देहरादून: हिंडोलाखाल स्थित श्रीकोट मालडा गांव में एनसीसी प्रशिक्षण अकादमी को अन्यत्र शिफ्ट किए जाने के विरोध में पूर्व शिक्षामंत्री मंत्री प्रसाद नैथानी ने अपने समर्थकों के साथ विधानसभा के बाहर सांकेतिक उपवास और धरना दिया. नैथानी ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि वर्तमान शिक्षा मंत्री सदन और जनता को गुमराह कर रहे है.
इस दौरान मंत्री प्रसाद नैथानी का कहना है कि कांग्रेस सरकार के दौरान एनसीसी अकादमी जो पूरे देश की पांचवीं अकादमी है, उसे प्रदेश में लाया गया था. साथ ही तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत ने देवप्रयाग विधानसभा के अंतर्गत श्रीकोट मालडा में इसको बनाने की घोषणा की थी. उसके बाद वहां अकादमी बनाने के लिए सर्वे कार्य हुआ. वहीं, 6 दिसंबर 1916 को हिंडोलखाल में एनसीसी एकेडमी का शिलान्यास कार्यक्रम हरीश रावत ने किया. इसके बाद प्रदेश में बीजेपी की सरकार आई जिन्होंने एकेडमी को लेकर जनता को गुमराह किया.
नैथानी ने अपने समर्थकों के साथ विधानसभा के बाहर दिया धरना. वहीं, अब वर्तमान शिक्षा मंत्री विधानसभा में यह बयान दे रहे हैं कि श्रीकोट मालडा में एनसीसी एकेडमी का शासनादेश हुआ ही नहीं था. यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि शिक्षा मंत्री इतना बड़ा झूठ बोल रहे हैं जबकि इसके पूरे प्रमाण मौजूद हैं. बीजेपी सरकार दरअसल शासनादेश, शिलान्यास, जमीन ,बजट सब को झूठा करार दे रही है. इस दौरान देवप्रयाग की रहने वाली रंजू रावत ने बताया कि उनकी एक ही मांग है कि पूर्व सीएम हरीश रावत ने श्रीकोट मालदा में एनसीसी एकेडमी खोले जाने की जो घोषणा की थी और उसका शिलान्यास किया था. वर्तमान सरकार अब एकेडमी को पौड़ी में शिफ्ट करना चाहती है, जिसका बजट भी स्वीकृत हो गया है. इस का तीव्र विरोध किया जाएगा.
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वहीं, टिहरी के हिंडोलखाल से पौड़ी शिफ्ट किए जाने का विरोध करते हुए मंत्री प्रसाद नैथानी ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि इस सरकार ने बीते 3 सालों मे एनसीसी एकेडमी को लेकर जनता को गुमराह किया है. और यह सरकार एकेडमी को लेकर गलत बयान बाजी कर रही है जबकि देवप्रयाग की जनता उसको शिफ्ट किए जाने के विरोध में बीते 6 माह से आंदोलनरत है. अगर सरकार ने इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया तो आगामी 17 दिसंबर से सरकार की शव यात्रा निकाली जाएगी. जो हिंडोलखाल, कीर्ति नगर, डांग ,दुगड्डा, नई टिहरी, नरेंद्र नगर, मुनी की रेती से होते हुए विधान भवन स्थित रिस्पना नदी में पहुँचेगी. और रिस्पना नदी में सरकार की अर्थी का दाह संस्कार किया जाएगा.