देहरादूनःउत्तराखंड आपदा के लिहाज से बेहद संवेदनशील राज्य माना जाता है. बीते सालों में उत्तराखंड को आपदाओं ने जितने दंश दिए हैं. शायद ही देश के किसी अन्य राज्य ने ऐसे हालातों का सामना किया हो. केंद्र से लेकर राज्य सरकार उत्तराखंड को लेकर अलग-अलग नीतियां बना रही है. ताकि, हिमालय की गोद में बसे उत्तराखंड में किसी बड़े आपदा के दौरान जान माल की हानि को रेस्क्यू कर कम किया जा सके. इधर, चारधाम यात्रा के साथ मॉनसून सीजन भी आने वाला है. इसके अलावा भूकंप के झटके भी यहां आते रहते हैं. लिहाजा, इसे देखते हुए आज प्रदेश भर में मॉक ड्रिल का आयोजन किया गया.
पौड़ी में भूकंप तो धारी देवी में पुल टूटने के दौरान रेस्क्यू को लेकर मॉक ड्रिलःपौड़ी जिला प्रशासन ने चारधाम यात्रा के मद्देनजर अपनी व्यवस्थाओं को परखने के लिए मॉक ड्रिल किया. डीएम आशीष चौहान की अगुवाई में पुलिस, लोनिवि, स्वास्थ्य आदि विभागों ने भूकंप का मॉक ड्रिल किया. जहां पुलिस कंट्रोल रूम को सूचना मिली कि श्रीनगर के डुंगरीपंत में भूकंप आने से तीन भवन ध्वस्त हुए हैं, जिसमें 8 से 10 लोगों के मलबे में दबे होने की सूचना है. साथ ही सूचना मिली कि श्रीनगर में धारी देवी मंदिर में पुल टूटने से भगदड़ मचने से 4 लोग नदी में डूब गए और 15 लोग इस दौरान घायल हुए.
जिस पर पौड़ी डीएम आशीष चौहान ने प्लानिंग और ऑपरेशन सेक्शन को तत्काल रेस्क्यू कार्य में जुट जाने के निर्देश दिए. साथ ही सेक्शन के अंतर्गत आने वाली सभी यूनिटों को बचाव और राहत कार्य में तत्काल लगने को कहा. आईआरएस के सदस्य, एसडीआरएफ और पुलिस समेत अन्य अधिकारियों ने रेस्क्यू को अंजाम दिया. एसडीआरएफ पुलिस व जिला आपदा की टीम तत्काल धारी देवी मंदिर पहुंची और नदी में डूब रहे चार लोगों को नदी से बाहर निकाल कर उनका रेस्क्यू किया गया. साथ ही 15 घायलों को 108 की मदद से संयुक्त अस्पताल श्रीनगर पहुंचाया गया. इस दौरान डॉक्टरों की एक टीम मौके पर पहले से ही मौजूद थी, लेकिन घायलों की हालत नाजुक होने के चलते उन्हें संयुक्त अस्पताल इलाज के लिए भेजा गया. डीएम चौहान ने बताया कि चारधाम यात्रा और भूकंप के मद्देनजर आयोजित मार्क ड्रिल सफल रहा. चारधाम यात्रा का प्रमुख पड़ाव श्रीनगर है. लिहाजा, इस क्षेत्र में मॉक ड्रिल की गई.
ऋषिकेश के चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप परिसर में मॉक ड्रिलःऋषिकेश में चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप परिसर में अचानक अफरा-तफरी मच गई. यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं ने हंगामा करना शुरू कर दिया. सूचना मिलते ही पुलिस, तहसील प्रशासन और अन्य विभागों के अधिकारी मौके पर पहुंचे. श्रद्धालुओं को समझा-बुझाकर प्रशासन ने शांत कराया और व्यवस्थाओं को बनाकर श्रद्धालुओं को यात्रा मार्ग पर भेजने का बंदोबस्त किया. दरअसल, यह नजारा गुरुवार को चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप परिसर में उस समय देखने को मिला, जब प्रशासन ने यात्रा की व्यवस्थाओं को परखने के लिए मॉक ड्रिल का आयोजन किया.
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वहीं, ऋषिकेश से एक और खबर मिली कि सुबह लगभग 10:20 पर ऋषिकेश बस स्टेशन पर भगदड़ मच गई थी. सूचना जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी और जिलाधिकारी को प्राप्त हुई, जिसके बाद तमाम थाना चौकियों और फोर्स को मौके पर भेजा गया. जब यह भगदड़ हुई तब मौके पर 8 से 10 लोग मौजूद थे. इसमें 5 लोगों के घायल होने की खबर है जबकि 3 लोगों को गंभीर रूप से घायल देखते हुए एम्स रेफर किया गया. इसके साथ ही एक टुकड़ी एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीम को ऋषिकेश के गंगा घाटों की तरफ भी भेजा गया ताकि वहां फंसे किसी भी व्यक्ति को तत्काल वहां से सकुशल तरीके से हटाया जाए. राहत और बचाव का काम लगभग 2 से 3 घंटे में पूरा कर लिया गया.