पिथौरागढ़: कहते हैं हुनर और कामयाबी उम्र की मोहताज नहीं होती. पिथौरागढ़ जिले के सीमांत गांव ननकुड़ी (जौरासी) के रहने वाले 8 साल के क्रिकेटर सचिन ने इस मिसाल को सच कर दिखाया है. सचिन ने बिना किसी एकेडमिक ट्रेनिंग के क्रिकेट के क्षेत्र में खासी लोकप्रियता हांसिल कर ली है. सचिन अपनी नेट प्रेक्टिस और क्रिकेट ट्रेनिंग के वीडियो बनाकर यू-ट्यूब पर अपलोड करते करते रहते हैं.
भारत के साथ-साथ अमेरिका, पाकिस्तान, बांग्लादेश, नेपाल और अन्य देशों में भी उनके वीडियोज को काफी पसंद किया जाता है. सचिन की लोकप्रियता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि एक साल के भीतर यूट्यूब पर उनके एक लाख सब्सक्राइबर हो गए हैं. जिसे देखते हुए यू-ट्यूब ने उन्हें सिल्वर बटन से नवाजा है.
दरअसल, 8 साल के सचिन को एक बेहतरीन क्रिकेटर बनाने का श्रेय उनके पिता गोविंद सिंह बोरा (37 वर्ष) को जाता है. गोविंद हर खेल में माहिर होने के साथ ही एक फिजिकल ट्रेनर भी हैं. हालांकि उन्होंने कभी भी बड़े लेवल पर क्रिकेट नहीं खेला मगर उन्हें क्रिकेट की काफी जानकारी है. गोविंद अपने गांव में ही नेट लगाकर सचिन को क्रिकेट की ट्रेनिंग दे रहे हैं. उन्हीं की कड़ी ट्रेनिंग और लगन का नतीजा है कि आज सचिन अंडर-14 के सभी तेज गेंदबाजों की बॉल आसानी से खेल लेते हैं.