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Darbhanga Burning Case: पीड़िता का गंभीर आरोप- मंत्री के दबाव में मुख्य आरोपी को बचाने की कोशिश

दरभंगा के नगर थाना क्षेत्र के जीएम रोड में भू-माफिया द्वारा एक परिवार के तीन सदस्यों को जिंदा जलाकर मार डालने (Case of burning alive in Darbhanga) के मामले में पीड़ित परिवार ने पुलिस पर कई गंभीर आरोप लगाए हैं. इसके अलावा नीतीश सरकार के एक मंत्री का हाथ होने और आरोपी को बचाने की बता कही है. परिजन ने शिवकुमार झा के हाथों से मरने के बजाय आमरण अनशन कर जान देने की चेतावनी दी है.

Nitish minister protecting main accused in Darbhanga Burning Case
पुलिस और नीतीश के मंत्री पर मुख्य आरोपी को बचाने का आरोप
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Published : Apr 20, 2022, 9:55 PM IST

दरभंगा: बिहार के दरभंगा में एक परिवार को तीन लोगों को जिंदा जलाकर मार डालने (burning three people alive in Darbhanga) के मामले में पीड़ित परिवार पुलिस की जांच से संतुष्ट नहीं (Victims not satisfied with Police Investigation) है. पीड़ित परिजनों ने पुलिस पर आरोपी भू-माफिया को बचाने का गंभीर आरोप लगाया है. परिजनों ने कहा है कि पुलिस मुख्य आरोपी शिवकुमार झा को बचाने (Police Saving Main Accused Shivkumar Jha) की कोशिश कर रही है. इससे उनकी जान पर खतरा है. इसके साथ ही नीतीश कुमार के करीबी मंत्री का हाथ होने और आरोपी को संरक्षण दिये जाने की बात कही.

ये भी पढ़ें- दरभंगा में भू-माफियाओं का आतंक.. पूरे परिवार को जिंदा जलाने की कोशिश

पुलिस ने केस डायरी को बदल दिया: पीड़ित परिवार की जिंदा बची सदस्य निक्की झा ने प्रेस वार्ता करके कहा कि पुलिस ने इस केस की डायरी को बदल दिया. इस डायरी में उनका फर्जी हस्ताक्षर कर मन माफिक बयान लिख दिया. आरोपी शिवकुमार झा का वकील जो बोला वही बयान डायरी में लिखा गया है. जो उनका और उनके भैया का पीएमसीएच और डीएमसीएच में बयान हुआ था उसको बदल दिया गया. जो उनके गवाह थे उनका नाम नहीं दिया गया.

शिवकुमार झा को मंत्री का संरक्षण निक्की झा ने कहा कि घटना में जो हुआ था उसका जिक्र नहीं है. डायरी अगर गलत हुई तो उनको सजा नहीं मिलेगी. उनको बेल हो जाएगा और वे बेल के लिए लगे हुए हैं. वे बाहर निकले तो वो और उनकी मम्मी बची हैं, उन्हें भी खतरा हो जाएगा. इसमें बड़े-बड़े मंत्री का हाथ है और शिवकुमार झा को संरक्षण है. बड़े-बड़े डॉक्टर का हाथ है. बोला जाये तो इसमें सेकेंड नीतीश कुमार का हाथ है. उसके हाथ से मरने से अच्छा है कि अनशन पर बैठकर जो लोग बचे हैं, अपना जान दे दें.

एक परिवार को तीन लोगों को जिंदा जलाया गया था: बता दें कि इसी साल 10 फरवरी को भू-माफिया द्वारा मकान और जमीन पर कब्जा करने के लिए एक परिवार के दो सदस्यों और एक महिला के पेट में पल रहे बच्चे को जिंदा जला दिया था. इलाज के दौरान पीएमसीएच पटना में उनकी मौत हो गई थी. इस मामले में मुख्य आरोपी शिवकुमार झा समेत आठ लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था. मुख्य आरोपी शिवकुमार झा अभी जेल में बंद है.

ये भी पढ़ें- दरभंगा में 3 लोगों को जिंदा जलाने का मुख्य आरोपी गिरफ्तार, जानें केस में अब तक क्या-क्या हुआ


ये भी पढ़ें- Darbhanga Burning Case की एसआईटी जांच हाईकोर्ट के रिटायर्ड जस्टिस करें- कीर्ति आजाद

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पुलिस ने केस डायरी को बदल दिया: पीड़ित परिवार की जिंदा बची सदस्य निक्की झा ने प्रेस वार्ता करके कहा कि पुलिस ने इस केस की डायरी को बदल दिया. इस डायरी में उनका फर्जी हस्ताक्षर कर मन माफिक बयान लिख दिया. आरोपी शिवकुमार झा का वकील जो बोला वही बयान डायरी में लिखा गया है. जो उनका और उनके भैया का पीएमसीएच और डीएमसीएच में बयान हुआ था उसको बदल दिया गया. जो उनके गवाह थे उनका नाम नहीं दिया गया.

शिवकुमार झा को मंत्री का संरक्षण निक्की झा ने कहा कि घटना में जो हुआ था उसका जिक्र नहीं है. डायरी अगर गलत हुई तो उनको सजा नहीं मिलेगी. उनको बेल हो जाएगा और वे बेल के लिए लगे हुए हैं. वे बाहर निकले तो वो और उनकी मम्मी बची हैं, उन्हें भी खतरा हो जाएगा. इसमें बड़े-बड़े मंत्री का हाथ है और शिवकुमार झा को संरक्षण है. बड़े-बड़े डॉक्टर का हाथ है. बोला जाये तो इसमें सेकेंड नीतीश कुमार का हाथ है. उसके हाथ से मरने से अच्छा है कि अनशन पर बैठकर जो लोग बचे हैं, अपना जान दे दें.

एक परिवार को तीन लोगों को जिंदा जलाया गया था: बता दें कि इसी साल 10 फरवरी को भू-माफिया द्वारा मकान और जमीन पर कब्जा करने के लिए एक परिवार के दो सदस्यों और एक महिला के पेट में पल रहे बच्चे को जिंदा जला दिया था. इलाज के दौरान पीएमसीएच पटना में उनकी मौत हो गई थी. इस मामले में मुख्य आरोपी शिवकुमार झा समेत आठ लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था. मुख्य आरोपी शिवकुमार झा अभी जेल में बंद है.

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