने की अनुमति दी जाती है और मंत्रियों द्वारा उनके खिलाफ 'आधारहीन आरोपों' का खंडन किया जाता है तो बातचीत हो सकती है.

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हालांकि, उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी जेपीसी की अपनी मांग से पीछे नहीं हटेगी. जयराम रमेश ने कहा कि जेपीसी की मांग से ध्यान भटकाने के लिए भाजपा ने राहुल गांधी पर झूठे आरोप लगाए. उन्होंने कहा कि उनकी रणनीति 3 डी है- तोड़ना, बदनाम करना और भटकाना है. उन्होंने राहुल गांधी की टिप्पणियों को तोड़-मरोड़ कर पेश किया, उन्हें बदनाम किया और अब अडानी मुद्दे से ध्यान हटाना चाहते हैं.

बीजेपी प्रवक्ता संबित पात्रा ने मंगलवार को राहुल गांधी की तुलना मीर जाफर से करने की मांग की थी, जिन्होंने प्लासी की लड़ाई में सिराज-उद-दौला को धोखा दिया और ईस्ट इंडिया कंपनी की मदद की. पात्रा ने कहा कि गांधी को टी में की गई अपनी टिप्पणी के लिए माफी मांगनी होगी.

(एएनआई)

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