श्रीनगर:पौड़ी जनपद में इन दिनों खिर्सू में युवाओं को बर्ड वॉचिंग का प्रशिक्षण दिया जा रहा है. यहां युवा पक्षियों के संसार को देखकर उसे जान ने की कोशिशों में लगे हैं. इसके साथ ही वे क्षेत्र की जैव विविधता, पर्यावरण संरक्षण और उसके संवर्द्धन को लेकर भी जानकारी जुटा रहे हैं. बर्ड वाचिंग के गुर सीख रहे ये युवा भविष्य को एक बर्ड वॉचर, गाइड और ट्रेनर के रूप में देख रहे हैं. 6 दिनों की फील्ड विजिट कर जनपद के युवा हर पक्षी की जानकारी बर्ड वॉच ट्रेनरों से हासिल कर रहे हैं.
बर्ड वाचिंग का प्रशिक्षण दे रहे एक्सपर्ट्स शिखर कौशिक का कहना है प्रदेश में ही करीब 700 से अधिक चिड़ियाओं की प्रजाति हैं. जिनमें से 600 चिड़िया तो अकेले पौड़ी जनपद में ही पाई जाती हैं. बर्ड वॉच ट्रेनर ने बताया कि पहाड़ी क्षेत्रों का रुख करने वाले पर्यटक परिंदों की दुनिया से भी वाकिफ होना चाहते हैं. ऐसे में यहां बर्ड वॉचर, गाइड के क्षेत्र में रोजगार की अपार सम्भावनाएं हैं. ऐसे में युवा भी इस क्षेत्र में प्रशिक्षण लेने के लिए काफी उत्सुक हैं. उन्होंने कहा इस दिशा में गंभीरता से कदम बढ़ाने के साथ ही देश-दुनिया के बर्डर यानी बर्ड वाचिंग के शौकीनों का ध्यान खींचने की जरूरत है. उन्होंने बताया विकसित देशों में बर्ड वाचिंग का अच्छा खासा टर्नओवर है. इंग्लैंड, यूरोपीय देशों में बर्ड वाचिंग का अच्छा-खासा बिजनेस है. इस लिहाज से देखें तो उत्तराखंड में भी बर्ड वाचिंग की अच्छी-खासी संभावनाएं हैं.
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