धमतरी: गर्मी की छुट्टी के बाद छत्तीसगढ़ में 24 जून से नए शिक्षा सत्र की शुरुआत हो गई. नये सत्र के पहले दिन स्कूल पहुंचे बच्चों में एक और जहां उत्साह और रौनक दिखी, वहीं धमतरी के गोकुलपुर सरकारी स्कूल के बच्चों से पढ़ाई की जगह काम कराया गया.
यहां स्कूल के 8वीं के बच्चों से लोहे का बोर्ड ढुलवाया गया. जिसका वीडियो सामने आने के बाद मामला गरमा गया है. शिक्षा विभाग ने मामले में संज्ञान लेते हुए हेड मास्टर से इसकी पूरी जानकारी मांगी गई है.
प्रधान पाठिका ने दिया था काम
दरअसल, यहां प्राथमिक से लेकर हायर सेकंडरी तक की पढ़ाई होती थी. नए सत्र में यहां अंग्रेजी माध्यम में भी पड़ाई शुरू की गई है. इसके लिए लोहे का साइन बोर्ड बनवाया गया था. उस साइन बोर्ड को वर्कशॉप से स्कूल तक लाने का काम स्कूल में पढ़ने वाले बच्चों से कराया गया. बताते हैं, स्कूल में मध्याह्न भोजन के लिए काम करने वाली सहायिका के साथ बच्चों को बोर्ड को लाने का काम सौंप दिया गया था.
वर्कशॉप से लोहे का बोर्ड उठाकर लाये बच्चे
60 से 70 किलो वजनी लोहे के बोर्ड को छोटे-छोटे बच्चे कंधों पर उठा कर मजदूरों की तरह वर्कशॉप से स्कूल तक लेकर आये. गनीमत रहा किसी को कोई चोट नहीं आई. लगी लेकिन ये तस्वीरें इस स्कूल के जिम्मेदार लोगों की लापरवाही और संवेदनहीनता से पर्दा हटा रही है और सवाल खड़े कर रही है कि क्या बच्चे स्कूल में शिक्षा हासिल करने आते है या मजदूरी करने. मामले में स्कूल की प्रधान पाठिका और प्राचार्य ने घटना को गलत तो माना, लेकिन जिम्मेदारी से भी बचती नजर आई.
दोषियों पर होगी कड़ी कार्रवाई
सहायिका का कहना है कि प्रधान पाठिका के निर्देश पर बच्चों से काम कराया गया है. इधर, शिक्षा विभाग के अधिकारियों का कहना है कि ये स्कूल प्रबंधन की गंभीर चूक है और मामले में जांच के बाद दोषी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.