पुल सोशल मीडिया पर बना चर्चा का विषय पौड़ी: इन दिनों आठवें अजूबे के रूप में सोशल मीडिया पर एक गार्डर पुल खूब वायरल हो रहा है. लोगों द्वारा इसके डिजाइन पर जमकर मजाक बनाया जा रहा है. आठवें अजूबे की संज्ञा पाने वाला यह पुल कहीं और नहीं बल्कि मंडल मुख्यालय पौड़ी का है. यह पुल पौड़ी के बहुचर्चित निर्माणाधीन बस अड्डे को माल रोड से जोड़ रहा है.
पौड़ी बस अड्डे के इसी पुल की चर्चा है पौड़ा का रिस्की गार्डर पुल: 7 जिलों का मुख्यालय पौड़ी इन दिनों सोशल मीडिया पर हंसी का पात्र बना हुआ है. दरअसल पौड़ी का यह बस अड्डा साल 2009 से निर्माणाधीन है. करीब 12 साल बीत जाने के बाद भी पुल आज तक पूरा नहीं हो सका है. अब शहर के इसी निर्माणाधीन बस स्टेशन पर लोक निर्माण विभाग की ओर से लोहे का गार्डर पुल तैयार किया गया है, जो कि बस स्टेशन की ऊपरी मंजिल को माल रोड से जोड़ने का काम करेगा. पुल का वजन 48 टन और एक सिरे से दूसरे किनारे तक इसी दूरी करीब 18 मीटर है.
इस पुल को जिस बेस पर रखा गया है उसे कमजोर बताया जा रहा है लोगों ने पुल की इंजीनियरिंग पर उठाए सवाल:ऐसा भी नहीं है इस पुल के डिजायन से लोगों को परेशानी है, बल्कि इस पुल को जिस तरह से कंक्रीट के पिलरों पर रखने के बजाय उससे काफी दूरी पर स्थापित किया गया है, उसे लोगों ने इंजीनियरिंग का आठवां अजूबा कहा है. शहरवासी जगत किशोर बड़थ्वाल ने तो इस पुल को लेकर लोक निर्माण विभाग के अभियंताओं की डिग्री पर ही प्रश्नचिन्ह खड़े कर दिए हैं. उन्होंने कहा कि इस पुल को जिस तरह से किसी पिलर के बजाय छत पर स्थापित किया गया है, वह भविष्य में दुर्घटना को न्योता दे सकता है. ऐसे में इतने भारी भरकम गार्डर पुल को पूरी प्लानिंग के साथ लगाया जाना चाहिए था.
लोग इस पुल से हादसे का खतरा बता रहे हैं. क्या कहते हैं अफसर?उधर लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता डीसी नौटियाल का कहना है कि पुल की डिजाइन और स्थापित करने में कोई खामी नहीं है. इस पुल को आईआईटी बाॅम्बे द्वारा डिजाइन किया गया है. नौटियाल ने कहा कि पुल से किसी भी आशंका की गुंजाइश नहीं है. उन्होंने बताया कि पुल समेत पूरे बस स्टेशन को तैयार करने के लिए करीब 3 करोड़ 68 लाख रुपए का बजट स्वीकृत है. जल्द ही गार्डर पुल को तैयार कर वाहनों की आवाजाही सुचारू की जाएगी.
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