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पीपीपी मोड पर देने के बाद भी बौराड़ी अस्पताल की नहीं सुधरी 'बीमारी', परेशान हो रहे मरीज

बौराड़ी जिला अस्पताल को पीपीपी मोड पर देने के बाद भी व्यवस्थाओं में ज्यादा सुधार नहीं हो पाया है. होली का त्योहार खत्म होने के बाद अस्पताल के ओपीडी में मरीजों संख्या की लगातार बढ़ रही है. ओपीडी और डॉक्टरों के केबिन के बाहर लंबी लाइनें लग रही हैं. कई लोगों को इलाज नहीं मिल पाने के कारण जिले से बाहर दूसरे अस्पतालों की ओर जाना पड़ रहा है.

बौराड़ी अस्पताल

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Published : Mar 23, 2019, 6:30 PM IST

टिहरीःबौराड़ी जिला अस्पताल में इन दिनों मरीजों की तादाद लगातार बढ़ती जा रही है. होली के त्योहार के बाद से अस्पताल के ओपीड़ी में मरीजों की संख्या 325 पार हो गई है. इनमें सबसे ज्यादा मरीज बच्चे हैं. स्थानीय लोगों का कहना है कि पीपीपी मोड पर दिए जाने के बाद भी अस्पताल में व्यवस्था नहीं सुधर पाई है. जिससे मरीजों को प्राइवेट अस्पतालों की ओर रुख करना पड़ रहा है.

जानकारी देते स्थानीय लोग.


गौर हो कि बौराड़ी में स्थित जिला अस्पताल को पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) मोड के तहत हिमालयन अस्पताल जॉलीग्रांट संचालित कर रही है. पीपीपी मोड पर हस्तांतरित होने के बावजूद अस्पताल की व्यवस्थाओं में ज्यादा सुधार नहीं हो पाया है. होली का त्योहार खत्म होने के बाद अस्पताल के ओपीडी में मरीजों संख्या की लगातार बढ़ रही है. तीमारदार अपने मरीजों को लेकर अस्पताल पहुंच रहे हैं. ओपीडी और डॉक्टरों के केबिन के बाहर लंबी लाइनें लग रही हैं. कई लोगों को इलाज नहीं मिल पाने के कारण जिले से बाहर दूसरे अस्पतालों की ओर जाना पड़ रहा है.


स्थानीय निवासी राकेश राणा का कहना है कि पीपीपी मोड पर दिए जाने के बाद भी अस्पताल की व्यवस्थाएं जस की तस बनी हुई हैं. उन्हें उम्मीद थी कि पीपीपी मोड पर हस्तांतरित करने के बाद मरीजों को इलाज के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा. साथ ही सभी बीमारियों का इलाज आसानी से यहां पर हो सकेगा, लेकिन अस्पताल की हालात बदतर होती जा रही है. उन्होंने कहा कि अस्पताल की सुविधाओं पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए. जिससे मरीजों को उचित इलाज मिल सके.

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