ऋषिकेश: अंकिता भंडारी के हत्यारों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने के लिए एसआईटी कोई कसर नहीं छोड़ रही है. एसआईटी हर पहलू की बड़ी बारीकी से जांच कर रही है. एसआईटी हर वो सबूत एकत्र करने में जुटी हुई, जो अंकिता भंडारी को इंसाफ दिलाने में मदद कर सकता है. इसी के तहत एसआईटी शनिवार दोपहर को साइबर एक्सपर्ट टीम के साथ घटनास्थल चीला नहर पर पहुंची. वारदात के वक्त एक्टिव मोबाइल आईडी को स्कैन करने की कोशिश की. इस दौरान ईटीवी भारत की टीम भी वहां मौजूद रही.
साइबर एक्सपर्ट की मदद से एसआईटी ये पता लगाने की कोशिश कर रही है कि जिस वक्त अंकिता भंडारी की हत्या की गई, क्या घटनास्थल पर चार ही लोग थे. या फिर कोई अन्य शख्स वारदात स्थल के आसपास दिख रहा था. इसके लिए साइबर एक्सपर्ट की टीम ने सेल टावर आईडी स्कैनर का इस्तेमाल किया.
अंकिता हत्याकांड में SIT ने रीक्रिएट किया क्राइम सीन पढ़ें- Ankita Bhandari Murder: CM पुष्कर सिंह धामी के पहुंचने से पहले परिजनों को दिखाई गई पोस्टमार्टम रिपोर्ट इसके अलावा साइबर एक्सपर्ट की टीम घटनास्थल पर वारदात के दिन एक्टिव मोबाइल की जानकारियां ट्रेस करती दिखी. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक ये भी सामने आया है कि शुक्रवार को एसआईटी ने तीनों आरोपियों को रिमार्ड पर लिया था और उसके बाद शुक्रवार देर रात को एसआईटी तीनों आरोपियों लेकर वारदात स्थल पर भी गई थी. वहां एसआईटी ने क्राइम सीन भी रीक्रिएट कर पूरी मामले की बारीकी से तस्दीक की थी. हालांकि इस बारे में एसआईटी के किसी अधिकारी ने पुख्ता जानकारी नहीं दी.
क्या है मामला: बता दें कि 19 साल की अंकिता भंडारी पौड़ी जिले के यमकेश्वर ब्लॉक में स्थित ऋषिकेश के पास वनंत्रा रिसॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट थी. आरोप है कि वनंत्रा रिसॉर्ट का मालिक पुलकित आर्य अंकिता भंडारी पर गलत काम करने का दबाव बना रहा था, जिसके लिए अंकिता भंडारी ने साफ मना कर दिया था. पुलकित आर्य को डर था कि अंकिता भंडारी उनके राज का पर्दाफाश कर देगी. इसको लेकर 18 सितंबर की देर रात को ही अंकिता भंडारी और पुलकित आर्य के बीच बहस भी हुई थी.
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आरोप है कि बहस के बाद पुलकित आर्य ने अपने रिजॉर्ट के दो मैनेजरों सौरभ भास्कर और अंकित गुप्ता से साथ मिलकर अंकिता भंडारी को चीला नहर में धक्का देकर मार दिया था. इसके बाद वो लगातार सभी को गुमराह कर रहे थे. हालांकि उनका ये झूठ ज्यादा दिन नहीं चल पाया है. पुलिस ने 23 सितंबर को तीनों को गिरफ्तार किया तो उन्होंने अपना जुर्म कबूल किया और पुलिस को बताया कि उन्होंने अंकिता की हत्या कर दी थी. 24 सितंबर को पुलिस ने चीला नगर से अंकिता का शव बरामद किया था. तब इस मामले में रोज नए-नए खुलासे हो रहे हैं.