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Mussoorie Hospital Inspection: गैर हाजिर सीएमएस को कारण बताओ नोटिस, जांच भी होगी

स्वास्थ्य सचिव डॉ. राजेश कुमार ने मसूरी हॉस्पिटल में मिली अनियमितताओं को गंभीरता से लिया है. उन्होंने मामले में सीएमएस को कारण बताओ नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. जबकि मसूरी हॉस्पिटल में दूर-दूर से लोग इलाज कराने पहुंचते हैं. वहीं मरीजों को बेहतर सुविधा ना मिलने से वो अन्य जनपदों का रुख कर रहे हैं.

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Published : Jan 18, 2023, 7:26 AM IST

मसूरी:स्वास्थ्य सचिव डॉ. राजेश कुमार ने बीते रविवार को मसूरी स्थित उप जिला चिकित्सालय का औचक निरीक्षण किया था. निरीक्षण के दौरान स्वास्थ्य सचिव ने उप जिला चिकित्सालय में अव्यवस्था और गंदगी देखकर संबधित अधिकारियों को जमकर फटकार लगाई थी. साथ ही अस्पताल में नियुक्त डाक्टर और कर्मचारियों की अनुस्थिति पर सीएमएस से जबाब तलब किया था. वहीं, स्वास्थ्य सचिव डॉ. राजेश कुमार ने मंगलवार को उप जिला चिकित्सालय मसूरी के सीएमएस को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है.

दरअसल, औचक निरीक्षण के दौरान इस बात की जानकारी मिली कि तमाम डॉक्टर और कर्मचारी बिना किसी अनुमति के ही छुट्टी पर चल रहे हैं. साथ ही खुद सीएमएस डॉ. यतेंद्र सिंह भी बिना अवकाश लिए अपने निजी कार्य के चलते मुख्यालय से बाहर हैं. जिसको देखते हुए स्वास्थ्य सचिव ने ना सिर्फ स्वास्थ्य मुख्यालय को इस मामले की जांच के संबंध में पत्र लिखा है बल्कि सीएमएस डॉ. यतेंद्र सिंह को कारण बताओ नोटिस जारी कर दिया है. साथ ही उन्होंने अस्पताल प्रबंधन को अस्पताल में तैनात डॉक्टर और कर्मचारियों को बिना सीएमओ की अनुमति के अवकाश न जाने के निर्देश दिये हैं.
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स्वास्थ्य सचिव की ओर से सीएमएस को जारी किए गए कारण बताओ नोटिस में इस बात का जिक्र किया गया है कि 14 जनवरी को उप जिला चिकित्सालय मसूरी में किए गए औचक निरीक्षण के दौरान सीएमएस डॉ. योगेंद्र सिंह नदारद मिले. लिहाजा जानकारी लेने पर पता चला कि सीएमएस मुख्यालय से बाहर अपने किसी निजी कार्य से गए हुए हैं. लेकिन अवकाश के संबंध में कोई भी आवेदन सीएमओ या फिर स्वास्थ्य विभाग को नहीं दिया गया. यही नहीं सीएमएस की अनुपस्थिति के दौरान अधिकांश चिकित्साधिकारी और मिनिस्ट्रियल स्टाफ अघोषित रूप से निरन्तर अवकाश पर चल रहा था. जिसके चलते कारण बताओ नोटिस जारी किया गया है.
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दरअसल, सचिव के निरीक्षण के दौरान उप जिला चिकित्सालय, मसूरी में 28 चिकित्साधिकारियों की तैनाती के सापेक्ष मात्र 5 चिकित्साधिकारी ही उपस्थित रहे. जबकि एक चिकित्सक अटैच, एक मेडिकल अवकाश पर और एक साथ 06 चिकित्साधिकारी पीजी स्टडी पर गये हैं, बाकी चिकित्साधिकारी उपस्थित नहीं थे. जबकि मिनिस्ट्रियल स्टाफ रजिस्टरों के निरीक्षण से मिली जानकारी के अनुसार कई कर्मचारी पिछले कई-कई दिनों से बिना किसी आवेदन/स्वीकृति के अवकाश पर चल रहे हैं. जिसके चलते मरीजों को स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ नहीं मिल पा रहा.

निरीक्षण कर जानी कमियां:मंगलवार को ही डायरेक्टर स्वास्थ्य पौड़ी डॉ. धीरेंद्र कुमार बनकोटी और सीएमओ देहरादून डॉ. मनोज उप्रेती मसूरी के उप जिला चिकित्सालय पहुंचे और अस्पताल में कमियों का जायजा लिया. उन्होंने कहा कि मसूरी में स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर किए जाने के लिए लगातार काम किया जा रहा है. कुछ तकनीकी दिक्कतों के कारण अस्पताल में कमियां देखी जा रही हैं. जिसको जल्द हल कर लिया जाएगा. सीएमओ डॉ. मनोज उप्रेती ने कहा कि मसूरी में अस्पताल को व्यवस्थित किए जाने को लेकर लगातार काम किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि अस्पताल में नियुक्त कुछ डॉक्टर पीजी के लिए गए हैं, परंतु जो डॉक्टर अस्पताल में हैं, उनमें से कुछ डॉक्टरों की लापरवाही साफ तौर पर देखी जा रही है. जिनको अपने कार्य में सुधार करने की चेतावनी दी गई है.

डॉक्टर उप्रेती ने कहा कि जल्द प्रदेश को 800 से जयादा नर्स मिलने वाली हैं जिसमें से जल्द मसूरी के अस्पताल में 10 से अधिक नर्स और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी की भर्ती जल्दी की जायेगी. उन्होंने कहा कि पूर्व में सेंट मैरी और सिविल अस्पताल मसूरी में स्थापित थे. ऐसे में दोनों अस्पताल को उप जिला चिकित्सालय बनाया गया. परंतु अभी तकनीकी दिक्कत के कारण मसूरी उप जिला चिकित्सालय का बजट नहीं मिल रहा है. ऐसे में जल्दी तकनीकी दिक्कत को भी दूर कर दिया जाएगा. जिससे कि अस्पताल प्रशासन को उप जिला चिकित्सालय का बजट मिल सके और अस्पताल बेहतर तरीके से संचालित किया जा सके.

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