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दरभंगा: जर्जर भवन में पढ़ने को मजबूर हैं छात्र, शिक्षकों की भी भारी कमी

1951 में स्थापित विरौल प्रखंड के पोखराम पंचायत में स्थित कमला उच्च विद्यालय वर्षो से अपने विकास की राह देख रहा है. यह विद्यालय आज अपने बदहाली पर आंसू बहा रहा है.

दरभंगा
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Published : Jun 23, 2019, 6:19 PM IST

Updated : Jun 23, 2019, 6:38 PM IST

दरभंगा: सरकार शिक्षा को लेकर बड़े-बड़े दावे करती है. लेकिन गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के नाम पर सिर्फ सरकार खानापूर्ती करती है. जिले के एक विद्यालय में भवन से लेकर बुनियादी सुविधाएं का घोर अभाव है. लेकिन इस विद्यालय के शिक्षा व्यवस्था को लेकर स्थानीय प्रशासन से शिक्षा विभाग तक उदासीन है.

मामला जिले के विरौल प्रखंड के पोखराम पंचायत स्थित कमला उच्च विद्यालय का है. इस विद्यालय का निर्माण 1951 में हुआ था. इस विद्यालय को सरकार ने 1952 में स्वीकृति दी थी. इसके बाद से आज तक विद्यालय के भवन निर्माण में कोई पहल नहीं किया गया. विद्यालय का भवन पूरी तरह से जर्जर हो चुका है.

यहां शिक्षकों की है घोर कमी
इस विद्यालय के प्रधानाचार्य रमण कुमार झा ने बताया कि इस विद्यालय में लगभग एक हजार बच्चे नामांकित हैं. विद्यालय में भवन नहीं रहने से पठन-पाठन मे काफी कठिनाई होती है. यहां शिक्षकों की भी बहुत कमी है. माध्यमिक विद्यालय में सिर्फ दो और उच्च विद्यालय में तो एक भी शिक्षक नहीं हैं. इस समस्या को लेकर प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को आवेदन दिया गया है. लेकिन इसके बाद भी अभी तक कोई पहल नहीं किया गया.

प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर

'इस विद्यालय की स्थिति दयनीय'
वहीं, इस मामले में प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर ने कहा कि विद्यालय की स्थिति काफी दयनीय है. इससे बच्चो की पढ़ाई में काफी परेशानी होती है. विद्यालय की इस दयनीय स्थिति के संबंध मे कई बार उच्च अधिकारियों को आवेदन दिया गया. लेकिन विद्यालय के सुदृढ़ करने को लेकर अब तक कोई कार्रवाई नहीं किया गया.

दरभंगा: सरकार शिक्षा को लेकर बड़े-बड़े दावे करती है. लेकिन गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के नाम पर सिर्फ सरकार खानापूर्ती करती है. जिले के एक विद्यालय में भवन से लेकर बुनियादी सुविधाएं का घोर अभाव है. लेकिन इस विद्यालय के शिक्षा व्यवस्था को लेकर स्थानीय प्रशासन से शिक्षा विभाग तक उदासीन है.

मामला जिले के विरौल प्रखंड के पोखराम पंचायत स्थित कमला उच्च विद्यालय का है. इस विद्यालय का निर्माण 1951 में हुआ था. इस विद्यालय को सरकार ने 1952 में स्वीकृति दी थी. इसके बाद से आज तक विद्यालय के भवन निर्माण में कोई पहल नहीं किया गया. विद्यालय का भवन पूरी तरह से जर्जर हो चुका है.

यहां शिक्षकों की है घोर कमी
इस विद्यालय के प्रधानाचार्य रमण कुमार झा ने बताया कि इस विद्यालय में लगभग एक हजार बच्चे नामांकित हैं. विद्यालय में भवन नहीं रहने से पठन-पाठन मे काफी कठिनाई होती है. यहां शिक्षकों की भी बहुत कमी है. माध्यमिक विद्यालय में सिर्फ दो और उच्च विद्यालय में तो एक भी शिक्षक नहीं हैं. इस समस्या को लेकर प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को आवेदन दिया गया है. लेकिन इसके बाद भी अभी तक कोई पहल नहीं किया गया.

प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर

'इस विद्यालय की स्थिति दयनीय'
वहीं, इस मामले में प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर ने कहा कि विद्यालय की स्थिति काफी दयनीय है. इससे बच्चो की पढ़ाई में काफी परेशानी होती है. विद्यालय की इस दयनीय स्थिति के संबंध मे कई बार उच्च अधिकारियों को आवेदन दिया गया. लेकिन विद्यालय के सुदृढ़ करने को लेकर अब तक कोई कार्रवाई नहीं किया गया.

Intro:भवन न शिक्षक विद्यालय चलते है भगवान भरोसे

दरभंगा । राज्य सरकार द्वारा शिक्षा व्यवस्था मे सुधार लाने की बात करते है विद्यालय मे न तो शिक्षक है और न ही भवन । विरौल प्रखंड के पोखराम पंचायत मे अवस्थित +2 कमला उच्च विद्यालय पोखराम की हालात वद से बतर हो चूकी है लेकिन सरकार द्वारा अभी तक कोई पहल नही किया है स्थानीय ग्रामीणो ने बताए की इस विद्यालय का निर्माण सभी ग्रामीण के सहयोग से 1951 मे निर्माण किया गया और 1952 मे राज्य सरकार द्वारा इसे स्वीकृत दी गई । उसके बाद से सरकार द्वारा कोई पहल नही किया गया । इस विद्यालय के भवन मे किसी प्रकार की गरबरी होती थी तो सभी ग्रामीणो के सहयोग से इसे मरम्मत करवाया जाता था और विद्यालय का संचालन किया जाता था वर्तमान समय मे यह विद्यालय +2 किया गया है । +2 कमला उच्च विद्यालय पोखराम के प्रधानाचार्य रमण कुमार झा ने जानकारी देते हुए कहा की विद्यालय मे अभी कुल एक हजार बच्चो से अधिक नामांकित है विद्यालय मे भवन नही रहने के कारण विद्यार्थीयो को पठन-पाठन मे काफी कठिनाई होती है और माध्यमिक मे दो शिक्षक है शिक्षक कमी के कारण कक्षा नही चल पा रहे है विद्यालय मे उच्च विद्यालय का एक भी शिक्षक नही है । इस समस्या को लेकर कई बार विरौल के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को आवेदन किया है लेकिन उनके द्वारा कोई पहल नही किया गया । इस विद्यालय पर विरौल के प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर ने कहा की विद्यालय की स्थित काफी दयनीय है जिससे बच्चो को पठन-पाठन मे कठिनाई होती होगी इस विद्यालय की स्थित के संबंध मे कई बार उच्च अधिकारीओ को आवेदन दिया गया लेकिन अभी तक कोई पहल नही किया गया है ।Body:कमला उच्च विद्यालय पोखराम के प्रधानाचार्य का ब्यानConclusion:ब्यान प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी उमेश ठाकुर का
Last Updated : Jun 23, 2019, 6:38 PM IST
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