रुद्रप्रयाग: भरदार क्षेत्र के तरवाड़ी गांव में चल रहे पांडव नृत्य का फल वितरण के साथ समापन हो गया. पांडवों ने अस्त्र-शस्त्रों के साथ नृत्य करने के बाद भगवान नारायण द्वारा फेंके गए फलों को भक्तों ने प्रसाद के रूप में ग्रहण किया. अंत में पांडवों व देव निशानों के अपने ससुराल स्वीली जाने का विदाई का पल सभी को भावुक कर गया. ग्रामीण बड़ी संख्या में देव निशानों को स्वीली गांव तक छोड़ने भी गए. अंतिम दिन दूर-दराज क्षेत्रों के साथ बड़ी संख्या में यहां भक्तजन पहुंचे हुए थे.
बीते 25 नंवबर से ग्राम पंचायत दरमोला के तरवाड़ी में शुरू हुए पांडव नृत्य का विधिवत समापन हो गया है. भगवान बद्रीविशाल एवं शंकरनाथ की विशेष पूजा अर्चना के बाद भोग लगाया गया. पुजारी ने पांडवों के अस्त्र-शस्त्रों की भी विशेष पूजा अर्चना की, पहले ढोल दमांऊ की थाप पर पांडवों के साथ ही स्थानीय लोगों ने भी खूब नृत्य किया.
बाद में बाण आने पर पांडवों ने ही अस्त्र-शस्त्रों के साथ नृत्य किया. पांडवों के नृत्य ने लोगों को खूब आनंदित भी किया. भगवान नारायण के पश्वा समेत सभी पांडवों ने अंत में भक्तों के बीच फल फेंके, जिसे भक्तों ने प्रसाद के रूप में ग्रहण किया.