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Sonia Gandhi to take call on 'one man, one post' rule in Congress

Sonia Gandhi, who has returned to the position of Congress' interim president after she stepped down from the top post in December 2017, is likely to introduce 'one man, one post' rule in the party. The rule is aimed at decentralising power from those senior leaders who hold multiple posts in the party thereby making sure that more opportunities are given to each and every member of the party.

Sonia Gandhi to take call on 'one man, one post' rule in Congress
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Published : Aug 20, 2019, 7:54 PM IST

New Delhi: Days after being appointed as the interim president of the Congress party, Sonia Gandhi has hinted at introducing 'one man, one post' rule, thereby making sure that more opportunities are given to each and every member of the party.

The rule is aimed at decentralising power from those senior leaders who hold multiple posts in the party.

Sonia Gandhi to take call on 'one man, one post' rule in Congress
Gandhi is set to take a decision in this regard in a few days.

Several senior leaders like Rajya Sabha member Ghulam Nabi Azad, Kisan Congress chief Nana Patole, Schedule Caste department Chairman Nitin Raut, Rajasthan Deputy Chief Minister Sachin Pilot and others will have to give up one or two posts they are now holding

Azad is Leader of Opposition in the Rajya Sabha, is also a General Secretary and is also in charge of Haryana affairs.

Rajasthan Deputy Chief Minister Pilot was also the Rajasthan party chief. Kamal Nath is the Chief Minister of Madhya Pradesh as well as the state unit chief.

Patole, the Chairperson of the Kisan Congress, is also part of the Maharastra campaign Committee.

Raut, who is the Chairman of the Schedule Caste department, is also in charge of the Maharastra Congress while Uma Singar, a cabinet minister in the Madhya Pradesh government, also holds the post of deputy in-charge of the state.

Also read: INX media case: Chidambaram asked to mention his appeal against Delhi HC tomorrow

Sonia Gandhi has returned to the top post almost 19 months after she stepped down as party chief in December 2017. She vacated the post for her son Rahul Gandhi, who quit the post taking responsibility for the party's disappointing performance in the 17th Lok Sabha polls.

New Delhi: Days after being appointed as the interim president of the Congress party, Sonia Gandhi has hinted at introducing 'one man, one post' rule, thereby making sure that more opportunities are given to each and every member of the party.

The rule is aimed at decentralising power from those senior leaders who hold multiple posts in the party.

Sonia Gandhi to take call on 'one man, one post' rule in Congress
Gandhi is set to take a decision in this regard in a few days.

Several senior leaders like Rajya Sabha member Ghulam Nabi Azad, Kisan Congress chief Nana Patole, Schedule Caste department Chairman Nitin Raut, Rajasthan Deputy Chief Minister Sachin Pilot and others will have to give up one or two posts they are now holding

Azad is Leader of Opposition in the Rajya Sabha, is also a General Secretary and is also in charge of Haryana affairs.

Rajasthan Deputy Chief Minister Pilot was also the Rajasthan party chief. Kamal Nath is the Chief Minister of Madhya Pradesh as well as the state unit chief.

Patole, the Chairperson of the Kisan Congress, is also part of the Maharastra campaign Committee.

Raut, who is the Chairman of the Schedule Caste department, is also in charge of the Maharastra Congress while Uma Singar, a cabinet minister in the Madhya Pradesh government, also holds the post of deputy in-charge of the state.

Also read: INX media case: Chidambaram asked to mention his appeal against Delhi HC tomorrow

Sonia Gandhi has returned to the top post almost 19 months after she stepped down as party chief in December 2017. She vacated the post for her son Rahul Gandhi, who quit the post taking responsibility for the party's disappointing performance in the 17th Lok Sabha polls.

Intro:कांग्रेस पार्टी की अब तक की सबसे बड़ी हार कि जिम्मेदारी पार्टी के प्रभावशाली नेता ले कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी यही चाहते थे! खुद पहल करते हुए राहुल ने हार के तुरंत बाद इसी लिए इस्तीफा दे दिया था. पार्टी नेताओं के भारी दबाव के बाद भी राहुल अपना इस्तीफा वापस लेने को तैयार नहीं हुए जब सोनिया गांधी अध्यक्ष बनी तो एक व्यक्ति एक पद का फार्मूला पार्टी नेताओं तक पहुंचाया गया ताकि जिम्मेदारियों का बंटवारा हो सके .जिन लोगों के ऊपर काम का ज्यादा दबाव है अपना एक पद छोड़ दें.

