काशीपुरः देश के चुनाव में भ्रष्टाचार नियंत्रण तथा पारदर्शिता के कितने ही दावे किये जाएं लेकिन खुद लोकसभा सांसद व मंत्री भी इसके लिये बनाये कानूनों का पालन नहीं कर रहे हैं. आरटीआई के तहत मिली जानकारी में इस बात का खुलासा हुआ कि लोकसभा के केवल 36 सांसदों ने ही निर्धारित समय सीमा के अन्दर अपना व अपने आश्रितों की सम्पत्ति दायित्व विवरण लोकसभा सचिवालय में दिया है, जबकि 503 सांसदों ने 10 दिसम्बर 2019 तक अपना सम्पत्ति-दायित्व विवरण नहीं दिया है. यह खुलासा सूचना अधिकार के अन्तर्गत लोकसभा सचिवालय द्वारा सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन को उपलब्ध करायी गयी सूचना से हुआ है.
काशीपुर निवासी व सूचना अधिकार कार्यकर्ता नदीम उद्दीन ने लोकसभा सचिवालय के लोक सूचना अधिकारी से लोकसभा सदस्य (सम्पत्ति तथा दायित्वों की घोषणा) नियम 2014 के अन्तर्गत सम्पत्ति तथा दायित्वों की घोषणा करने व न करने वाले लोकसभा सदस्यों की सूचना मांगी गयी थी. इसके उत्तर में लोकसभा सचिवालय के लोक सूचना अधिकारी द्वारा 10 दिसम्बर 2019 तक 17वीं लोकसभा के सम्पत्ति व दायित्वों की घोषणा करने व न करने वाले सदस्यों की सूचना उपलब्ध करायी गयी है.
एडवोकेट नदीम को उपलब्ध करायी गयी सूचना के अनुसार लोकसभा के केवल 36 सदस्यों ने 10 दिसम्बर 2019 तक अपने सम्पत्ति-दायित्वों की घोषणा की है. इसमें 25 सांसद भाजपा, आठ टीएमसी तथा एक-एक सांसद बीजेडी, शिवसेना तथा एआईडीएमके के शामिल हैं.
नदीम को उपलब्ध सूची के अनुसार सम्पत्ति विवरण देने वाले सांसदों में भाजपा के सुरेश अंगदि, रतन लाल कटारिया, प्रहलाथ जोशी, डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक, पीएम नरेन्द्र मोदी, स्मृति जुबिन ईरानी, विष्णु दयाल राम, गजेन्द्र सिंह शेखावत, रविशंकर प्रसाद, नरेन्द्र सिंह तोमर, राजू बिस्ता, साध्वी निरंजन ज्योति, कैलाश चौधरी, देवाश्री चौधरी, संजय श्यामराव धोत्रे, डा. सतपाल सिंह, अनुराग शर्मा, प्रहलाद सिंह पटेल, महेश शर्मा, निशिकांत दुबे, साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर, राजा अमरेसवर नायक, हसंराज हंस तथा माला राज्य लक्ष्मीशाह शामिल हैं.
टीएमसी के सांसदों में सजदा अहमद, खलीलुर्रहमान, दीपक अधिकारी, माला राय, असित कुमार मल, सुदीप बंधोपाध्याय, अबु ताहिर खान तथा प्रसून बनर्जी शामिल हैं. इसके अतिरिक्त शिवसेना के गजानंद चन्द्रकांत कीर्तिकर, बीजेडी के अच्युतानंद सामनत तथा एआईडीएमके के पी. रविन्द्र नाथ कुमार शामिल हैं.