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Ankita Bhandari Case: उत्तराखंड बंद का दिखा मिलाजुला असर, पुलिस मुस्तैद

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Published : Oct 2, 2022, 12:11 PM IST

Updated : Oct 2, 2022, 4:30 PM IST

अंकिता भंडारी को न्याय दिलाने की मांग को लेकर विभिन्न संगठनों और राजनीतिक दलों ने आज उत्तराखंड बंद बुलाया है. जिसका असर देखने को मिल रहा है. देहरादून, हल्द्वानी और पौड़ी की बाजारों में ज्यादातर दुकानें बंद नजर आई हैं.

Ankita Bhandari Case
उत्तराखंड बंद

देहरादून:उत्तराखंड की बेटी अंकिता भंडारी को न्याय दिलाने की मांग को लेकर विभिन्न संगठनों और राजनीतिक दलों ने आज उत्तराखंड बंद बुलाया है. जिसका असर देखने को मिल रहा है. राज्य आंदोलनकारियों समेत तमाम जन संगठनों के कार्यकर्ता गांधी पार्क के गेट पर एकत्रित हो रहे हैं. जन संगठनों की ओर से बंद को सफल बनाने की अपील की जा रही है. इस बंद में तमाम जन संगठन, विभिन्न राजनीतिक संगठन, सामाजिक सरोकारों से जुड़े लोग शामिल हो रहे हैं.

देहरादून में सुबह से लगभग सभी व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद हैं. संगठनों की ओर से गांधीवादी तरीके से लोगों से व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रखने की अपील की जा रही है. इस दौरान बंद को सफल बनाने के लिए संगठनों की ओर से गांधी पार्क से घंटाघर तक जुलूस रैली निकाली जा गई. रैली के दौरान अंकिता को न्याय दो जैसे नारे लगाए गए.

उत्तराखंड बंद का दिखा मिलाजुला असर

उत्तराखंड बंद को लेकर उत्तराखंड क्रांति दल के संरक्षक बीडी रतूड़ी का कहना है कि अंकिता हत्याकांड को लेकर आज समूचा उत्तराखंड आज जल रहा है. इसलिए उत्तराखंड के लोग आज सड़कों पर उतर आए हैं, क्योंकि लोग न्याय की मांग कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि अपराधियों को कड़ी से कड़ी सजा फांसी की सजा दी जानी चाहिए. इसके अलावा उत्तराखंड क्रांति दल ने मांग उठाई है कि UKSSSC पेपर लीक मामले की सीबीआई जांच भी की जाए.

हल्द्वानी में बंद का कोई खास असर नहीं दिखाई दे रहा है. सुबह से ही उत्तराखंड क्रांति दल के नेता सुशील उनियाल और देवभूमि व्यापार मंडल के पदाधिकारी व्यापारियों से बाजार बंद करने का आह्वान करते नजर आए. लेकिन हल्द्वानी में इसका कोई खास असर नहीं दिखाई दिया. बाजार बंद के आह्वान को देखते हुए पुलिस भी मुस्तैद नजर आई. पुलिस ने व्यापारियों से आह्वान किया की बाजार बंद करने के लिए कोई जबरदस्ती नहीं है, यदि कोई व्यापारी अपनी दुकान खोलना चाहता है, तो वह खोल सकता है.

मसूरी में अंकिता भंडारी को दी श्रद्धांजलि.
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प्रदर्शनकारियों के पीछे पुलिस पीछे पीछे घूमती रही और व्यापारियों को समझाने की कोशिश भी करती रही. तो वहीं कुछ व्यापारियों ने बाजार बंद का उनको पूर्ण समर्थन दिया है और उनकी मांग है कि का हत्याकांड जैसे जघन्य अपराध को न्याय दिलाने के लिए व्यापारी उनका साथ देंगे. क्योंकि उत्तराखंड राज्य के अंदर अभी कई अंकिता पैदा होंगी उनके साथ ऐसा अपराध ना हो और अंकिता हत्याकांड के आरोपियों को फांसी की सजा हो.

श्रीनगर में बंद का असर देखने को मिला है. श्रीनगर में बाजार बंद रहा लेकिन व्यापार सभा ने बंद को लेकर असहमति भी जताई थी. व्यापार सभा अध्यक्ष दिनेश असवाल ने बंद लेकर अपना विरोध जाहिर किया. बड़ी संख्या में विभिन्न सामाजिक संगठनों, छात्रों ने श्रीनगर में जलूस निकाल कर अपना विरोध जाहिर किया.

चमोली में भी बंद रहा बाजार.

वहीं, मसूरी में अंकिता भंडारी के हत्यारों को फांसी की सजा देने की मांग को लेकर मसूरी के कई सामाजिक संगठनों कांग्रेस और मसूरी ट्रेडर्स एंड वेलफेयर एसोसिएशन द्वारा मसूरी के झूलाघर स्थित शहीद स्थल पर श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया. जिसमें भारी संख्या में लोगों ने अंकिता भंडारी को श्रद्धांजलि दी. इससे पूर्व मसूरी को 12 बजे तक पूर्ण रूप से बंद रखा गयाय मसूरी शहीद स्थल पर आयोजित श्रद्धांजलि सभा में लोगों ने सरकार से तत्काल अंकिता भंडारी के कातिलों को फांसी की सजा देने की मांग की. वहीं, रिजॉर्ट को भी ध्वस्त करने की मांग भी की गई है.

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सीमा जिले चमोली में भी अंकिता हत्याकांड के बाद दोषियों को सजा दिलाने की मांग को लेकर बुलाये गए बंद का व्यापक असर देखने को मिला. इस दौरान जहां व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रहे. वहीं, टैक्सी यूनियनों ने इस बंद का समर्थन किया और आज टैक्सियों का संचालन बंद रखा. जबकि, प्रांतीय उद्योग व्यापार संघ की ओर से बंद को लेकर कोई ऐलान न किये जाने के बावजूद भी व्यापारियों ने अपने व्यापारिक प्रतिष्ठान बंद रखे. वहीं, स्टैंडों पर टैक्सी न मिलने पर बदरीनाथ और हेमकुंड जाने वाले तीर्थयात्रियों के साथ-साथ स्थानीय लोगों को भी दिक्कतों का सामना करना पड़ा.

उधर, रुद्रप्रयाग जिले में भी अंकिता हत्याकांड के विरोध में सभी व्यापारियों ने अपने प्रतिष्ठानों को बंद रखकर दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा देने की मांग की. इसके साथ ही केदारनाथ यात्रा पड़ावों के व्यापारियों ने भी अपना पूर्ण समर्थन दिया. यहां गुप्तकाशी से लेकर केदारनाथ धाम तक बंद का असर देखने को मिला. यात्रा के महत्वपूर्ण पड़ाव फाटा, सोनप्रयाग व गौरीकुंड में व्यापारियों ने जुलूस प्रदर्शन कर अंकिता के हत्यारों का पुतला दहन किया. हालांकि, इस दौरान तीर्थयात्रियों को खासी दिक्कतों का सामाना करना पड़ा, लेकिन अंकिता के साथ हुई घटना को सुनकर तीर्थ यात्रियों ने भी बंद को अपना समर्थन दिया.

Last Updated : Oct 2, 2022, 4:30 PM IST

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