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महंगा पड़ेगा प्याज का तड़का, इस वजह से दिन-ब-दिन बढ़ते जा रहे दाम

राजस्थान, नासिक और गुजरात में भारी बारिश के कारण प्याज के दाम आसमान छू रहे हैं. थोक व्यापारियों ने प्याज के दाम बढ़ने का इसे मुख्य कारण बताया. साथ ही व्यापारियों का कहना है कि प्याज के दाम में वृद्धि के पीछे जमाखोरी का कारण नहीं है.

जानिए प्याज के दाम बढ़ने का कारण.

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Published : Sep 23, 2019, 9:46 PM IST

हल्द्वानी: प्रदेश में प्याज ने एक बार फिर लोगों के आंखों से आंसू निकालना शुरू कर दिया है. 15 से 20 रुपये किलो बिकने वाला प्याज, हल्द्वानी मंडी में फुटकर में इन दोनों 60 से लेकर 65 रुपये प्रति किलो बिक रहा है. दरअसल, व्यापारियों का मानना है कि नासिक, राजस्थान और गुजरात में भारी बारिश के कारण प्याज के दाम आसमान छू रहे हैं.

जानिए प्याज के दाम बढ़ने का कारण.

मंडी में इन दिनों प्याज के बढ़ते दाम के कारण लोगों के किचन का बजट बिगड़ गया है. वहीं, व्यापारियों का मानना है कि श्राद्ध और नवरात्रि के बाद प्याज के दाम में और उछाल देखने को मिल सकता है. इसके साथ ही प्याज की कीमतों में तेजी का कारण लगातार हो रही बारिश भी बताई जा रही है, जिसकी वजह से नई फसल को नुकसान पहुंच रहा है. वहीं, थोक व्यापारियों ने साफ कर दिया है कि प्याज के दाम में वृद्धि के पीछे जमाखोरी का कारण नहीं है.

हल्द्वानी मंडी के आलू प्याज एसोसिएशन के अध्यक्ष जीवन चंद्र कार्की ने बताया कि राजस्थान, नासिक और गुजरात में भारी बरसात के चलते प्याज की फसल खराब हो चुकी है. जिसके कारण प्याज के दामों में उछाल देखने को मिल रहा है. उम्मीद जताई जा रही है कि आगे भी प्याज के दाम में इजाफा हो सकता है.

ये भी पढ़ें:प्याज के बढ़े दामों ने बिगाड़ा जायका, मंडियों में दाम 60 रुपये किलो के पार

वहीं, व्यापारियों ने बताया कि हल्द्वानी मंडी में रोजाना 50 से 60 टन की प्याज की खपत होती है जो राजस्थान, गुजरात और नासिक की मंडियों से यहां पहुंचती थी. लेकिन प्याज के बढ़ते दाम और डिमांड कम होने के चलते मंडी में इस समय 25 से 30 टन ही प्याज की खपत हो रही है, जिसके चलते व्यापार पर भी खासा असर देखा जा रहा है.

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