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देश की आठवीं फल मक्खी की खोज, गढ़वाल विवि के वैज्ञानिकों ने ढूंढी नई प्रजाति

हेमवंती नन्दन बहुगुणा गढ़वाल विवि के जंतु विज्ञान के वैज्ञानिक आरएस फर्त्याल और उनके शोधार्थी डॉ. प्रदीप चंद ने अनोखी फल मक्खी की खोज की है. इस नई प्रजाति की मक्खी को देखने के लिए माइक्रोस्कोप की आवश्यकता पड़ती है.

srinagar
नई प्रजाति की फल मक्खी

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Published : Jun 11, 2020, 12:03 PM IST

Updated : Jun 11, 2020, 12:43 PM IST

श्रीनगर: उत्तराखंड विश्व भर में अपनी जैव विविधताओं के लिए जाना जाता है. प्रदेश में कई ऐसे जीव-जंतु हैं, जिनकी खोज होना अभी भी बाकी है. समय समय पर वैज्ञानिकों द्वारा कई तरह के जीव जंतु की खोज की जाती रही है. इसी क्रम में हेमवंती नन्दन बहुगुणा गढ़वाल विश्वविद्यालय के जंतु विज्ञान के वैज्ञानिक आरएस फर्त्याल और उनके शोधार्थी डॉ. प्रदीप चंद ने अनोखी फल मक्खी की खोज की है. इस नई प्रजाति की मक्खी को देखने के लिए माइक्रोस्कोप की आवश्यकता पड़ती है.

गढ़वाल विवि के वैज्ञानिकों ने ढूंढी नई प्रजाति.

चमोली जिले के नारायणबगड़ के समीप सिमली गांव में शोध के दौरान झाड़ियों की पत्तियों में ये नई प्रजाति की फल मक्खी मिली है. ये देश की आठवीं नई फल मक्खी की प्रजाति है. जंतु वैज्ञानिकों ने जापान के होक्कायडो यूनिवर्सिटी के प्रसिद्ध जंतु वैज्ञानिक प्रोफेसर एच वाटेवी के नाम पर इस नई प्रजाति की फल मक्खी को फोर्टिका वोटेवि नाम दिया है.

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प्रोफेसर आरएस फर्त्याल ने बताया कि अभी तक देश में फल मक्खियों की सात प्रजातियों को ही खोजा जा सका है. इस खोज से अन्य फल मक्खियों के मिलने की प्रदेश में संभावनाएं बढ़ गई है. फर्त्याल ने बताया कि क्रोमोसोम जेनेटिक्स के शोध में भी फल मक्खियों की सरंचना का उपयोग वैज्ञानिकों द्वारा किया जाता है. इससे फल और फूलों पर लगने वाली मक्खियों के बीच के अंतर पर होने वाले शोध कार्यों में भी दिशा मिलती है.

Last Updated : Jun 11, 2020, 12:43 PM IST

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