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इजराइल ने नेतन्याहू, गैलेंट के खिलाफ ICJ के वारंट की वैधता से इनकार किया - ISRAEL INTERNATIONAL CRIMINAL COURT

इजराइल के प्रधानमंत्री नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री गैलेंट के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय द्वारा जारी वारंट का मुद्दा फिर से गरमा गया है.

warrants against Netanyahu Gallant
इजराइल के प्रधानमंत्री नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री गैलेंट(फाइल फोटो) (ANI)
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Nov 28, 2024, 7:17 AM IST

यरूशलम: इजराइल ने पीएम नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री योआव गैलेंट के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (आईसीसी) के द्वारा जारी गिरफ्तारी वारंट की वैधता से इनकार किया.

इजराइल के प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी एक पोस्ट में कहा, इजराइल हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (आईसीसी) के प्राधिकार तथा प्रधानमंत्री और पूर्व रक्षा मंत्री के विरुद्ध जारी किए गए गिरफ्तारी वारंट की वैधता से इनकार करता है.'

आगे कहा गया. 'प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने जेरूसलम में प्रधानमंत्री कार्यालय में अमेरिकी सीनेटर लिंडसे ग्राहम से मुलाकात की. सीनेटर ने उन्हें आईसीसी और इसके साथ सहयोग करने वाले देशों के खिलाफ अमेरिकी कांग्रेस में उनके द्वारा किए जा रहे प्रयासों के बारे में जानकारी दी.'

हाल ही में हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (ICC) ने इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री योआव गैलेंट के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया. इसमें उन पर 'मानवता के विरुद्ध अपराध और युद्ध अपराध' का आरोप लगाया गया है. इन आरोपों में नागरिकों को निशाना बनाने और गाजा में भुखमरी की नीतियों को लागू करने के आरोप शामिल हैं.

इजराइली प्रधानमंत्री द्वारा एक्स पर कई पोस्ट किए गए जिसमें यह भी उल्लेख किया गया कि कांग्रेस में प्रयासों के समानांतर इजरायल ने आईसीसी से गिरफ्तारी वारंट के कार्यान्वयन में देरी की मांग की. साथ ही न्यायालय में अपील करने का इरादा भी जताया.

इजराइली प्रधानमंत्री के आधिकारिक अकाउंट में यह भी कहा गया, 'इजरायल की अपील की सूचना से विस्तार से पता चलता है कि गिरफ्तारी वारंट जारी करने का निर्णय किस हद तक निराधार था और इसका कोई तथ्यात्मक या कानूनी आधार नहीं था.'

इसमें कहा गया है कि यदि आईसीसी अपील को खारिज कर दे, तो इससे अमेरिका और दुनिया भर में इजराइल के मित्रों को यह पता चल जाएगा कि आईसीसी इजरायल के प्रति कितना पक्षपाती है.

इससे पहले व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव करिन जीन-पियरे ने एक प्रेस ब्रीफिंग में आईसीसी के निर्णय पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा, 'हम वरिष्ठ इजरायली अधिकारियों के लिए गिरफ्तारी वारंट जारी करने के अदालत के फैसले को मौलिक रूप से अस्वीकार करते हैं.'

उन्होंने वारंट प्राप्त करने में अभियोजक की जल्दबाजी की आलोचना की तथा प्रक्रियागत त्रुटियों की ओर ध्यान दिलाया, जिसके कारण यह परिणाम सामने आया. जीन-पियरे ने फिर से पुष्टि की थी, 'हम मूलतः इस बात को अस्वीकार करते हैं कि आईसीसी को इस स्थिति पर अधिकार है और इसलिए यह ऐसी बात है जिसके बारे में हम बहुत स्पष्ट हैं तथा आगे भी रहेंगे.' यह बयान ऐसे समय में आया है जब आईसीसी द्वारा इजरायल के नेताओं पर लगाए गए आरोपों के बीच अमेरिका इजरायल के प्रति अपना समर्थन जारी रखे हुए है.

ये भी पढ़ें- इजराइल-हिजबुल्लाह युद्ध: किसने-कितनी चुकाई कीमत? जानें

यरूशलम: इजराइल ने पीएम नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री योआव गैलेंट के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (आईसीसी) के द्वारा जारी गिरफ्तारी वारंट की वैधता से इनकार किया.

इजराइल के प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जारी एक पोस्ट में कहा, इजराइल हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (आईसीसी) के प्राधिकार तथा प्रधानमंत्री और पूर्व रक्षा मंत्री के विरुद्ध जारी किए गए गिरफ्तारी वारंट की वैधता से इनकार करता है.'

आगे कहा गया. 'प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने जेरूसलम में प्रधानमंत्री कार्यालय में अमेरिकी सीनेटर लिंडसे ग्राहम से मुलाकात की. सीनेटर ने उन्हें आईसीसी और इसके साथ सहयोग करने वाले देशों के खिलाफ अमेरिकी कांग्रेस में उनके द्वारा किए जा रहे प्रयासों के बारे में जानकारी दी.'

हाल ही में हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय (ICC) ने इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू और पूर्व रक्षा मंत्री योआव गैलेंट के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया. इसमें उन पर 'मानवता के विरुद्ध अपराध और युद्ध अपराध' का आरोप लगाया गया है. इन आरोपों में नागरिकों को निशाना बनाने और गाजा में भुखमरी की नीतियों को लागू करने के आरोप शामिल हैं.

इजराइली प्रधानमंत्री द्वारा एक्स पर कई पोस्ट किए गए जिसमें यह भी उल्लेख किया गया कि कांग्रेस में प्रयासों के समानांतर इजरायल ने आईसीसी से गिरफ्तारी वारंट के कार्यान्वयन में देरी की मांग की. साथ ही न्यायालय में अपील करने का इरादा भी जताया.

इजराइली प्रधानमंत्री के आधिकारिक अकाउंट में यह भी कहा गया, 'इजरायल की अपील की सूचना से विस्तार से पता चलता है कि गिरफ्तारी वारंट जारी करने का निर्णय किस हद तक निराधार था और इसका कोई तथ्यात्मक या कानूनी आधार नहीं था.'

इसमें कहा गया है कि यदि आईसीसी अपील को खारिज कर दे, तो इससे अमेरिका और दुनिया भर में इजराइल के मित्रों को यह पता चल जाएगा कि आईसीसी इजरायल के प्रति कितना पक्षपाती है.

इससे पहले व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव करिन जीन-पियरे ने एक प्रेस ब्रीफिंग में आईसीसी के निर्णय पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा, 'हम वरिष्ठ इजरायली अधिकारियों के लिए गिरफ्तारी वारंट जारी करने के अदालत के फैसले को मौलिक रूप से अस्वीकार करते हैं.'

उन्होंने वारंट प्राप्त करने में अभियोजक की जल्दबाजी की आलोचना की तथा प्रक्रियागत त्रुटियों की ओर ध्यान दिलाया, जिसके कारण यह परिणाम सामने आया. जीन-पियरे ने फिर से पुष्टि की थी, 'हम मूलतः इस बात को अस्वीकार करते हैं कि आईसीसी को इस स्थिति पर अधिकार है और इसलिए यह ऐसी बात है जिसके बारे में हम बहुत स्पष्ट हैं तथा आगे भी रहेंगे.' यह बयान ऐसे समय में आया है जब आईसीसी द्वारा इजरायल के नेताओं पर लगाए गए आरोपों के बीच अमेरिका इजरायल के प्रति अपना समर्थन जारी रखे हुए है.

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