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गुलामी के प्रतीकों को हटाने का किया जाएगा काम, केजरीवाल का बयान 'नॉन सीरियस'- धामी

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखंड में गुलामी के प्रतीकों को जल्द हटाया जाएगा. वहीं, भारतीय नोटों पर गणेश लक्ष्मी की फोटो छापने की दिल्ली के सीएम केजरीवाल मांग को धामी ने नॉन सीरियस बताया है.

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Published : Oct 29, 2022, 6:00 PM IST

Updated : Oct 29, 2022, 6:48 PM IST

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देहरादून:प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत में मौजूद गुलामी के प्रतीकों को मिटाया और हटाया जा रहा है. इस क्रम में उत्तराखंड सरकार ने भी अपनी कवायद शुरू कर दी है. ऐसे में पौड़ी गढ़वाल के मशहूर पर्यटक स्थल और सेना छावनी क्षेत्र लैंसडाउन के नाम को बदलने की तैयारी है. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (CM Pushkar Singh Dhami) का कहना है कि गुलामी के प्रतीकों को हटाने की दिशा में उत्तराखंड सरकार अब पहल करने जा रही है.

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री ने कहा था कि 21वीं सदी का तीसरा दशक उत्तराखंड के नाम रहेगा. पीएम मोदी की यह वाणी सत्य साबित हुई है. इस बार उत्तराखंड में ऐतिहासिक चारधाम यात्रा हुई है. 45 लाख से ज्यादा श्रद्धालु यात्रा में पहुंचे हैं और अभी भी श्रद्धालुओं का आना जारी है. इस यात्रा स्वयं सहायता समूह से जुड़ी महिलाओं ने भी प्रसाद योजना के तहत अच्छा मुनाफा कमाया है. उन्होंने कहा कि पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए केंद्र से सहयोग से विभिन्न योजनाओं पर कार्य जारी है.

CM धामी बोले- केजरीवाल का बयान 'नॉन सीरियस'

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वहीं, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ( Delhi CM Arvind Kejriwal) का भारतीय करेंसी पर लक्ष्मी गणेश की फोटो की मांग (Hindu deities on currency notes) पर पूछे सवाल पर सीएम धामी ने कहा कि मुख्यमंत्री केजरीवाल 'नॉन सीरियस' हैं. चुनाव को लेकर उनकी तरफ से ये शिगुफा छोड़ा गया है. सीएम केजरीवाल का यह बयान नॉन सीरियस है. एक तरफ वह नोटों पर लक्ष्मी गणेश की फोटो की बात करते हैं और एक वर्ग विशेष के लोगों को 18-18 हजार रुपये का प्रतिमाह वेतन दे रहे है. यह लक्ष्मी गणेश का अपमान है.

हिमाचल विधानसभा चुनाव (Himachal Assembly Election) को लेकर सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखंड और हिमाचल भौगोलिक दृष्टि से एक है. उत्तराखंड की तरह ही हिमाचल की देवतुल्य जनता डबल इंजन की सरकार बनाएंगी. उन्हें यह पूरा विश्वास है. दोनों ही सैन्य बाहुल्य प्रदेश हैं और दोनों ही राज्यों की आर्थिकी पर्यटन से जुड़ी है. एक तरह से दोनों राज्य भाई-भाई जैसे हैं. उन्हें आशा है कि देवभूमि हिमाचल की जनता भी उत्तराखंड की तरह प्रदेश में डबल इंजन की सरकार बनाकर यशस्वी प्रधानमंत्री मोदी को अपना वोट रुपी आशीर्वाद देगी.

Last Updated : Oct 29, 2022, 6:48 PM IST

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