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लोकसभा चुनाव 2019: हर परीक्षा में खरे उतरे हैं निशंक, BJP ने ऐसे ही नहीं खेला दांव

2009 में उन्हें उत्तराखंड का मुख्यमंत्री बनाया. जिसके बाद उन्होंने 2011 तक प्रदेश की कमान संभाली. साल 2012 में प्रदेश में एक बार फिर चुनाव हुए. जिसमें निशंक डोइवाला क्षेत्र से विधायक चुने गए. इसके बाद 2014 लोकसभा चुनाव में निशंक ने हरिद्वार लोकसभा से चुनाव लड़ा और कांग्रेस के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की पत्नी रेणुका रावत को हराकर जीत हासिल की.

रमेश पोखरियाल निशंक

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Published : Mar 22, 2019, 8:45 AM IST

Updated : Mar 22, 2019, 12:44 PM IST

हरिद्वार: 2019 लोकसभा चुनाव समर का शंखनाथ हो चुका है. उत्तराखंड में पहले चरण 11 अप्रैल को चुनाव होना है. बीजेपी ने पांचों लोकसभा सीटों से अपने प्रत्याशियों की फेहरिस्त जारी कर दी है. धर्मनगरी हरिद्वार से वर्तमान सांसद और पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक को एक बार फिर हरिद्वार से लोकसभा का टिकट दिया गया है.रमेश पोखरियाल निशंक का जन्म 15 जुलाई 1959 को पौड़ी गढ़वाल के पिनानी गांव में हुआ था. उन्होंने हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल यूनिवर्सिटी से कला स्नातकोत्तर, पीएचडी (ऑनर), डी लिट (ऑनर) में शिक्षा हासिल की. जिसके बाद उन्होंने कुछ समय तक अध्यापन का कार्य भी किया.

राजनीतिक सफर
रमेश पोखरियाल 'निशंक' बीजेपी के कद्दावर नेताओं में गिने जाते हैं. 1991 में वे पहली बार उत्तर प्रदेश विधानसभा के लिए कर्णप्रयाग निर्वाचन-क्षेत्र से चुने गए. इसके बाद 1993 और 1996 में दोबारा वहीं से उत्तर प्रदेश विधानसभा के लिए चुने गए. वर्ष 1997 में उत्तर प्रदेश सरकार में कल्याण सिंह मंत्री मंडल में निशंक पर्वतीय विकास विभाग के मंत्री रहे. इसके बाद साल 1999 में रामप्रकाश गुप्त की सरकार में संस्कृति एवं धर्मस्व मंत्री रहे.

साल 2000 में उत्तराखंड राज्य यूपी से अलग होकर अस्तित्व में आया. जिसकी बागडोर बीजेपी के नित्यानंद स्वामी के हाथों में आई. जिसमें रमेश पोखरियाल प्रदेश के पहले वित्त, राजस्व, कर, पेयजल सहित 12 विभागों के मंत्री बने. वहीं, साल 2007 में बीजेपी एक बार फिर सत्ता पर काबिज हुई. मुख्यमंत्री के तौर पर रिटायर जनरल बीसी खंडूड़ी ने शपथ ली. इस सरकार में निशंक चिकित्सा, स्वास्थ्य, भाषा और विज्ञान प्रौद्योगिकी विभाग के मंत्री बने.

2009 में बने मुख्यमंत्री

2009 में रमेश पोखरियाल को उत्तराखंड का मुख्यमंत्री बनाया गया. जिसके बाद उन्होंने 2011 तक प्रदेश की कमान संभाली. साल 2012 में प्रदेश में एक बार फिर चुनाव हुए. जिसमें निशंक डोइवाला क्षेत्र से विधायक चुने गए.इसके बाद 2014 लोकसभा चुनाव में निशंक ने हरिद्वार लोकसभा से चुनाव लड़ा और कांग्रेस के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की पत्नी रेणुका रावत को हराकर जीत हासिल की. वर्तमान में रमेश पोखरियाल हरिद्वार के सांसद होने के साथ लोकसभा की सरकारी आश्वासन समिति के सभापति के रूप में भी काम कर रहे हैं.

बता दें कि पिछली बार रमेश पोखरियाल निशंक ने 2014 लोकसभा चुनाव में रेणुका रावत को 1,77,822 वोटों से शिकस्त दी थी. इस बार भी हरिद्वार से 2019 लोकसभा चुनाव का टिकट रमेश पोखरियाल निशंक को मिला है. हरिद्वार लोकसभा में सांसद से ज्यादा भाजपा का अपना वोट बैंक काफी मजबूत है. माना जाता है कि भाजपा का सबसे बड़ा वोट बैंक यहां का संत समाज है. साथ ही हरिद्वार में वैश्य समाज, सैनी समाज और पंजाबी समाज में भी बीजेपी की अच्छी पकड़ मानी जाती है.

Last Updated : Mar 22, 2019, 12:44 PM IST

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