देहरादूनः कांग्रेस के नए अध्यक्ष के लिए काउंटडाउन शुरू हो गया है. कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय में आज नए राष्ट्रीय अध्यक्ष के चयन के लिए मतदान संपन्न हुआ. शाम 4 बजे कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा, नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य, पीआरओ पीसी चंद्रशेखर, दो एपीआरओ मनोज भारद्वाज और जय शंकर पाठक समेत तमाम नेताओं की मौजूदगी में मत पेटी सील की गई.
197 पीसीसी मेंबर्स ने देहरादून में किया मतदान: मतदान में तमाम पीसीसी डेलीगेट्स ने भाग लिया. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा के मुताबिक कुल 223 पीसीसी मेंबर हैं, जिनमें से 4 मेंबर्स ने रिजाइन दिया है. ऐसे में 219 मतों में से 197 पीसीसी मेंबर्स ने देहरादून स्थित प्रदेश कार्यालय के मतदान स्थल पर मतदान किया, जबकि 12 पीसीसी सदस्य जो कि राज्य से बाहर हैं, उनके द्वारा राज्य से बाहर मतदान किया गया है. ऐसे में कुल 209 पीसीसी मेंबर्स ने मतदान किया. वहीं, 10 पीसीसी मेंबर किन्ही कारणों से अपने मताधिकार का प्रयोग नहीं कर पाए.
देहरादून में कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए मतदान जारी. खड़गे Vs थरूर है मुकाबला:कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे (Congress Leader Mallikarjun kharge) और सांसद शशि थरूर (MP Shashi Tharoor) के बीच सीधा मुकाबला है. मतों की गिनती और परिणामों की घोषणा 19 अक्टूबर को दिल्ली में होगी. उस दिन साफ हो जाएगा कि कांग्रेस का अगला राष्ट्रीय अध्यक्ष कौन होगा. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि जिन लोगों ने पीसीसी की सदस्यता से इस्तीफा दिया है, उनकी जगह नए पीसीसी मेंबर्स की जल्द घोषणा कर दी जाएगी.
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कांग्रेसियों में दिखा भारी उत्साह:गौर हो कि उत्तराखंड कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय में अध्यक्ष पद के लिए मतदान की प्रक्रिया (Congress President Polls 2022) सुबह से शुरू हो गई थी. मतदान शाम 4 बजे संपन्न हुआ. प्रदेश कार्यालय में ही वोटिंग कक्ष बनाया गया था. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने बताया कि, धारचूला, बदरीनाथ, केदारनाथ, यमुनोत्री और गंगोत्री से भी लोग वहां मौजूद थे. ऐसे में कांग्रेस के कार्यकर्ताओं में राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव को लेकर भारी जोश देखने को मिला क्योंकि, 22 साल बाद कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष का चुनाव वोट (Congress President Election) के माध्यम से हो रहा है.
इस बार नॉन गांधी पार्टी के प्रेसिडेंट बनेंगेःउन्होंने कहा कि यह पहली बार नहीं हो रहा है कि कोई नॉन गांधी पार्टी का प्रेसिडेंट बनने जा रहा है. इससे पहले भी नॉन गांधी पार्टी के प्रेसिडेंट (Non Gandhi Congress President) बने हैं. उन्होंने कहा कि इस बार मतदान को लेकर नई चीज देखने को मिली है, क्योंकि 22 साल पहले वोटिंग का अधिकार एआईसीसी मेंबर्स को था, लेकिन इस बार मतदान में परिवर्तन देखने को मिला है. इस बार पीसीसी डेलीगेट्स ने भी अपने मताधिकार का प्रयोग किया है.