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नालंदा : कोरोना वायरस को रोकने के लिए DM ने नोडल पदाधिकारियों के साथ की बैठक

नालंदा जिले में कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए जिलाधिकारी ने नोडल पदाधिकारियों के साथ बैठक की. बैठक में सिविल सर्जन द्वारा स्पष्ट रूप से बताया गया कि जांच में एक बार निगेटिव पाए जाने के बाद लोग पुनः पॉजिटिव नहीं हो सकते हैं.

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कोरोना वायरस को रोकने के लिए DM ने की नोडल पदाधिकारियों के साथ बैठक.
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Published : Jul 27, 2020, 10:28 PM IST

नालंदा: कोविड-19 के संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए जिला पदाधिकारी योगेंद्र सिंह ने सोमवार को सभी कोषांग के नोडल पदाधिकारियों के साथ बैठक की. सैंपलिंग कोषांग के नोडल पदाधिकारी भूमि सुधार उप समाहर्ता बिहार शरीफ को प्रतिदिन निर्धारित लक्ष्य के अनुसार जांच सैंपल कलेक्ट कराने तथा जांच का रिपोर्ट प्राप्त होने से संबंधित व्यवस्था का अनुश्रवण करने को कहा गया.

होम आइसोलेशन की दी जा रही है सुविधा
इस कोषांग द्वारा प्रतिदिन सैंपल कलेक्शन एवं जांच रिपोर्ट के आधार पर पॉजिटिव पाए गए लोगों की सूची विभिन्न कोषांग के पदाधिकारियों के साथ साझा किया जा रहा है. सैंपलिंग के समय ही लोगों से उनके होम आइसोलेशन में रहने से संबंधित सहमति पत्र प्राप्त करने हेतु कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा गया.

स्वास्थ्य केंद्रों पर किया गया एंटीजन टेस्ट की व्यवस्था
सिविल सर्जन ने बताया कि सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में रैपिड एंटीजन टेस्ट की व्यवस्था की गई है, जिसका सतत अनुश्रवण करने का निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया. इन केंद्रों पर निर्धारित गाइडलाइन के अनुसार कोविड-19 संक्रमण के लक्षण वाले लोग पॉजिटिव पाए गए लोगों के निकटतम हाई रिस्क कॉन्टैक्ट एवं कंटेनमेंट जोन में रहने वाले भेद्य श्रेणी के लोगों की स्वेच्छा से जांच की जा रही है.

निगेटिव पाए जाने के बाद भी लोग हो सकते हैं पॉजिटिव
सिविल सर्जन द्वारा स्पष्ट रूप से बताया गया कि जांच में एक बार निगेटिव पाए जाने के बाद लोग पुनः पॉजिटिव नहीं हो सकते हैं. ऐसी अवधारणा बिल्कुल ही गलत है. इसलिए जांच में निगेटिव पाए जाने वाले लोगों को भी उतनी ही सतर्कता बरतने की आवश्यकता है, जितनी अन्य लोगों को है. प्रतिदिन पॉजिटिव पाए जाने वाले लोगों की ट्रैकिंग आइसोलेशन कोषांग के माध्यम से से की जा रही है, जो लोग संस्थागत आइसोलेशन में रहना चाहते हैं, उन्हें वहां भेजा जा रहा है तथा जो लोग होम आइसोलेशन में रहना चाहते हैं उन्हें सहमति पत्र के आधार पर होम आइसोलेशन में रहने की अनुमति दी जा रही है.


बेड चिन्हित करने के लिए सिविल सर्जन को दिया गया निर्देश
कॉल सेंटर कोषांग के प्रभारी अनुमंडल लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी बिहार शरीफ को सदर अस्पताल के मेडिकल हेल्पलाइन नंबर (06112 236794) एवं जिला स्तरीय नियंत्रण कक्ष (06112 235288) का सुगमता से संचालन सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया गया. विभागीय निर्देश के आलोक में निजी अस्पतालों में भी कोविड-19 ईलाज के लिए बेड चिन्हित करने का निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया.

निजी लैब में टेस्टिंग के लिए भी उपयुक्त लैब को किया गया चिन्हित
कोविड-19 के निजी लैब मैं टेस्टिंग के लिए भी उपयुक्त लैब को चिन्हित कर टेस्टिंग हेतु अनुमति प्राप्त करने के लिए विधि सम्मत कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा गया. बैठक में उप विकास आयुक्त, सिविल सर्जन, भूमि सुधार उप समाहर्ता बिहार शरीफ, गोपनीय शाखा प्रभारी, अनुमंडल लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी बिहार शरीफ, जिला सहकारिता पदाधिकारी, जिला कल्याण पदाधिकारी, जिला खेल पदाधिकारी सहित विभिन्न कोषांगों से सम्बद्ध वरीय उप समाहर्ता तथा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी अनुमंडल पदाधिकारी जुड़े थे.

