नैनीताल/देहरादून: एक अप्रैल से धर्मनगरी हरिद्वार में आयोजित होने वाले महाकुंभ में श्रद्धालुओं को 72 घंटे पहले की कोरोना आरटीपीसीआर रिपोर्ट लानी होगी. इसके बाद ही उन्हें कुंभ में एंट्री मिलेगी. इसको लेकर हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिया है. उच्च न्यायालय ने केंद्र और राज्य एसओपी का पालन करने का निर्देश दिया है. इसके साथ ही हाईकोर्ट ने महाकुंभ क्षेत्र में हुए अधूरे कामों को लेकर राज्य सरकार से मामले में जवाब मांगा है. हाईकोर्ट ने मुख्य सचिव ओम प्रकाश की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाकर कुंभ मेला क्षेत्र में हुए कार्यों की विस्तृत रिपोर्ट कोर्ट में पेश करने के लिए आदेश दिए हैं.
हरिद्वार महाकुंभ में आने के लिए 72 घंटे पहले की कोरोना रिपोर्ट जरूरी पढ़ें-न मास्क, न दो गज की दूरी, कोरोना को 'दावत' देने की तैयारी पूरी, फिर होगी सख्ती
बता दें कि हाल ही में हरिद्वार दौरे के दौरान मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने घोषणा की थी कि महाकुंभ के लिए कोरोना नेगेटिव रिपोर्ट अनिवार्य नहीं होगी. लेकिन अब ऐसा नहीं होगा, क्योंकि महाकुंभ में आने के लिए 72 घंटे पहले की कोविड-19 निगेटिव रिपोर्ट लानी ही होगी. आपदा सचिव एस मुर्गेशन ने इस बात की पुष्टि की है. सरकार जल्द ही इस मामले में एक बार फिर आदेश जारी कर सकती है. इसके साथ ही आने वाले श्रद्धालु कोरोना वैक्सीनेशन का सर्टिफिकेट भी जिला प्रशासन को दिखाकर एंट्री पा सकते हैं. वहीं, मुख्य सचिव ओम प्रकाश खुद तीन दिन हरिद्वार में रहकर स्थिति की समीक्षा करेंगे.
दरअसल, बुधवार को हाईकोर्ट में महाकुंभ कार्यों को लेकर दाखिल की गई जनहित याचिका पर सुनवाई हुई. कोर्ट ने सुनवाई के दौरान मुख्य सचिव और तमाम अधिकारियों से कुंभ में कोरोना प्रबंधन के बारे में जवाब तलब किए गए. जिसमें शासन की तरफ से हाईकोर्ट में जवाब पेश किया गया.