कोटद्वार: दुगड्डा के सामाजिक कार्यकर्ता गिरीश चंद गौड़ ने जिलाधिकारी को पत्र भेजकर दुगड्डा नगर पालिका में हो रहे निर्माण कार्यों में भ्रष्टाचार व वित्तीय अनियमितताओं की शिकायत की थी. शिकायत के बावजूद भी अब तक इस मामले पर कोई कार्रवाई नहीं हुई थी. शिकायतकर्ता ने एक बार फिर से जिलाधिकारी से नगर पालिका हुई वित्तीय अनियमिताओं की जांच की मांग की है. जिस पर जिलाधिकारी ने तत्काल प्रभाव से उप जिलाधिकारी कोटद्वार को कमेटी गठित कर जांच के निर्देश दिये हैं.
गड्डा निवासी सामाजिक कार्यकर्ता गिरीश चंद गौड़ ने नगर पालिका दुगड्डा में जनप्रतिनिधियों व ठेकेदारों की मिलीभगत से हो रहे बिना स्वामित्व के निर्माण कार्य, टेंडर के बावजूद 2 से 3 गुना अधिक भुगतान कर भ्रष्टाचार व वित्तीय अनियमिताओं की शिकायत की थी. शिकायतकर्ता गिरीश चंद गौड़ ने कहा मामला एक साल पुराना है, 2 दिसंबर 2020 को दोबारा से इस मामले की शिकायत की गई. जिसमें दुगड्डा नगरपालिका में वित्तीय अनियमितताओं व सरकारी धन का दुरुपयोग के आरोप लगाये गये.
इसकी शिकायत मुख्यमंत्री, सचिव शहरी विकास अनुभाग व कमिश्नर गढ़वाल से की थी, सिर्फ गढ़वाल कमिश्नर ने डीएम पौड़ी को जांच के आदेश दिए थे. जिस पर डीएम पौड़ी ने 13 जनवरी 2021 को एसडीएम कोटद्वार को जांच के लिए निर्देश दिए. जब फिर भी जांच नहीं हुई तो 18 जून को जिलाधिकारी को ईमेल भेजकर मामले को संज्ञान में लाया गया. इसके बाद एसडीएम कोटद्वार ने 19 जून को समिति का गठन कर नायब तहसीलदार को समिति का प्रमुख बनाया. 17 अगस्त तक भी एसडीएम कोटद्वार के द्वारा नगर पालिका दुगड्डा में हो रही वित्तीय अनिमितताओं की जांच नहीं की गई.