रुड़की:हरिद्वार की सिविल लाइन कोतवाली क्षेत्र के बेलड़ा गांव में युवक की मौत के बाद हुए बवाल पर पुलिस प्रशासन द्वारा धारा 144 लगाई गई है. पिछले 24 घंटे से अधिक समय से लगी धारा 144 पर हरिद्वार पुलिस अब कुछ ढिलाई देने की सोच रही है. हरिद्वार एसएसपी अजय सिंह का कहना है कि बेलड़ा गांव में लगी धारा 144 हटाई जाएगी. उन्होंने स्थिति सामान्य करने के लिए स्थानीय निवासियों से अपील है. साथ ही कहा है कि लोग घर लौटकर अपने काम-धंधे शुरू करें. कानूनी कार्रवाई सबूतों के आधार पर की जाएगी.
जानें क्या है पूरा मामलाः11 जून की रात रुड़की से घर बेलड़ा लौट रहे 35 वर्षीय पंकज की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई थी. गांव के पास ही पंकज का शव पड़ा मिला था. परिजनों और ग्रामीणों ने इसे हत्या का मामला बताकर अगले दिन 12 जून की सुबह कोतवाली का घेराव किया. परिजनों ने गांव के ही कुछ लोगों पर लोहे के सरियों से हमला कर पंकज की हत्या करने का आरोप लगाया. परिजनों ने पुलिस से आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की.
आरोपियों के घर तोड़फोड़: इस बीच पुलिस ने परिजनों और ग्रामीणों को समझाने का प्रयास किया. लेकिन ग्रामीण आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग पर कोतवाली में डटे रहे. इस दौरान ग्रामीणों की पुलिस अधिकारियों से बहस भी हुई. मामला बढ़ता देख पुलिस ने भीड़ को हटाने के लिए लाठियां भी चलाई. इसके बाद देर शाम भीड़ आरोपी पक्ष के घर पर पहुंच गई और तोड़फोड़ कर दी. सूचना पर पुलिस भी मौके पर पहुंची और भीड़ को हटाने का प्रयास किया. इस दौरान ग्रामीणों ने पुलिस पर पथराव कर दिया.
पथराव में दो इंस्पेक्टर, एक उपनिरीक्षक समेत पांच पुलिसकर्मी घायल हो गए. बेकाबू होते हालातों को संभालने के लिए पुलिस को आंसू गैस के गोले छोड़ने पड़े. इसके बाद गांव में बवाल की स्थिति को देखते हुए प्रशासन ने धारा 144 लागू कर दी. हालांकि, पुलिस ने इलाके में पथराव और बवाल करने पर 50 लोगों को हिरासत में लिया. 13 जून की सुबह पुलिस की मौजूदगी में पंकज का अंतिम संस्कार किया गया.
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