बाघ के हमले के बाद गुस्साए ग्रामीण सड़कों पर उतरे रामनगर: विभिन्न मांगों को लेकर ग्रामीण आज सड़कों पर उतरे, जिससे कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के ढेला झिरना पर्यटन जोन में आवाजाही बाधित हो गई. भीषण ठंड के बावजूद ग्रामीण सुबह 5 बजे से सड़क पर डटे रहे. जिसके बाद मौके पर भारी पुलिस बल पहुंची और ग्रामीणों को हिरासत में ले लिया गया है.
विश्व प्रसिद्ध जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क का ढेला और झिरना पर्यटन जॉन को ग्रामीणों ने बंद कर दिया है. ग्रामीणों का कहना है कि लंबे समय से वन विभाग चिन्हित बाघ को ट्रेंकुलाइज नहीं कर पाया है. जिससे लोगों का घर से बाहर निकलना दूभर हो गया है. बता दें कि ग्रामीण लंबे समय से विभिन्न मांगों को लेकर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं. इससे पूर्व भी दो बार ग्रामीण ढेला झिरना पर्यटन जोन को बंद कर चुके हैं.
पढ़ें-रामनगर में बाइक सवार दो युवकों पर बाघ का हमला, बाल-बाल बची जान, दिख रहे नाखून के निशान
ग्रामीण ललित उप्रेती का कहना है कि मांग है कि बीते माह बाघ के हमले में जान गंवाने वाली अनीता देवी के परिवार को 25 लाख का मुआवजा दिया जाए और परिवार के एक सदस्य को नौकरी दी जाए.साथ ही ग्रामीण बाघ को पकड़ने और ट्रेंकुलाइज करने की मांग पर अड़े हैं. कहा कि पिछले माह बाघ के हमले में घायल अंकित का इलाज कॉर्बेट प्रशासन अपने खर्चों पर कराए. ललित उप्रेती ने कहा कि विभाग को ग्रामीणों को वन्यजीवों से सुरक्षा के लिए ठोस कदम उठाने की जरूरत है. बता दें कि कॉर्बेट पार्क के जोनों में सफारी के लिए 6 बजे से अंदर एंट्री होती है.
पढ़ें-रामनगर में बाघ और गुलदार के कारण कर्फ्यू जैसे हालात! दहशत में लोग, वन विभाग ने डाला डेरा
वहीं ग्रामीण मांगों को लेकर सुबह 5 बजे से ही सांवल्दे के बावलिया क्षेत्र में रोड पर बैठे रहे. जिससे सैलानी सफारी के लिए आगे नहीं बढ़ पाए और उन्हें परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.ग्रामीणों का कहना है कि कॉर्बेट पार्क प्रशासन के उच्चाधिकारी आएंगे तो उसके बाद ही वह उनसे वार्ता कर आगे का निर्णय लेंगे. वहीं कॉर्बेट पार्क प्रशासन का कहना है कि उनके द्वारा ग्रामीणों की मांगों को शासन को भेज दिया गया है.