लखनऊ: केजीएमयू प्रशासन ने पिछले साल 6 नवंबर को कार्य परिषद की बैठक में ऑनलाइन भुगतान शुरू करने का फैसला किया था. प्रस्ताव के मुताबिक, क्यूआर कोड, कार्ड और यूपीआई के जरिए भुगतान की व्यवस्था लागू की जाएगी, लेकिन, फैसले के चार तीन महीने बाद भी काउंटरों पर व्यवस्था नहीं हो सकी है. आलम यह है कि अभी तक इसके लिए चुनी गई एजेंसी ने काम तक शुरू नहीं किया है. इससे मरीजों का इलाज भी अटकने लगा है.
डेंटल में इलाज करवा रहे पारा निवासी मोहन सिंह को डॉक्टर ने दांत उखड़वाने के बाद इंप्लांट लगवाने की सलाह दी. इसके लिए 6200 रूपये जमा करने थे. उनके पास नकद नहीं था. वह गुरुवार को काउंटर पर गए तो बताया गया कि ऑनलाइन भुगतान नहीं होगा, फिर वह एटीएम खोजते रहे. डेढ़ घंटे बाद कैश लेकर पहुंचे, तब तक काउंटर बंद हो चुका था. ऑनलाइन भुगतान न होने से मोहन की तरह रोजाना सैकड़ों मरीज परेशान हो रहे हैं.
इस बारें में केजीएमयू प्रवक्ता प्रो. केके सिंह ने बताया कि ऑनलाइन भुगतान की व्यवस्था के लिए एजेंसी का चयन हो चुका है. एजेंसी को ऐसा सिस्टम विकसित करने को कहा गया है, ताकि इसे हर विभाग में एक साथ लागू किया जा सके. एक महीने में यह व्यवस्था लागू हो जाएगी.
यह भी पढ़ें: डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक बोले- प्रदेश के सभी अस्पतालों को किया गया अपग्रेड, आधुनिक मशीनें भी लगाई गईं
यह भी पढ़ें: सेंटर में शुरुआती 24 घंटे में मुफ्त इलाज पाना अभी भी मुश्किल