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गांव में सड़क नहीं, प्रसव के दौरान कई किमी पैदल चलने को मजबूर महिलाएं

उत्तरकाशी के नौगांव विकासखंड के थली गांव में एक 45 वर्षीय महिला गंभीर बीमार हो गई. उसे गांव के युवाओं ने डंडी बनाकर चार किमी पैदल चलकर सड़क तक पहुंचाया. एक दूसरी महिला प्रसव के दौरान छह किमी पैदल चलकर सड़क तक पहुंचने को मजबूर थी.

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प्रसव के दौरान कई किमी पैदल चलने को मजबूर महिला

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Published : Jul 24, 2020, 8:03 AM IST

उत्तरकाशी:प्रदेश की डबल इंजन सरकार के अच्छे दिन और पहाड़ के दूरस्थ गांव तक विकास पहुंचाने के दावे कदम-कदम पर हवाई साबित हो रहे हैं. ईटीवी भारत को मिली नौगांव विकासखंड के दो गांव की तस्वीरें इसकी हकीकत बयां कर रही हैं. एक तरफ कंडाऊ गांव में जहां गर्भवती महिला प्रसव पीड़ा के दौरान भी छह किमी पैदल चलकर सड़क तक पहुंचने को मजबूर हुई, तो वहीं दूसरी ओर नौगांव विकासखंड के थली गांव में एक बीमार महिला को डंडी-कंडी के सहारे अस्पताल पहुंचाया गया.

पैदल ही बीमार महिला को सड़क तक पहुंचाते ग्रामीण.

पहाड़ के विकास की नौगांव विकासखंड की ये दो तस्वीरें सरकार के सभी वादों और हवाई कामों की सच्चाई को उजागर करती हैं. नौगांव विकासखंड के थली गांव में एक 45 वर्षीय महिला गंभीर बीमार हो गई. उसे गांव के युवाओं ने डंडी-कंडी बनाकर पहले 4 किमी सड़क तक पहुंचाया और उसके बाद वाहन से अस्पताल भेजा.

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वहीं, दूसरी ओर कंडाऊ गांव की सीमा सेमवाल ने बताया कि बुधवार को उनके गांव की एक महिला को प्रसव पीड़ा होने पर उसके परिजनों को सड़क न होने के कारण छह किमी पैदल ही पिसवा गांव तक पहुंचाना पड़ा. जहां से 15 किमी दूर अस्पताल पहुंचने के बाद गर्भवती को देहरादून रेफर किया गया. हालांकि जच्चा-बच्चा दोनों ही स्वस्थ बताए जा रहे हैं.

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