हरिद्वार: पुलिस की सख्ती के बावजूद एक बार फिर जेल से रंगदारी मांगने का मामला सामने आया है. वहीं हरिद्वार में बंद कुख्यात गैंगस्टर सुनील राठी के नाम पर पचास लाख रुपए की रंगदारी की मांग की गई है. रंगदारी मांगने वाले ने खुद को सुनील राठी बताते हुए न केवल पैसों की मांग की बल्कि, पैसे न देने पर सिडकुल स्थित एक बड़े भूखंड पर कब्जा करने की भी धमकी दी है. मामले की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने कुख्यात सहित कुल 6 लोगों के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है. वहीं मामले कुख्यात गैंगस्टर से जुड़ा होने के कारण सिडकुल पुलिस पहले मामले को बताने से बच रही थी.
हरिद्वार के रोशनी बाद जेल में कड़ी सुरक्षा में बंद कुख्यात सुनील राठी के नाम पर रंगदारी मांगी गई है. इस बार गुरुकुल कांगड़ी विश्वविद्यालय के पूर्व छात्रसंघ अध्यक्ष रविकांत मलिक और उनके भाई से सुनील राठी के नाम पर पचास लाख रुपए की रंगदारी की मांग की गई है. धमकी देने वाले ने खुद को सुनील राठी बताते हुए पैसा पहुंचाने को कहा है, यदि पैसा नहीं दिया गया तो औद्योगिक क्षेत्र सिडकुल स्थित रविकांत मलिक के 1 बड़े भूखंड पर कब्जा करने की भी धमकी दी गई है.
पढ़ें-Youth Kidnapped: कुरान पढ़कर लौट रहे युवक का अपहरण कर ले गए पंजाब, भागकर घर पहुंचा तो बताई आपबीती
रविकांत मलिक ने सिडकुल थाना पुलिस को तहरीर देकर बताया कि उन्हें व्हाट्सएप कॉल के जरिए यह धमकी दी गई है. इस मामले में रविकांत मलिक ने सुनील राठी सहित कुल 6 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है. थानाध्यक्ष सिडकुल रमेश तंवर ने बताया कि रविकांत मलिक की तहरीर पर सुनील राठी, नीरज मलिक, प्रदीप राठी, रोहताश, विपिन राठी और सुशील गुर्जर के खिलाफ रंगदारी मांगने सहित कई धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है. पुलिस ने इस मामले की गंभीरता को देखते हुए मामले की तत्काल जांच शुरू कर दी है. दोनों पक्षों में सिडकुल के एक भूखंड को लेकर विवाद है.
जानें कौन है गैंगस्टर सुनील राठी:अपराध की दुनिया में सुनील राठी ने काफी नाम कमाया है. सुनील राठी पर कुख्यात मुन्ना बजरंगी को जेल के अंदर गोली मारने का आरोप है. वहीं यूपी और उत्तराखंड के अपराध जगत में सुनील राठी का अपना दबदबा है. सुनील राठी हरियाणा के बागपत का रहने वाला है. सुनील राठी के पिता नरेश राठी राजनीति में थे और नगर पंचायत टिकरी के चेयरमैन थे. बताया जाता है कि पारिवारिक रंजिश के चलते साल 1999 में उसके पिता की हत्या कर दी गई. पिता की हत्या के बाद सुनील राठी ने जरायम की दुनिया में कदम रखा. साथ ही गैंग बनाकर साल भर के अंदर ही 4 लोगों को मौत के घाट उतार दिया. वहीं हत्याकांड को अंजाम देने के बाद सुनील राठी बागपत से फरार हो गया. बागपत से जाने के बाद उसने दिल्ली में कुछ वारदातों को अंजाम दिया और फिर हरिद्वार चला गया.