नैनीताल: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने प्रधानमंत्री फसल बीमा को लेकर दायर जनहित याचिका और नैनीताल में बांज के पत्ते जलाए जाने के मामले में स्वत: संज्ञान लेकर सुनवाई की. जहां प्रधानमंत्री फसल बीमा मामले में कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश ने की खंडपीठ ने एसबीआई जनरल इंश्योरेंस व एनसीएमएल कंपनी को चार सप्ताह में जवाब पेश करने के आदेश दिये हैं. वहीं, कोर्ट ने दूसरे मामले में बांज के पत्ते जलाने पर रोक लगाए जाने को कहा है.
बता दें कि आज हाईकोर्ट ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अंतर्गत किसानों को मिलने वाली रकम के गलत आंकड़े पेश करने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की. इस मामले को सुनने के बाद कार्यवाहक मुख्य न्यायधीश सजंय कुमार मिश्रा व न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की खंडपीठ ने एसबीआई जनरल इंश्योरेंस व एनसीएमएल कंपनी को चार सप्ताह के भीतर जवाब पेश करने को कहा है. ऐसे में इस मामले की अगली सुनवाई चार सप्ताह बाद नियत की गई है.
इस मामले के अनुसार नैनीताल निवासी अजीत सिंह ने जनहित याचिका दायर कर कहा है कि नैनीताल जिले के 42 हजार 300 किसानों ने प्रधानमंत्री फसल बीमा के अंतर्गत खरीफ की फसल का 2020 में एसबीआई जनरल इंश्योरेंस से बीमा कराया था, परन्तु डेटा उपलब्ध कराने वाली कम्पनी मुम्बई द्वारा गलत आंकड़े दिए गए जिसकी वजह से जिले के किसानों को फसल बीमा का बहुत कम पैसा दिया गया. साथ ही किसी किसान को इसका लाभ ही नहीं मिला.
वहीं, जब इसकी शिकायत पीएमओ से की गई तो यह मामला संसद में भी उठा. किसानों द्वारा एसबीआई जनरल इंश्योरेंस व एनसीएमएल कंपनी के खिलाफ कार्रवाई करने और किसानों को हुए नुकसान का पैसा दिलाये जाने की मांग को लेकर यह जनहित याचिका दायर की गई है. ऐसे में कोर्ट ने बीमा कंपनियों को चार सप्ताह के भीतर जवाब पेश करने के आदेश दिये हैं.
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