नई दिल्ली : कक्षा 10वीं और 12वीं की परीक्षाओं के लिए केंद्र बदलने की शर्तों की घोषणा करते हुए केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने मंगलवार को कहा कि जिले के भीतर इस तरह के बदलाव की अनुमति नहीं दी जाएगी. कोविड-19 महामारी के मद्देनजर स्थगित की गई बोर्ड परीक्षाएं 1 से 15 जुलाई तक आयोजित की जाएंगी.
परीक्षा केंद्र के परिवर्तन की अनुमति केवल उस जिले में दी जाएगी, जिसमें आवेदक शिफ्ट हुआ है, और जिसमें सीबीएसई संबद्ध स्कूल हैं. यदि छात्र वर्तमान में जिस जिले में रह रहा हो वहां कोई सीबीएसई संबद्ध स्कूल नहीं है तो पड़ोसी जिले में एक परीक्षा केंद्र आवंटित किया जाएगा. बोर्ड ने आधिकारिक आदेश में कहा कि कंटेनमेंट जोन में किसी भी परीक्षा केंद्र की अनुमति नहीं होगी.
उन्होंने कहा कि जो स्कूल कंटेनमेंट जोन में आते हैं, उन स्कूलों के छात्रों को परीक्षा केंद्र जोन के बाहर आवंटित किया जाएगा. उसी जिले में केंद्र बदलने की अनुमति नहीं दी जाएगी. दिल्ली को इस उद्देश्य के लिए एक जिला माना जाएगा इसलिए दिल्ली के एक जिले से दूसरे जिले के परीक्षा केंद्र में परिवर्तन की आवश्यकता नहीं होगी. बोर्ड ने कहा कि वह केवल अपने स्कूलों के माध्यम से परीक्षा केंद्र बदलने के लिए उम्मीदवारों के अनुरोधों को स्वीकार करेगा.
यह स्कूल की जिम्मेदारी होगी कि वे अपने छात्रों से यह जानने के लिए संपर्क करें कि क्या वे किसी दूसरे जिले में चले गए हैं. और अगर चले गए हैं तो क्या अपने परीक्षा केंद्र को बदलने की सुविधा का लाभ अपने वर्तमान जिले में लेना चाहेंगे. ये जानकारी लेने के बाद स्कूलों को ये जानकारी सीबीएसई बोर्ड को देनी होगी.
किसी और तरह से किये गए आवेदन को सीबीएसई बोर्ड स्वीकार नहीं करेगा. छात्र अपने स्कूल में किसी अन्य जिले में सेंटर बदलने का आवेदन देंगे फिर स्कूल इन आवेदनों से सीबीएसई को भेजेगा. देश भर में कक्षा 12वीं की परीक्षाएं आयोजित की जाएंगी. कक्षा 10 की परीक्षाएं केवल उत्तर पूर्वी दिल्ली में लंबित हैं. संशोधित नागरिकता कानून के विरोध में कानून-व्यवस्था की स्थिति के कारण राष्ट्रीय राजधानी जिले में परीक्षा आयोजित नहीं की जा सकी.
सीबीएसई ने कहा कि जो उम्मीदवार भारत में पढ़ रहे थे और दूसरे देशों में शिफ्ट हो गए थे, वे भारत के किसी भी जिले से परीक्षा दे सकते हैं. ये उम्मीदवार भी अपने स्कूलों से ही अनुरोध करेंगे. ऐसे उम्मीदवारों के लिए सीबीएसई द्वारा अन्य देशों में कोई परीक्षा आयोजित नहीं की जाएगी. उनके परिणाम बोर्ड द्वारा तय की जाने वाली मूल्यांकन योजना के अनुसार घोषित किया जाएगा.
जिन विषयों की परीक्षाएं बोर्ड द्वारा आयोजित नहीं की जाएंगी उनके संबंध में भी परिणाम तय की जाने वाली मूल्यांकन योजना के अनुसार ही घोषित किए जाएंगे. वे विशेष छात्र जिन्हें परीक्षा में मदद की जरूरत पड़ती है उन बच्चों को शारीरिक दूरी के नियमों के तहत परीक्षा देने की जरूरत नहीं है. उनका परीक्षा फल बोर्ड द्वारा तय की जाने वाली मूल्यांकन योजना के अनुसार घोषित किया जाएगा.
जब केंद्र ने कोरोना के प्रकोप को रोकने के लिए देशव्यापी कक्षाएं बंद करने की घोषणा की तब से देश भर के विश्वविद्यालयों और स्कूलों को 16 मार्च से बंद कर दिया गया है. बोर्ड ने पिछले महीने घोषणा की थी कि वह केवल 29 विषयों में लंबित परीक्षाओं को आयोजित करेगा, जो पदोन्नति और उच्च शिक्षण संस्थानों में प्रवेश के लिए महत्वपूर्ण हैं. जिन विषयों के लिए परीक्षा आयोजित नहीं की जा रही है, उनके मूल्यांकन का तौर-तरीका जल्द ही बोर्ड द्वारा घोषित किया जाएगा.
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बोर्ड परीक्षाओं के लिए समय निर्धारित किया गया है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वे प्रतियोगी परीक्षाओं से पहले पूरी हो जाएं. जबकि इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा जेईई-मेन्स 18 से 23 जुलाई तक आयोजित होने वाली है, मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट 26 जुलाई को होनी है.