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपनी तरफ से कांग्रेस अध्यक्ष के इस निर्देश का पालन तो हफ्ते भर के अंदर कर दिया. ईटीवी के साथ खास बातचीत में भूपेश बघेल ने
सोमवार को खुद इस बात को स्वीकार किया था. बकरी ने दो दिन पहले ही अध्यक्ष पद छोड़ा था. लेकिन बाकी छह कद्दावर नेता अब भी दो या दो से अधिक पद पर कुंडली मारकर बैठे हैं .मानो कांग्रेस अध्यक्ष के निर्देश का इंतजार कर रहे हो .
मुख्यमंत्री बघेल ने मोहन मार्कन को छत्तीसगढ़ प्रदेश का अध्यक्ष चुने जाने की घोषणा कर दी लेकिन बघेल की राह पर कांग्रेस के वह कद्दावर नेता चलने को मानो तैयार नहीं.



Body:पार्टी सूत्रों के मुताबिक सोनिया गांधी के अंतरिम अध्यक्ष का पदभार संभालते ही इस साफ कर दिया था एक व्यक्ति एक पद का फार्मूला अप पार्टी के अंदर लागू होगा. सोनिया गांधी पार्टी में अब एक व्यक्ति एक पद पर होने को अमल में लाना चाहती है .वैसे खुद सोनिया गांधी अंतरिम अध्यक्ष बनने के बाद संसदीय दल के नेता के रूप में कांग्रेस पार्टी के नेता हैं .इस तरह से उनके पास भी दो पद है पार्टी सूत्रों के मुताबिक वह संगठन के मुखिया हैं और संसदीय दल के नेता के तौर पर संसद में पार्टी की मुखिया ऐसे मिली इसी एक व्यक्ति एक पद के दायरे में नहीं लाया जा सकता .क्योंकि वह पार्टी में बतौर मुखिया काम कर रही हैं कांग्रेस पार्टी की हार के बाद पार्टी के अंदर इस बात को लेकर चर्चा जोर हो गई कि कुछ व्यक्ति 22 पद पर काबिज हैं और उन्होंने संगठन को मजबूत करने के लिए अपनी पूरी ऊर्जा नहीं लगाई क्योंकि उनके पास काम का ज्यादा दबाव था कांग्रेस पार्टी के जिन कद्दावर नेताओं के पास एक से ज्यादा पद हैं उसमें गुलाम नबी
आजाद सबसे ऊपर हैं
आजाद राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष हैं .पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव हैं और हरियाणा के प्रभारी भी हैं. वही राजस्थान के उपमुख्यमंत्री के रूप में सचिन पायलट प्रदेश के पार्टी के अध्यक्ष की कुर्सी पर भी काबिज हैं .पार्टी में किसान मजदूर कांग्रेस की चेयरमैन नाना पटोले हैं. महाराष्ट्र में कैंपेन कमिटी के भी अध्यक्ष हैं. चौथे नंबर पर नितिन राऊत हो आते हैं. जो कांग्रेस पार्टी में अनुसूचित जाति सेल के साथ कांग्रेस के महाराष्ट्र इकाई के कार्यकारी अध्यक्ष हैं. इसके अलावा उमंग सिंगार कैबिनेट मंत्री है मध्य प्रदेश सरकार में और पार्टी के प्रभारी सचिव भी हैं .इन सब में एक बड़ा नाम मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री का भी है. कमलनाथ राज्य की मुख्यमंत्री के साथ साथ राज्य में पार्टी के अध्यक्ष पद पर भी काबिज हैं. सोनिया गांधी के अंतरिम अध्यक्ष बनने के बाद उनके ऊपर हाल ही में होने वाली झारखंड, हरियाणा और महाराष्ट्र में चुनाव को लेकर संगठन को मजबूत करने की बड़ी जिम्मेदारी है .राहुल गांधी ने लोकसभा चुनाव में पार्टी की हार के बाद जिम्मेदारी तो ली लेकिन उनके अलावा किसी भी नेता ने हार की जिम्मेदारी नहीं ली अब कांग्रेस के अंतरिम अध्यक्ष की नाराजगी इस बात को लेकर के है की पार्टी के नेता हार की जिम्मेदारी भी नहीं लेते और 1 से ज्यादा पद पर काबिज हैं .वह छोड़ने को तैयार नहीं ताकि जिम्मेदारी दूसरों को दी जा सके.


Conclusion:
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