नैनीतालःरामनगर के उदयपुरी बंदोबस्त में रामनगर नेचुरल स्क्रीनिंग प्लांट (Ramnagar Natural Screening Plant) के खिलाफ दायर जनहित याचिका मामले में नैनीताल हाईकोर्ट में सुनवाई हुई. मामले को सुनने के बाद मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी व न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे की खंडपीठ ने स्क्रीनिंग प्लांट के निर्माण पर लगी रोक को आगे भी जारी रखा है. साथ ही मामले में राज्य सरकार से एक हफ्ते के भीतर जिला प्रशासन की सर्वे रिपोर्ट पेश करने को कहा है. मामले की अगली सुनवाई अब एक हफ्ते बाद होगी.
रामनगर नैचुरल स्क्रीनिंग प्लांट संचालन पर रोक जारी, HC ने मांगी जिला प्रशासन की सर्वे रिपोर्ट
नैनीताल हाईकोर्ट ने रामनगर नैचुरल स्क्रीनिंग प्लांट के संचालन को लेकर सख्त रुख अख्तियार किया है. मामले में होईकोर्ट ने सरकार से जिला प्रशासन की सर्वे रिपोर्ट पेश करने को कहा है. पूरा मामला नेचुरल स्क्रीनिंग प्लांट के निर्माण कार्य और पर्यावरण को नुकसान को लेकर जुड़ा है.
गौर हो कि रामनगर निवासी अजीत सिंह ने नैनीताल हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की है. जिसमें उन्होंने कहा है कि राज्य सरकार की ओर से रामनगर उदयपुरी बंदोबस्त में स्क्रीनिंग प्लांट यानी स्टोन क्रशर (Ramnagar Stone Crusher) लगाने की अनुमति दी गई है. जबकि, यह आबादी वाला क्षेत्र है. इसी वजह से यह प्लांट औद्योगिक विकास बोर्ड (Industrial Development Board) के मानकों को पूरा नहीं करता है. राज्य सरकार ने नियमों के विरुद्ध जाकर इसके संचालन की अनुमति दी है.
ये भी पढे़ंःस्टोन स्क्रीनिंग प्लांट के विरोध में ग्रामीणों का धरना, विपक्ष के साथ समर्थन में आए दुमका
वहीं, याचिकाकर्ता ने जनहित याचिका में नैनीताल हाईकोर्ट (Nainital High Court Verdict) से स्थापित हो रहे नेचुरल स्क्रीनिंग प्लांट के निर्माण कार्य पर रोक लगाने की प्रार्थना की है. ताकि क्षेत्र में इससे होने वाले नुकसान से पर्यावरण को बचाया जा सके. बता दें कि इससे पहले हुई सुनवाई में हाईकोर्ट ने जिला प्रशासन से यह पता करने को कहा था कि यह प्लांट आबादी क्षेत्र से कितनी दूरी पर है. इसका मौका मुआयना कर उसकी रिपोर्ट कोर्ट में पेश करें. आज फिर मामले की सुनवाई हुई. जिसमें सरकार से सर्वे रिपोर्ट मांगी गई है.