नालंदा: कोविड-19 के संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए जिला पदाधिकारी योगेंद्र सिंह ने सोमवार को सभी कोषांग के नोडल पदाधिकारियों के साथ बैठक की. सैंपलिंग कोषांग के नोडल पदाधिकारी भूमि सुधार उप समाहर्ता बिहार शरीफ को प्रतिदिन निर्धारित लक्ष्य के अनुसार जांच सैंपल कलेक्ट कराने तथा जांच का रिपोर्ट प्राप्त होने से संबंधित व्यवस्था का अनुश्रवण करने को कहा गया.

होम आइसोलेशन की दी जा रही है सुविधा
इस कोषांग द्वारा प्रतिदिन सैंपल कलेक्शन एवं जांच रिपोर्ट के आधार पर पॉजिटिव पाए गए लोगों की सूची विभिन्न कोषांग के पदाधिकारियों के साथ साझा किया जा रहा है. सैंपलिंग के समय ही लोगों से उनके होम आइसोलेशन में रहने से संबंधित सहमति पत्र प्राप्त करने हेतु कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा गया.

स्वास्थ्य केंद्रों पर किया गया एंटीजन टेस्ट की व्यवस्था
सिविल सर्जन ने बताया कि सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में रैपिड एंटीजन टेस्ट की व्यवस्था की गई है, जिसका सतत अनुश्रवण करने का निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया. इन केंद्रों पर निर्धारित गाइडलाइन के अनुसार कोविड-19 संक्रमण के लक्षण वाले लोग पॉजिटिव पाए गए लोगों के निकटतम हाई रिस्क कॉन्टैक्ट एवं कंटेनमेंट जोन में रहने वाले भेद्य श्रेणी के लोगों की स्वेच्छा से जांच की जा रही है.

निगेटिव पाए जाने के बाद भी लोग हो सकते हैं पॉजिटिव
सिविल सर्जन द्वारा स्पष्ट रूप से बताया गया कि जांच में एक बार निगेटिव पाए जाने के बाद लोग पुनः पॉजिटिव नहीं हो सकते हैं. ऐसी अवधारणा बिल्कुल ही गलत है. इसलिए जांच में निगेटिव पाए जाने वाले लोगों को भी उतनी ही सतर्कता बरतने की आवश्यकता है, जितनी अन्य लोगों को है. प्रतिदिन पॉजिटिव पाए जाने वाले लोगों की ट्रैकिंग आइसोलेशन कोषांग के माध्यम से से की जा रही है, जो लोग संस्थागत आइसोलेशन में रहना चाहते हैं, उन्हें वहां भेजा जा रहा है तथा जो लोग होम आइसोलेशन में रहना चाहते हैं उन्हें सहमति पत्र के आधार पर होम आइसोलेशन में रहने की अनुमति दी जा रही है.


बेड चिन्हित करने के लिए सिविल सर्जन को दिया गया निर्देश
कॉल सेंटर कोषांग के प्रभारी अनुमंडल लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी बिहार शरीफ को सदर अस्पताल के मेडिकल हेल्पलाइन नंबर (06112 236794) एवं जिला स्तरीय नियंत्रण कक्ष (06112 235288) का सुगमता से संचालन सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया गया. विभागीय निर्देश के आलोक में निजी अस्पतालों में भी कोविड-19 ईलाज के लिए बेड चिन्हित करने का निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया.

निजी लैब में टेस्टिंग के लिए भी उपयुक्त लैब को किया गया चिन्हित
कोविड-19 के निजी लैब मैं टेस्टिंग के लिए भी उपयुक्त लैब को चिन्हित कर टेस्टिंग हेतु अनुमति प्राप्त करने के लिए विधि सम्मत कार्रवाई सुनिश्चित करने को कहा गया. बैठक में उप विकास आयुक्त, सिविल सर्जन, भूमि सुधार उप समाहर्ता बिहार शरीफ, गोपनीय शाखा प्रभारी, अनुमंडल लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी बिहार शरीफ, जिला सहकारिता पदाधिकारी, जिला कल्याण पदाधिकारी, जिला खेल पदाधिकारी सहित विभिन्न कोषांगों से सम्बद्ध वरीय उप समाहर्ता तथा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी अनुमंडल पदाधिकारी जुड़े थे.

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