देहरादून: उत्तराखंड में जिस तेजी के साथ कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़ रही है उसको देखते हुए पुलिस-प्रशासन कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम की संख्या बढ़ाने पर जोर दे रही है. ताकि कोरोना की चेन को तोड़ा जा सके.
उत्तराखंड में गुरुवार को कोरोना के 945 मामले सामने आए है, जिसने सरकार और प्रशासन दोनों की चिंता बढ़ा दी है. ऐसे हालत में कोरोना की चेन तोड़ने के लिए प्रभावित इलाकों में सर्विलास और कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग पर जोर दिया है. कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम के नोडल अधिकारी संजय गुंज्याल ने बताया कि कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम की संख्या बढ़ाकर नई एसओपी (standard operating procedure) जारी कर दी गई है, जिसका लाभ भी मिल रहा है.
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दरअसल, कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम का काम कोरोना पॉजिटिव मरीज के संपर्क में आए लोगों को चिन्हित करना होता है, ताकि उनका सैंपल लेकर उन्हें क्वारंटाइन किया जा सके. इससे हाई और लॉ रिस्क के संपर्क का भी आसानी से पता चल जाता है.
नोडल अधिकारी संजय गुंज्याल के मुताबिक, कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग जिन 100 लोगों को हाई रिस्क में चिन्हित कर रही है, उनमें से 30 लोग कोरोना पॉजिटिव निकल रहे हैं. इससे पता चलता कि टीम अच्छा काम कर रही है, लेकिन समस्या यह है कि अब उत्तराखंड में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या बड़ी तेजी के साथ बढ़ रही है. उसको देखते हुए कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग टीम की संख्या बढ़ाने पर भी विचार किया जा रहा है. ताकि कोरोना पॉजिटिव मरीज के संपर्क में आए ज्यादा से ज्यादा लोगों को चिन्हित किया जा सके.