देहरादून: यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले में 5 आरोपियों की जमानत में पेंच फंस सकता है. क्योंकि STF ने लोक सेवक और सरकारी संपत्ति का दुरुपयोग कर अपराधिक कृत्य करने की 409 IPC धारा बढ़ाई है. ताकि इन आरोपियों को आसानी से जमानत न मिल सके.
यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले में जिन पांच आरोपियों पर धारा 409 लगाई गई. उनमें संजय राणा, राजेश चौहान, बिपिन बिहारी, अभिषेक वर्मा और जगदीश दास शामिल है. जानकारी के अनुसार बढ़ाई गई IPC की धारा 409 के तहत 10 साल से लेकर आजीवन कारावास तक का प्रावधान है. धारा 409 के दायरे में आए राजेश चौहान लखनऊ प्रिंटिंग प्रेस RMS का मालिक है, जबकि अभिषेक वर्मा आयोग कार्यालय में कंप्यूटर ऑपरेटर के पद पर कार्यरत था. आरोप हैं कि अभिषेक ने ही ऑफिस कम्प्यूटर से पेन ड्राइव से जरिए पेपर चुराकर उसे लीक किया था.
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बता दें कि UKSSSC पेपर लीक मामले में अब तक मास्टरमाइंड और नकल माफियाओं सहित 41 से अधिक आरोपी गिरफ्तार कर सलाखों के पीछे भेजे जा चुके हैं. हालांकि इनमें से पंतनगर यूनिवर्सिटी के पूर्व अधिकारी दिनेश चंद जोशी सहित चार लोगों की पिछले दिनों देहरादून सेशन कोर्ट से ज़मानत हो चुकी है. ऐसे में 5 से 6 आरोपियों द्वारा भी जमानत की याचिका सेशन कोर्ट में लगाई गई थी. लेकिन एसटीएफ द्वारा विवेचना के अंतर्गत इन आरोपियों पर धाराएं बढ़ाई गई.
इसी को देखते हुए बचाव पक्ष अधिवक्ताओं द्वारा जमानत की याचिका वापस ले ली गई. बचाव पक्ष के अधिवक्ता चंद्रशेखर तिवारी के मुताबिक फिलहाल एसटीएफ द्वारा बढ़ाई गई धाराओं का अध्ययन किया जा रहा है. जिसके बाद कानूनी प्रक्रिया के तहत जमानत की अर्जी कोर्ट में लगाई जाएगी.
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पेपर लीक मामले में मास्टरमाइंड सादिक मूसा, हाकम सिंह, राजेश चौहान और केंद्रपाल जैसे 21 मुख्य अभियुक्तों पर इस केस गैंगस्टर एक्ट भी लगाया गया है. यही कारण है कि इन आरोपियों की जमानत इतनी आसानी से होने वाली नहीं हैं.