मसूरी:शहर में मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण (एमडीडीए) द्वारा अवैध निर्माण पर कार्रवाई की गई. एमडीडीए द्वारा मसूरी झील के पास एक अनाधिकृत रूप से बन रहे भवन को सील किया गया. एमडीडीए के अधिशासी अभियंता मनोज जोशी ने बताया कि भवन स्वामी सरदार सिंह अरोड़ा द्वारा अनाधिकृत रूप से बिना प्राधिकरण की अनुमति के निर्माण किया गया था, जिसको लेकर पूर्व में उन्हें नोटिस दिया गया था.
उन्होंने बताया कि नोटिस के बाद भी निर्माण कार्य जारी रखा गया था. जिसकी सुनवाई सचिव मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण के न्यायालय में की गई, जिसमें सभी बिंदुओं का संज्ञान लेते हुए सचिव मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण द्वारा उक्त निर्माण को सील करने के निर्देश दिए गए. जिसके बाद मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण की टीम अधिशासी अभियंता मनोज जोशी के नेतृत्व में पुलिस फोर्स के साथ मौके पर पहुंची और अवैध निर्माण को सील किया गया.
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अधिशासी अभियंता मनोज जोशी ने मसूरी की जनता से आग्रह किया कि वह बिना प्राधिकरण के अनुमति के किसी प्रकार का निर्माण ना करें. उन्होंने कहा कि मसूरी में अवैध निर्माण की काफी शिकायतें प्राधिकरण को मिल रही हैं. जिसके बाद कई लोगों को नोटिस भी जारी कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि जल्द कुछ और बड़े अवैध निर्माणों में प्राधिकरण की कार्रवाई होनी है. उन्होंने कहा कि मसूरी की सुंदरता और पर्यावरण को बचाने के लिए अवैध निर्माण को हर हाल में रोकना पड़ेगा.
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मसूरी के समाजिक कार्यकर्ता और रिटायर प्रिंसिपल ललित मोहन काला और पर्यावरण मित्र आर्यन कुमार ने मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण, खनन विभाग, वन विभाग और नगर पालिका के अधिकारियों की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने कहा कि मसूरी में पहाड़ों को काटकर अवैध निर्माण किया जा रहा है. परंतु इस ओर कोई अधिकारी ध्यान नहीं दे रहे हैं. उन्होंने कहा कि बिना अधिकारियों की मिलीभगत के इतने बड़े स्तर पर मसूरी में अवैध खनन कर अवैध निर्माण नहीं हो सकता है. खनन और भू-माफियाओं द्वारा बड़े-बड़े पहाड़ों को काट दिया गया है.
काला और कुमार ने कहा कि पार्किंग स्थलों पर होटल बनाए जा रहे हैं, परंतु कुछ लोगों पर कार्रवाई करके विभाग वाहवाही लूटना चाहता है, जो गलत है. उन्होंने कहा कि जल्द कुछ पर्यावरण मित्र अधिकारियों के खिलाफ उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाने जा रहे हैं. उन्होंने सभी संबंधित अधिकारियों की संपत्तियों का ब्यौरा भी सार्वजनिक करने की मांग की है.