पौड़ी: जनपद के पाबौ ब्लॉक के ओरागाढ़ गांव के पंकज पोखरियाल काफी दिनों से लापता चल रहे थे. उनकी गुमशुदगी की रिपोर्ट यूनिट की ओर से दर्ज करवाई गई थी. पुलिस ने पंकज को चपलघाट के जंगलों से ढूंढ निकाला. कमांडो के घरवालों से पूछताछ में कुछ भी पता नहीं चल सका है.
ये है पूरा मामला
बता दें कि एनएसजी कमांडो पंकज पोखरियाल मानसिक रूप से परेशान थे. इस बीच अचानक वो गायब हो गए थे. उनके लापता होने की खबर उत्तराखंड भी पहुंची. उनके गृह जनपद पौड़ी की पुलिस ने उन्हें जंगल से ढूंढ निकाला. पुलिस ने पंकज पोखरियाल को उपचार के लिए उनकी बटालियन भेज दिया है. पंकज साल 2013 में गढ़वाल राइफल में भर्ती हुए थे. 2018 में उन्हें कमांडो के रूप में चुना गया था.
साइबर ठगी से परेशान एनएसजी कमांडो जंगल में मिला. यह भी पढ़ें:'चिपको आंदोलन' के प्रणेता पद्मश्री चंडी प्रसाद भट्ट ने किया पौधरोपण, पर्यावरण दिवस पर कही ये बड़ी बात
इसलिए लापता हुए पंकज पोखरियाल
वहीं सीओ पौड़ी वंदना वर्मा ने बताया कि पंकज पोखरियाल की उम्र 29 वर्ष है. वह अपनी बटालियन से 8 मई के बाद से बिना किसी सूचना के गायब चल रहे थे. घर वालों से बात करने के बाद भी उनकी कोई जानकारी नहीं मिल सकी. वहीं उसकी बटालियन से आई रिपोर्ट के अनुसार कुछ समय पहले उनके साथ साइबर ठगी का मामला हुआ था. इससे वह मानसिक रूप से परेशान चल रहे थे.
महिलाओं की पड़ी नजर
विकासखंड पाबौ के ओडागांव की महिलाएं पास के जंगल में घास काटने गई थीं. इस दौरान उन्होंने देखा कि जंगल में कोई शख्स है. जब महिलाएं नजदीक गईं तो देखा कि वो शख्स उनके गांव का ही रहने वाला है. तुरंत इसकी सूचना पुलिस को दी गई. मौके पर पहुंची पुलिस ने कमांडो को अपने कब्जे में लिया और उनके घर ले गई.
दरअसल साइबर ठगी का शिकार होने के बाद पंकज मानसिक रूप से परेशान थे. इसी परेशानी में वो अपनी बटालियन को छोड़कर गांव की तरफ आ गये थे. 30 मई को पंकज अपने गांव के पास चिपलघाट के जंगलों में दिखाई दिये. इसकी सूचना पुलिस और परिवार को मिली. पंकज मानसिक रूप से परेशान होने के चलते किसी सवाल का जवाब नहीं दे पाये.