पिथौरागढ़: बीएसएनएल की खस्ताहाली के चलते सूबे के सीमांत इलाकों में संचार व्यवस्था पूरी तरह पटरी से उतर गई है. कर्मचारियों की छंटनी और एक्सचेंज बंद होने के कारण वे इलाके सबसे अधिक प्रभावित हो गए हैं, जहां संचार का मतलब सिर्फ बीएसएनएल था. पिथौरागढ़, अल्मोड़ा, चम्पावत और बागेश्वर में सरकारी संचार सेवा का जिम्मा संभाल रहा बीएसएनएल सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है .
इन चारों जिलों में अब तक 12 अधिकारियों के साथ ही 41 कर्मचारियों ने नए नियमों के तहत वीआरएस (स्वैच्छिक सेवा निवृत्ति योजना) ले लिया है. बड़ी संख्या में कर्मचारियों के हटने से बीएसएनएल की मोबाइल, फोन और इंटरनेट सेवा बुरी तरह चौपट हो गई है. हालात इस कदर खराब हैं कि ठेके पर काम कर रहे कर्मचारियों को भी साल भर से भुगतान नहीं हुआ है, जिस कारण सभी ठेका कर्मचारी काम छोड़ चुके हैं.